advertisement
पंजाब के मोहाली की चंडीगढ़ यूनिवर्सिटी (Chandigarh University) में लड़कियों के कथित आपत्तिजनक वीडियो लीक (Punjab Video Leak Row) मामले में यूनिवर्सिटी प्रशासन ने एक्शन लिया है. यूनिवर्सिटी ने गर्ल्स हॉस्टल की दो वॉर्डन को सस्पेंड कर दिया है. इसमें से एक वॉर्डन वायरल हुए वीडियो में दिखाई दे रही थी, जो आरोपी छात्रा को लताड़ लगा रही थी. वहीं दूसरी तरफ छात्रों के विरोध को देखते हुए कैंपस को 6 दिनों के लिए बंद कर दिया गया है.
बता दें कि कई लड़कियों का नहाते हुए वीडियो बनाकर शेयर करने का मामला शनिवार, 17 सितंबर को सामने आया था, जिसके बाद यूनिवर्सिटी के छात्र-छात्राओं का विरोध-प्रदर्शन शुरू हो गया. हालांकि अधिकारियों की ओर से सभी मांगें स्वीकार करने के बाद देर रात छात्रों ने धरना खत्म कर दिया है.
अबतक इस मामले में तीन लोगों की गिरफ्तारी हुई है. समाचार एजेंसी पीटीआई ने बताया कि प्रारंभिक जांच के बाद, पुलिस ने एक महिला छात्र को गिरफ्तार किया है, जबकि एक 23 साल का एक युवक, जो कथित तौर पर उसका बॉय फ्रेंड है, उसे हिमाचल प्रदेश की पुलिस ने पकड़ा है और पंजाब पुलिस को सौंप दिया गया.
हिमाचल प्रदेश पुलिस ने मामले के सिलसिले में एक 31 साल के एक और शख्स को भी हिरासत में लिया है.
पुलिस ने छात्रा के खिलाफ भारतीय दंड संहिता की धारा 354C और सूचना प्रौद्योगिकी अधिनियम, 2000 के तहत मामला दर्ज किया है. उसका फोन भी फॉरेंसिक जांच के लिए भेजा गया है.
इससे पहले, पंजाब के मुख्यमंत्री भगवंत मान ने घटना की निंदा की थी और कहा था कि सख्त कार्रवाई की जाएगी. मान ने कहा,
वहीं बता दें कि इस मामले पर यूनिवर्सिटी प्रशासन लगातार कह रहा है कि आरोपी छात्रा ने दूसरी लड़कियों के वीडियो नहीं बनाए थे. और छात्रा ने सिर्फ अपने वीडियो बनाए थे.
हालांकि छात्रों का आरोप है कि छात्रा ने अपने साथ रहने वाली लड़कियों की नहाते समय के 50-60 वीडियो क्लिप रिकॉर्ड करके अपने बॉयफ्रेंड को भेजा था. जिसके बाद हजारों स्टूडेंट मामले में निष्पक्ष जांच की मांग को लेकर यूनिवर्सिटी प्रशासन के सामने विरोध-प्रदर्शन कर रहे थे.
इससे पहले ग्रामीण मोहाली के एसपी नवप्रीत सिंह विर्क ने द क्विंट को बताया कि कुछ छात्रों ने विरोध प्रदर्शन के दौरान हिंसा की. उन्होंने कुछ लड़कियों द्वारा आत्महत्या की कोशिश करने की अफवाहों को भी झूठा बताया. विर्क ने कहा, "विश्वविद्यालय ने एम्बुलेंस को बुलाया. चूंकि भारी भीड़ जमा हो गई थी और उमस थी और कई छात्र बेहोश हो रहे थे. हमारे पास कोई प्राथमिक उपचार नहीं था, इसलिए विश्वविद्यालय ने एम्बुलेंस को बुलाया. कोई आत्महत्या का प्रयास नहीं था."
वहीं इस बीच, कई सोशल मीडिया पोस्ट ने दावा किया कि अधिकारी इस घटना को छुपाने की कोशिश कर रहे हैं.
चंडीगढ़ विश्वविद्यालय ने एक बयान में "सात लड़कियों के आत्महत्या करने की अफवाहों" को खारिज किया है. चंडीगढ़ विश्वविद्यालय के प्रो-चांसलर डॉ आरएस बावा ने एएनआई को बताया, "किसी भी छात्रा ने आत्महत्या नहीं की. प्रारंभिक जांच से पता चलता है कि आरोपी लड़की ने अपने प्रेमी को अपनी तस्वीरें / वीडियो भेजे थे. कोई और सामग्री नहीं मिली है. प्राथमिकी दर्ज की गई है. पुलिस इसकी जांच कर रही है. मैं छात्रों और अभिभावकों से किसी भी अफवाह पर विश्वास नहीं करने की अपील करता हूं.
(क्विंट हिन्दी, हर मुद्दे पर बनता आपकी आवाज, करता है सवाल. आज ही मेंबर बनें और हमारी पत्रकारिता को आकार देने में सक्रिय भूमिका निभाएं.)