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आम चुनाव से पहले कांग्रेस अपना किला मजबूत करने में जुटी है. इसी क्रम में पार्टी ने आंध्र प्रदेश में मजबूत नेता और मुख्यमंत्री वाईएस जगन मोहन रेड्डी की बहन को कांग्रेस में शामिल करा लिया. इस दौरान वाईएसआर तेलंगाना पार्टी (YSRTP) अध्यक्ष वाईएस शर्मिला (YS Sharmila) ने अपनी पार्टी के कांग्रेस में विलय की भी घोषणा की और कहा कि उन्हें जो भी जिम्मेदारी दी जाएगी, वह उसे निभाएंगी
कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे, सांसद राहुल गांधी और संगठन महासचिव केसी वेणुगोपाल की उपस्थित में शर्मिला ने दिल्ली में कांग्रेस की सदस्यता ली.
कांग्रेस में शामिल होने के बाद उन्होंने कहा, "कांग्रेस पार्टी अभी भी हमारे देश की सबसे बड़ी धर्मनिरपेक्ष पार्टी है और इसने हमेशा भारत की सच्ची संस्कृति को बरकरार रखा है और हमारे राष्ट्र की नींव तैयार की है."
वहीं, YSR तेलंगाना पार्टी का कांग्रेस में विलय होने पर वाईएस शर्मिला ने कहा, " बहुत जल्द इसे (लोकसभा चुनाव का ब्लूप्रिंट) तैयार किया जाएगा.”
हालांकि, वाईएसआर तेलंगाना पार्टी (YSRTP) अध्यक्ष वाईएस शर्मिला के कांग्रेस में शामिल होने की अटकलें बहुत पहले से चल रही थी. पिछले साल नवंबर में हुए तेलंगाना विधानसभा चुनावों से पहले, शर्मिला द्वारा अपने संगठन का सबसे पुरानी पार्टी में विलय करने की चर्चा थी, लेकिन ऐसा नहीं हो सका. वह चुनाव से दूर रहीं क्योंकि वह "नहीं चाहती थीं कि उनके उम्मीदवार कांग्रेस समर्थक वोटों को विभाजित करें".
आंध्र प्रदेश के पूर्व सीएम दिवंगत वाईएस राजशेखर रेड्डी (वाईएसआर) की बेटी शर्मिला ने अब उनके और उनके चाचा वाईएसआरसीपी के पूर्व सांसद वाईवी सुब्बा रेड्डी के बीच बातचीत विफल होने के बाद आगे बढ़ने का फैसला किया है.
शर्मिला द्वारा तेलंगाना में अपना संगठन बनाने के बाद जुलाई 2021 में भाई-बहन की जोड़ी राजनीतिक रूप से अलग हो गई. वाईएसआरसीपी और वाईएसआरटीपी दोनों का गठन वाईएसआर की विरासत को आगे बढ़ाने और "राजन्ना राज्यम" (वाईएसआर का शासन) वापस लाने के घोषित उद्देश्य से किया गया था.
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