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आनंद महिंद्रा ने खोज निकाला एक नया टैलेंट, नाम है ‘खटिया-वेटर’

खटिया जुगाड़ के फैन हुए आनंद महिंद्रा 

क्विंट हिंदी
भारत
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 आनंद ने इस जुगाड़ को नाम दिया है- ‘खटिया-वेटर’.
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आनंद ने इस जुगाड़ को नाम दिया है- ‘खटिया-वेटर’.
(फोटो: ट्विटर)

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महिंद्रा एंड महिंद्रा ग्रुप के चेयरमैन आनंद महिंद्रा देश में नए-नए टैलेंट को ढूंढ निकालने के लिए अक्सर सुर्खियों में रहते हैं. आनंद न सिर्फ उस नए टैलेंट या देसी जुगाड़ की खुलकर तारीफ करते हैं, बल्कि उसे सोशल मीडिया के जरिए प्रमोट भी करते हैं. अब उन्होंने एक नया टैलेंट सोशल मीडिया पर शेयर किया है. आनंद ने इस जुगाड़ को नाम दिया है- 'खटिया-वेटर'.

आनंद महिंद्रा ने देसी जुगाड़ का वीडियो शेयर करते हुए लिखा, "मुझे लगता है कि 'आवश्यकता ही आविष्कार की जननी है' इस मुहावरे का आविष्कार भारतीयों ने किया था. हमारी फार्म और कंस्ट्रक्शन सेक्टर को जेसीबी की जगह इस नए प्रोडक्ट के बारे में विचार करना चाहिए. इसका नाम है 'खटिया-वेटर'."

वीडियो में दिखाया गया है कि जेसीबी का काम एक ट्रैक्टर कर रहा है. ट्रैक्टर के आगे जुगाड़ से एक खटिया लगा दी गई है. फिर ट्रैक्टर खटिया की मदद से भूसा उठाता है. सोशल मीडिया पर लोग आनंद के ट्वीट की खूब तारीफ कर रहे हैं. एक शक्स ने तो किसानों की एक और जुगाड़ का फोटो भी कमेंट में ट्वीट कर दिया.

बाइक पर खटिया लगाकर सामान ले जाता किसान(फोटो: ट्विटर)
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कई आम लोगों को खास बना चुके हैं आनंद महिंद्रा

पिछले 1 साल में आनंद महिंद्रा ने 3 ऐसे आम लेकिन ‘अलग’ लोगों की मदद की(फोटो कोलाज: क्विंट हिंदी)

ये कोई पहला किस्सा नहीं है, पिछले कुछ सालों में उन्होंने कई ऐसे लोगों की मदद की है, जिन्‍हें मेनस्ट्रीम मीडिया में कवरेज भी मिली और उनकी जिंदगियां भी बदली है. पिछले साल अप्रैल में आनंद ने एक ट्वीट पर बताया कि उन्हें एक तस्वीर वॉट्सऐप पर मिली है, जिसमें 'जख्मी जूतों के हस्पताल' का बोर्ड लगाकर एक शख्स मोची का काम करता है.

आनंद हरियाणा के नरसीराम मोची के आइडिया पर फिदा हो गए. साथ ही उन्होंने इंडियन इंस्टीट्यूट ऑफ मैनेजमेंट (IIM) को इस मोची से मार्केटिंग सीखने की सलाह दे डाली. एक महीने के भीतर ही उनकी टीम ने नरसीराम से संपर्क किया और उनके लिए चलती-फिरती दुकान को डिजाइन करने की तैयारी शुरू कर दी.

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