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अमेरिकी विदेश मंत्री एंटनी ब्लिंकन (Antony Blinken) ने पद ग्रहण करने के बाद अपनी पहली भारत यात्रा की शुरुआत भारतीय समकक्ष एस जयशंकर (S Jaishankar) और सिविल सोसाइटी के नेताओं से मुलाकात से की. भारत की अपनी यात्रा के पहले दिन, अमेरिकी विदेश मंत्री ने कहा, "भारत और अमेरिका के बीच संबंधों को मजबूत करना राष्ट्रपति बाइडेन का दृढ़ संकल्प है."
ब्लिंकन ने एस जयशंकर के साथ कई मुद्दों पर बात की, जिसमें अफगानिस्तान की स्थिति, इंडो-पैसिफिक साझेदारी को बढ़ावा देना और कोविड को लेकर प्रयासों को बढ़ाना शामिल था.
ब्लिंकन और जयशंकर की मुलाकात में अफगानिस्तान के मुद्दे पर भी बात की गई, जहां तालिबान एक बार फिर पैर पसार रहा है. ब्लिंकन ने मुलाकात के बाद कहा, "हमने अफगानिस्तान समेत क्षेत्रीय सुरक्षा मुद्दों पर चर्चा की. शांतिपूर्ण, सुरक्षित और स्थिर अफगानिस्तान में भारत और अमेरिका की गहरी रुचि है. इस क्षेत्र में एक विश्वसनीय भागीदार के रूप में, भारत ने अफगानिस्तान की स्थिरता और विकास में महत्वपूर्ण योगदान दिया है और आगे भी करता रहेगा."
ब्लिंकन ने कहा कि हम अफगानिस्तान से फोर्स की वापसी के बाद अफगान लोगों के लाभ को बनाए रखने और क्षेत्रीय स्थिरता का समर्थन करने के लिए मिलकर काम करना जारी रखेंगे. ब्लिंकन ने कहा कि भले अमेरिका अफगानिस्तान से सेना हटा रहा है, लेकिन वो फिर भी वहां शामिल रहेगा.
कोरोना वायरस महामारी पर साथ मिलकर काम कर रहे अमेरिका और भारत पर ब्लिंकन ने कहा, "हम इस महामारी को खत्म करने के लिए प्रतिबद्ध हैं, और भारत और अमेरिका इसे एक साथ करने के लिए मिलकर काम करेंगे, जिसमें क्वाड वैक्सीन साझेदारी भी शामिल है. मुझे विश्वास है कि भारत और अमेरिका मिलकर दुनिया भर में इस महामारी को खत्म करने वाले लीडर्स होंगे."
ब्लिंकन ने कहा कि "हम महामारी की शुरुआत में भारत की मदद को नहीं भूलेंगे. मुझे गर्व है कि हम भारत को ये वापस कर सके."
ब्लिंकन ने भारत में मानवाधिकार मुद्दे पर कहा, "हम ये भी मानते हैं कि सभी लोकतंत्र, हमारा भी, वर्क इन प्रोग्रेस है." ब्लिंकन की भारत यात्रा से पहले अमेरिकी अधिकारी ने कहा था कि वो भारत में मानवाधिकार का मुद्दा उठाएंगे.
कहा जा रहा है कि अमेरिकी विदेश मंत्री का ये दौरा क्वाड लीडर्स समिट के लिए आधार तय करेगी. प्रेस कॉन्फ्रेंस में ब्लिंकन ने कहा, "इसका उद्देश्य अंतरराष्ट्रीय नियमों और मूल्यों को मजबूत करते हुए क्षेत्रीय चुनौतियों पर सहयोग को आगे बढ़ाना है, जो हम मानते हैं कि इस क्षेत्र में शांति, समृद्धि, स्थिरता का आधार है." ब्लिंकन ने कहा कि क्वाड एक सैन्य गठबंधन नहीं है.
क्वाड (Quad), भारत, अमेरिका, जापान और ऑस्ट्रेलिया के बीच इंडो-पैसिफिक क्षेत्र को लेकर किया गया समझौता है.
एंटनी ब्लिंकन ने अपने भारत दौरे की शुरूआत सिविल सोसाइटी के नेताओं को संबोधित करते हुए की. नई दिल्ली के एक होटल में सिविल सोसाइटी के नेताओं के एक समूह से बात करते हुए, ब्लिंकन ने कहा कि अमेरिका और भारत के बीच संबंध 'दुनिया में सबसे महत्वपूर्ण में से एक' हैं.
इस मौके पर उपस्थित लोगों में दलाई लामा के सांस्कृतिक केंद्र, नई दिल्ली के तिब्बत हाउस के गेशे दोरजी दामदुल जैसे धार्मिक नेता मौजूद थे.
(IANS के इनपुट्स के साथ)
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