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एक कथित वीडियो में जम्मू-कश्मीर के सोपोर की एक महिला सरपंच ऐलान करते हुए दिख रही है कि वो अपने पद से इस्तीफा दे रही हैं. बताया जा रहा है कि उस वक्त ये महिला सरपंच आतंकियों की कैद में थी. ये वीडियो अब सोशल मीडिया पर वायरल हो रहा है.
सूत्रों के मुताबिक बंदूकधारी महिला को पास के जंगल में ले गए वहां उन्होंने बंदूक की नोंक पर महिला से अपने बोमई पंचायत के पद से इस्तीफा देने के लिए कहा. उन्होंने इस पूरे वाकये का वीडियो भी बनाया.
महिला सरपंच जैसे ही इन बंधकों की चंगुल से आजाद हुई. इसके बाद वो श्रीनगर में शिफ्ट हो गईं. सोपोर के SSP जावेद इकबाल ने द क्विंट को बताया कि-
करीब 40 साल की उम्र की महिला के वीडियो में बोलते हुए हांथ कांप रहे हैं. वह बोलती है कि ‘मैं सरपंच थी.’ वहीं कैमरे के पीछ से किसी पुरुष की आवाज आती है कि जो उस महिला से सवाल-जवाब करता है. महिला फिर बोलती है- ‘मैं माफी मांगती हूं और मैं तुरंत इस्तीफा दे दूंगी.’
‘मेरे मोबाइल में SHO बोमई और SP का फोन नंबर था. उन्होंने वो स्टोर कर लिया. लोगों ने मुझे परेशान किया है. मैं गरीब महिला हूं.’
इसके बाद पुरुष की आवाज फिर उसे रोकती है
‘लेकिन यहां तो बैतूल माल (इस्लामिक समुदाय जो गरीबों के लिए संसाधन जुटाते हैं ) है.’
फिर महिला चिंतित होकर बोलती है- ‘मैं तुमसे भीख मांगती हूं कि अल्लाह और प्रोफेट मोहम्मद के नाम पर मुझे बक्श दो.’
माना जा रहा है कि ये आवाज मिलिटेंट की है और वो महिला को चेताता है कि ‘ये आखिरी चेतावनी है. तुम महिला हो और मेरी मां की उम्र की हो. इसलिए मैं तुम्हें छोड़ रहा हूं. ’
‘मैं माफी मांगती हूं. मैं इस्तीफा दे दूंगी.’ महिला ये बात बोल ही रही थी कि वीडियो अचानक खत्म हो जाता है.
सूत्र बताते हैं कि महिला बोमाई से चुनी हुई एकमात्र पंचायत प्रतिनिधि है. वहां की बाकी सभी सीट खाली हैं. महिला का पति, अब्दुल लतीफ सोफी मजदूर है. उनके 4 बच्चे हैं. सबसे बड़ा बच्चा 17 साल का है, वो भी मजदूरी करता है.
इस घटना के कुछ दिन पहले अल्पसंख्यक कश्मीरी पंडित समुदाय की सरपंच अजय पंडिता भारती को मिलिटेंट्स ने अनंतनाम में मार डाला था. पंडिता की हत्या के बाद से जम्मू में राजनीतिक पार्टियों ने विरोध प्रदर्शन किया था.
इसने जम्मू कश्मीर के हजारों पंच-सरपंच के बीच अनिश्चिचतता और डर का माहौल बनाया है. मिलिटेंट्स के हमले के डर से चुनाव में भी बहुत कम मतदान देखने को मिला है. अधिकारियों के मुताबिक 50 परसेंट से ज्यादा सीटें खाली रह गईं, कोई उम्मीदवार चुनाव लड़ने नहीं आया. इसके बाद से प्रशासन ने सैकड़ों पंचों-सरपंचों को श्रीनगर में रुकने की व्यवस्था की हुई है. सोपोर की महिला सरपंच उनमें से एक है.
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