मनोज बाजपेयी की ‘The Family Man’ में देश विरोधी एजेंडा: RSS

मनोज बाजपेयी की वेब सीरीज ‘द फेमिलीमैन’ पर RSS ने सवाल उठाए हैं

क्विंट हिंदी
भारत
Published:
मनोज बाजपेयी की ‘The Family Man’ में देश विरोधी एजेंडा: RSS
i
मनोज बाजपेयी की ‘The Family Man’ में देश विरोधी एजेंडा: RSS
(फोटो: वेबसीरीज पोस्टर)

advertisement

मनोज बाजपेयी की वेब सीरीज 'The Family Man' पर RSS ने सवाल उठाए हैं. RSS का कहना है कि इस वेब सीरीज के जरिए देश विरोधी एजेंडा फैलाया जा रहा है. अब RSS के मुखपत्र पांचजन्य में एक आर्टिकल के जरिए इस सीरीज के कई डायलॉग पर सवाल उठाए गए हैं. पांचजन्य की वेबसाइट पर लिखा है,

वेब सीरीज में एनआईए की महिला अधिकारी कह रही हैं, स्पेशल पावर एक्ट के दम पर कश्मीरी लोगों को दबाया जा रहा है. हम उनके फोन और इंटरनेट बंद कर देते हैं. यहां के लोग हमारे रहमो-करम पर जी रहे हैं. किसी को खुलकर आजादी से जीने न देना अगर जुल्म नहीं है तो क्या है.
पांचजन्य

आर्टिकल में आगे लिखा गया है,

जांच एजेंसी एनआईए के दो अधिकारी चाय पीते हुए आपस में बात कर रहे हैं. महिला अधिकारी दिल्ली से गए पुरुष साथी से कहती है “हम यहां पर जुल्मों-सितम के नाम पर जश्न मना रहे हैं. स्पेशल पावर एक्ट के दम पर कश्मीरी लोगों को दबाया जा रहा है. हम उनके फोन और इंटरनेट बंद कर देते हैं. यहां के लोग हमारे रहमो-करम पर जी रहे हैं. किसी को खुलकर आजादी से जीने न देना अगर जुल्म नहीं है तो क्या है?” दिल्ली से गया खुफिया अधिकारी अपनी महिला सहकर्मी की इस बात से काफी प्रभावित दिखाई दे रहे हैं. महिला अधिकारी आगे कहती है, “आखिर हममें और उन मिलिटेंटों (आतंकवादियों) में फर्क क्या है?”

क्या कोई कल्पना कर सकता है कि देश की सेना को आतंकवादियों जैसा कहने का ये कारनामा हमारे ही देश के फिल्मकारों का है.

2002 के दंगों का भी जिक्र

आर्टिकल में लिखा है कि The Family Man ने इस्लामी आतंकवाद का सबसे कारण 2002 के गुजरात दंगों को बताया है.

सवाल यह है कि वेबसीरीज बनाने वाले ये वामपंथी फिल्मकार आखिर चाहते क्या हैं? इस बात को समझने के लिए हमें पूरे राष्ट्रीय परिदृश्य को संदर्भ में लेना पड़ेगा. अगर ध्यान से देखें तो पाएंगे कि ज्यादातर वेबसीरीज मीडिया में चल रहे समाचारों से काफी प्रभावित होते हैं. उनकी कहानी कहने को काल्पनिक होती है लेकिन उनमें ताजा घटनाक्रम को पिरोने की कोशिश की जाती है. जिस तरह का कथानक वेबसीरीज दिखा रही हैं उसकी पृष्ठभूमि मुख्यधारा मीडिया यानी अखबारों और न्यूज चैनलों ने तैयार की. उदाहरण के लिए देश के किसी इलाके में एक महिला को सरेआम मारा गया। बीफ खिलाया गया और उसका कन्वर्जन करवा दिया गया. इसका वीडियो भी सोशल मीडिया में सामने आया.

आर्टिकल के आखिर में लिखा गया है कि वेबसीरीज की इन कहानियों के पीछे साजिश है और सच्चाई लोगों के सामने आएगी.

(हैलो दोस्तों! हमारे Telegram चैनल से जुड़े रहिए यहां)

Published: undefined

Read More
ADVERTISEMENT
SCROLL FOR NEXT