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गोरखपुर के बीआरडी मेडिकल कॉलेज के पूर्व प्रिंसिपल डॉ राजीव मिश्रा को सुप्रीम कोर्ट में जमानत मिल गई है. मिश्रा की तरफ से दलील रख रहे वरिष्ठ वकील मुकुल रोहतगी ने लंबे समय से जमानत नहीं देने पर सवाल उठाया. राजीव मिश्रा पिछले 10 महीने से जेल में हैं. मामले की सुनवाई के दौरान चीफ जस्टिस ने डॉ राजीव मिश्रा पर गैर इरादतन हत्या की धारा लगाने पर सवाल किया. उन्होंने पूछा कि आखिर राजीव मिश्रा पर ये धारा क्यों लगाई गई है.
ये मामला पिछले साल अगस्त महीने का है. जब बीआरडी मेडिकल कॉलेज में ऑक्सीजन की कमी के कारण बच्चों की मौत का मामला सामने आया था. डॉ राजीव मिश्रा उनकी पत्नी पूर्णिमा शुक्ला, डॉ कफील खान समेत 9 लोगों को इस मामले में गिरफ्तार किया गया था. अबतक 4 को जमानत मिल गई है. डॉ मिश्रा की पत्नी अब भी जेल में हैं.
जिस वक्त बच्चों की मौत हुई थी, उस वक्त डॉक्टर कफील इंसेफलाइटिस वॉर्ड के इंचार्ज थे. डॉ कफील पर लापरवाही और अपना काम सही से नहीं करने के आरोप लगे थे. लेकिन आरोपों से ठीक पहले कफील का नाम एक हीरो की तरह सामने आया था, कहा गया कि उन्होंने मुश्किल समय में ऑक्सीजन सिलेंडर मंगवाए और मरीजों की मदद की. बाद में डॉ कफील की भी गिरफ्तारी हुई.
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