Home Created by potrace 1.16, written by Peter Selinger 2001-2019News Created by potrace 1.16, written by Peter Selinger 2001-2019India Created by potrace 1.16, written by Peter Selinger 2001-2019तालिबान ने दानिश सिद्दीकी की पहचान कर बेरहमी से हत्या की थी: रिपोर्ट

तालिबान ने दानिश सिद्दीकी की पहचान कर बेरहमी से हत्या की थी: रिपोर्ट

Taliban ने Danish Siddiqui की हत्या में हाथ होने से इनकार किया था

क्विंट हिंदी
भारत
Published:
<div class="paragraphs"><p>Taliban ने Danish Siddiqui की हत्या में हाथ होने से इनकार किया था</p></div>
i

Taliban ने Danish Siddiqui की हत्या में हाथ होने से इनकार किया था

(फोटो: PTI)

advertisement

पुलित्जर पुरस्कार विजेता भारतीय फोटो जर्नलिस्ट दानिश सिद्दीकी (Danish Siddiqui) साधारण गोलीबारी में नहीं मारे गए थे, बल्कि तालिबान (Taliban) ने उनकी बेरहमी से हत्या की थी. लेखक माइकल रुबिन ने अमेरिकी पत्रिका वाशिंगटन एक्जामिनर में ये दावा किया है. स्थानीय अफगान अधिकारियों का कहना है कि सिद्दीकी ने अफगानिस्तान (Afghanistan) की राष्ट्रीय सेना की टीम के साथ स्पिन बोल्डक क्षेत्र की यात्रा की थी, ताकि पाकिस्तान के साथ लगती सीमा को नियंत्रित करने के लिए अफगान बलों और तालिबान के बीच संघर्ष को कवर किया जा सके.

रिपोर्ट में कहा गया है कि जब वो सीमा शुल्क चौकी के एक-तिहाई मील के भीतर पहुंच गए, तो तालिबान के हमले से टीम विभाजित हो गई और इस दौरान कमांडर और कुछ लोग सिद्दीकी से अलग हो गए.

इस हमले के दौरान सिद्दीकी को छर्रे लगे, जिसके बाद वो और उनकी टीम एक स्थानीय मस्जिद में गए. वहां उन्हें प्राथमिक उपचार दिया गया. रिपोर्ट के अनुसार, जैसे ही ये खबर फैली कि एक पत्रकार मस्जिद में है, तालिबान ने हमला कर दिया. स्थानीय जांच से पता चलता है कि तालिबान ने सिद्दीकी की मौजूदगी के कारण ही मस्जिद पर हमला किया था.

दानिश सिद्दीकी को 18 जुलाई को जामिया मिलिया इस्लामिया के कब्रिस्तान में दफनाया गया. 16 जुलाई को सिद्दीकी की स्पिन बोल्डक में मौत हुई थी और उनका शव 18 जुलाई को दिल्ली पहुंचा था.

ADVERTISEMENT
ADVERTISEMENT

तालिबान ने दानिश को पकड़ा था

रिपोर्ट के मुताबिक, सिद्दीकी जिंदा थे और तालिबान ने उन्हें पकड़ लिया था. तालिबान ने सिद्दीकी की पहचान की पुष्टि की और फिर उन्हें और उनके साथ के लोगों को भी मार डाला. रिपोर्ट में कहा गया है कि कमांडर और उनकी टीम के बाकी सदस्य उन्हें बचाने की कोशिश में मारे गए.

"हालांकि व्यापक रूप से प्रसारित सार्वजनिक तस्वीर में सिद्दीकी के चेहरे को पहचानने योग्य दिखाया गया है, मैंने अन्य तस्वीरों और सिद्दीकी के शरीर के एक वीडियो की समीक्षा की, जो मुझे भारत सरकार के एक सूत्र द्वारा प्रदान किया गया था, जिसमें दिखाया गया है कि तालिबान ने सिद्दीकी को सिर के चारों ओर पीटा और फिर उसके शरीर को गोलियों से छलनी कर दिया."
अमेरिकन एंटरप्राइज इंस्टीट्यूट के सीनियर फेलो माइकल रुबिन

रुबिन ने कहा कि तालिबान की ओर से सिद्दीकी को शिकार बनाने, उन्हें मारने और फिर उनकी लाश को क्षत-विक्षत करने का निर्णय दिखाता है कि वो युद्ध के नियमों या वैश्विक समुदाय के व्यवहार को नियंत्रित करने वाले कन्वेंशन का सम्मान नहीं करते हैं.

तालिबान ने हत्या से इनकार किया था

रिपोर्ट के सामने आने से पहले तालिबान दानिश सिद्दीकी की हत्या में हाथ होने से इनकार करता रहा है. सिद्दीकी की मौत पर तालिबान के प्रवक्ता जबीउल्लाह मुजाहिद ने CNN-News18 से कहा था,

“हमें नहीं पता कि किसकी फायरिंग के दौरान पत्रकार की मौत हुई है. हम नहीं जानते कि उनकी मौत कैसे हुई."

CNN-News18 को दिए एक एक्सक्लूसिव इंटरव्यू में मुजाहिद ने कहा, "युद्ध क्षेत्र में प्रवेश करने वाले किसी भी पत्रकार को हमें खबर देनी चाहिए. हम उस पत्रकार की उचित देखभाल करेंगे." सिद्दीकी की मौत पर खेद व्यक्त करते हुए तालिबान के प्रवक्ता ने कहा, "हमें भारतीय पत्रकार दानिश सिद्दीकी की मौत के लिए खेद है."

(हैलो दोस्तों! हमारे Telegram चैनल से जुड़े रहिए यहां)

Published: undefined

Read More
ADVERTISEMENT
SCROLL FOR NEXT