advertisement
लोकसभा चुनाव (Lok Sabha Election) के पांचवें चरण के वोटिंग के बाद बिहार के छपरा में मंगलवार (21 मई) को दो पक्षों में हुए विवाद में तीन लोगों को गोली लग गई, जिसमें एक की मौत हो गई और अन्य दो लोग घायल हो गए. घायलों में से एक को इलाज के लिए पीएमसीएच रेफर किया गया है, जबकि दूसरा प्राथमिक इलाज के बाद ठीक है.
मामले की सूचना मिलने पर पहुंची ने इलाके को छावनी में तब्दील कर दिया है. इस मामले में दो लोगों को गिरफ्तार भी किया गया है. वहीं, मृतक के परिजनों द्वारा शव लेकर प्रदर्शन करने पर पुलिस ने लाठीचार्ज भी किया.
इस मामले पर एसपी गौरव मंगला ने कहा, "20 मई को यहां पर प्रत्याशी की मौजूदगी में बीजेपी-आरजेडी समर्थकों के बीच विवाद हुआ था. उसी प्रक्रिया में आज कुछ असामाजिक तत्वों ने 3 लोगों पर फायरिंग की. इनमें से एक की मौत हो गई है, दूसरे को इलाज के लिए अस्पताल में भर्ती कराया गया है, जबकि तीसरा शख्स सुरक्षित है.
एएनआई से बात करते हुए सारण के जिलाधिकारी अमन समीर ने कहा, "कल मतदान केंद्र 318-319 के पास एक प्रत्याशी के आ जाने से दो पक्षों के बीच तनाव का माहौल हो गया. उपजे तनाव के बाद हमारी पेट्रोलिंग टीम को तैनात किया गया. आज सुबह दोनों समूहों (बीजेपी और आरजेडी) के समर्थकों के बीच हाथापाई हुई और उनमें से एक ने गोली चला दी. एक की मौत हो गई और बाकी दो घायल हो गए."
दरअसल, सोमवार (20 मई) को पांचवें चरण के वोटिंग के दौरान छपरा के एक मतदान केंद्र के बाहर आरजेडी और बीजेपी समर्थकों में झड़प हो गई. बीजेपी कार्यकर्ताओं ने आरजेडी प्रत्याशी रोहिणी आचार्य पर हमला कराने और बूथ कैप्चरिंग का आरोप लगाया है.
बताया जा रहा है कि जब रोहिणी आचार्य मतदान करने पहुंची थी तो, एक पक्ष के लोगों ने उनके खिलाफ नारेबाजी शुरू कर दी, जिसके बाद दूसरे पक्ष ने भी पलटवार किया. इसके बाद, दोनों पक्षों में कहासुनी के बाद हिंसक झड़प हुई और फिर पत्थरबाजी की गई. हालांकि, घटना की सूचना मिलने पर मौके पर पुलिस ने मामले को शांत कराया और इलाके को छावनी में तब्दील कर दिया.
इसके बाद 21 मई की सुबह गोलीबारी की घटना को अंजाम दिया गया.
ANI से बात करते हुए छपरा फायरिंग मामले पर बिहार के पूर्व उपमुख्यमंत्री और आरजेडी नेता तेजस्वी यादव ने कहा, "चुनाव में हिंसा की जगह नहीं होनी चाहिए. प्रशासन के लोगों से हमारी बात हुई है. दो लोगों की गिरफ्तारी हुई है. प्रशासन के लोगों ने मुझे आश्वस्त किया है कि शाम तक जो बाकी के दो लोग हैं, उन्हें भी पकड़ लिया जाएगा."
आरजेडी प्रत्याशी रोहिणी आचार्य ने कहा, "हमारे तीन कार्यकर्ताओं को गोली मार दी गई. बीजेपी वाले गुंडे हैं और इन्हें सबक मिलना चाहिए. मैं मांग करती हूं कि उनके ऊपर प्राथमिकी दर्ज की जाए."
