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मध्य प्रदेश (Madhya Pradesh) के सीधी के कुबरी गांव में एक आदिवासी व्यक्ति पर कथित तौर पर पेशाब करने के आरोप में बीजेपी कार्यकर्ता प्रवेश शुक्ला को गिरफ्तार किए जाने के बाद, जिला प्रशासन ने बुधवार, 5 जुलाई को शुक्ला के घर को ध्वस्त करना शुरू कर दिया. इस दौरान आरोपी की मां और परिवार के अन्य सदस्य प्रशासन से तोड़फोड़ न करने की गुहार लगाते नजर आए.
मंगलवार (4 जुलाई) रात वायरल हुए एक कथित वीडियो में शुक्ला को दशमत रावत नामक आदिवासी व्यक्ति पर पेशाब करते देखा गया था. प्रशासन ने शुरुआत में घर के केवल एक तरफ के हिस्से को तोड़ा लेकिन बाद में शाम को अधिकारियों ने घर के बाकी हिस्से को तोड़ना शुरू कर दिया.
द क्विंट को सूत्रों ने बताया कि भारी पुलिस बल तैनात किया गया है और दो जेसीबी मशीनों से शुक्ला के पिता रमाकांत शुक्ला के घर को ध्वस्त किया जा रहा है.
घटना पर प्रतिक्रिया व्यक्त करते हुए, मध्य प्रदेश के मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान के ऑफिस ने ट्वीट कर लिखा, "एनएसए लगा दिया गया है, बुलडोजर भी चला दिया गया है और अगर जरूरत पड़ी तो मामा जी अपराधियों को 10 फुट जमीन के नीचे भी गाड़ देंगे. मामाजी का संदेश साफ है, इसलिए गलत मंशा वालों मध्य प्रदेश में अपराध करने से पहले 10 बार सोच लेना."
एमपी के गृहमंत्री नरोत्तम मिश्रा ने कहा, "आरोपी (प्रवेश शुक्ला) को कल रात गिरफ्तार कर लिया गया. वह हवालात में है और उसके खिलाफ सख्त कार्रवाई की गई है. सीएम शिवराज सिंह चौहान ने कहा है कि उसके खिलाफ एनएसए दर्ज किया जाएगा."
जानकारी के अनुसार, प्रवेश शुक्ला के खिलाफ एनएसए लगाने का आदेश दे दिया गया है और उसे रीवा सेंट्रल जेल में रखा जाएगा.
मध्य प्रदेश पुलिस ने आरोपियों के खिलाफ अनुसूचित जाति और अनुसूचित जनजाति (अत्याचार निवारण) अधिनियम, 1989 की धाराओं के तहत एफआईआर दर्ज की है. एफआईआर में राष्ट्रीय सुरक्षा अधिनियम (एनएसए), 1980 के प्रावधान भी लागू किए गए हैं.
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