आरजेडी से राज्यसभा सांसद मनोज झा ने कहा, "लोकतंत्र में इस तरह की छवियों की कोई गुंजाइश नहीं है. कल जब हमारी प्रत्याशी रोहिणी आचार्य वहां के एक बूथ पर गईं तो अशोभनीय भाषा का इस्तेमाल किया गया. मैं उम्मीद करता हूं कि पुलिस प्रशासन त्वरित कार्रवाई करे और दोषियों को सख्त से सख्त सजा दे."
आरजेडी विधायक जितेंद्र राय ने कहा कि चुनाव के दिन देर रात्रि को बीजेपी कार्यकर्ताओं द्वारा डॉ. रोहिणी आचार्य के सामने अभद्र भाषा का प्रयोग किया गया, जिसका वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हो रहा है. उसके बावजूद बीजेपी कार्यकर्तो द्वारा सुबह में भिखारी ठाकुर चौक पर चाय पीने आए युवकों के साथ हवाई फायरिंग करते हुए गोली मारी गई है.
ANI से बात करते हुए RJD नेता मृत्युंजय तिवारी ने कहा, "लोकतंत्र में हिंसा का कोई स्थान नहीं है. ये शासन-प्रशासन की जिम्मेदारी है कि वो स्थिति को नियंत्रण में करें और चिन्हित करें कि कौन से लोग लोकतंत्र का गला घोटना चाहते हैं. पुलिस प्रशासन क्या कर रहा है? जिन लोगों की मृत्यु हुई है, उनके परिवार को मुआवजा मिलना चाहिए. जनता की अदालत में INDIA गठबंधन, राष्ट्रीय जनता दल और हमारे महागठबंधन के उम्मीदवार जीत रहे हैं. जनता वोट की चोट से सबक सिखाने का काम कर रही है."
बीजेपी समर्थक रमाकांत सिंह सोलंकी ने कहा, " आरजेडी प्रत्याशी रोहिणी आचार्य अपने समर्थकों संग 2:30 बजे आई और अफवाह फैलाया कि यहां गोली चली है.. लोगों को उकसाया और चली गई. फिर 5:30 बजे 20-25 समर्थकों संग आई और डंडा चलवाया है."
सोलंकी ने कहा कि यहां मतदान शांतिपूर्ण तरीके से चल रहा था लेकिन रोहिणी ने उकसाया, जिसके कारण घटना हुई. "सबकुछ सुरक्षा बलों के सामने हुआ... प्रशासन पूरी तरीके से आरजेडी प्रत्याशी के प्रभाव में था. इंस्पेक्टर आकर लोगों को धमका रहे थे."
लोक जनशक्ति पार्टी (रामविलास) के राष्ट्रीय अध्यक्ष चिराग पासवान ने कहा, "चुनाव में हिंसा बिल्कुल उचित नहीं है, पूरे मामले की जांच होनी चाहिए."
वहीं, रोहिणी आचार्य के द्वारा बीजेपी के कार्यकर्ताओं को गुंडा बताने और बूथ कैप्चरिंग को लेकर सवाल उठाए जाने पर चिराग ने कहा, "यह समय इस तरह के आरोप-प्रत्यारोप लगाने का नहीं है. अगर इस तरह की बातें होंगी तो कई उदाहरण हम लोगों के भी पास है कि किसने क्या किया है."
बीजेपी विधायक और बिहार के पूर्व डिप्टी सीएम तारकिशोर प्रसाद ने कहा, "घटना आरजेडी के शासनकाल की याद दिलाती है. छपरा की घटना को जानबूझकर किया गया है. रोहिणी आचार्य बूथ पर जाकर उत्पात कर रहीं थी और लोगों ने साफ तौर पर इस चीज को देखा है. बूथ पर उत्पात मचाना लालू परिवार और उनके सहयोगियों की फितरत रही है."
(इनपुट-महीप राज)
(क्विंट हिन्दी, हर मुद्दे पर बनता आपकी आवाज, करता है सवाल. आज ही मेंबर बनें और हमारी पत्रकारिता को आकार देने में सक्रिय भूमिका निभाएं.)