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Uttarkashi: सुरंग में फंसे मजदूरों का बढ़ा इंतजार, फिर रुका काम- तस्वीरों में Updates
Uttarkashi Tunnel Rescue: प्रधानमंत्री मोदी सिल्कयारा सुरंग में चलाए जा रहे बचाव अभियान पर नजर बनाए हुए हैं.
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Uttarkashi: सुरंग में फंसे मजदूरों का इंतजार बढ़ा, फिर रुका काम- तस्वीरों में Updates
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उत्तरकाशी (Uttarkashi) के सिलक्यारा सुरंग में फंसे 41 मजदूरों को निकालने का काम शुक्रवार, 24 नवंबर की शाम को एक बार फिर रोकना पड़ा. तकनीकी खराबी की वजह से रेस्क्यू ऑपरेशन प्रभावित हुआ है. जानकारी के मुताबिक, ऑगर मशीन में दोबारा कुछ फंसने की वजह से ड्रिलिंग का काम रोका गया है. जिसके बाद मजदूरों को शुक्रवार रात तक बाहर निकालने की कोशिशों को झटका लगा है.
उत्तरकाशी के सिलक्यारा सुरंग में फंसे 41 मजदूरों को बाहर निकालने का काम एक बार फिर रुक गया है. शुक्रवार, 24 नवंबर की शाम को ऑगर मशीन में दोबारा कुछ फंसने की वजह से ड्रिलिंग का काम रोकना पड़ा है. मशीन को बाहर निकाला जा रहा है.
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जीपीआर सर्वेक्षण टीम के जियोफिजिसिस्ट बी चेंदूर ने कहा, "हमें इसलिए बुलाया गया क्योंकि ऑगर मशीन में कुछ फंस गया है. जीपीआर की मदद से हम यह पता लगाने की कोशिश कर रहे हैं कि धातु कितनी दूर फंसा है. इस काम में दो लोगों की आवश्यकता है- एक जीपीआर चलाने के लिए और दूसरा डेटा कलेक्ट करने के लिए."
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बचाव अभियान में इस्तेमाल की जा रही ड्रोन तकनीक के बारे में बात करते हुए स्क्वाड्रन इंफ्रा माइनिंग प्राइवेट लिमिटेड के एमडी और सीईओ सिरिएक जोसेफ ने कहा, "यह एक नई तकनीक है, यह जीपीएस से वंचित क्षेत्रों में जाती है और भूमिगत सुरंगों और भूमिगत खदानों में उपयोग की जाती है. इसे हाल ही में भारत में लॉन्च किया गया है."
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केंद्रीय मंत्री वीके सिंह और उत्तराखंड के मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने शुक्रवार को सिलक्यारा सुरंग का दौरा किया और बचाव अभियान का जायजा लिया.
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सीएम पुष्कर सिंह धामी ने बताया कि बचाव अभियान अपने अंतिम चरण में है. उन्होंने कहा कि केंद्र और राज्य की एजेंसियां मिलकर काम कर रही हैं. इसके साथ ही उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी सिल्कयारा सुरंग में चलाए जा रहे बचाव अभियान के संबंध में सभी अपडेट ले रहे हैं.
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इससे पहले अतिरिक्त सचिव महमूद अहमद ने बताया था कि रेस्क्यू में सफलता के लिए 6-6 मीटर के दो और पाइप डालने होंगे. पहले 6 मीटर के पाइप से 51-52 मीटर तक पहुंच जाएंगे, अगले 6 मीटर लंबे पाइप से हमें सफलता मिलने की उम्मीद है.
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इससे पहले गुरुवार को ऑगर मशीन में खराबी आ गई थी. जिस प्लेटफॉर्म पर ऑगर ड्रिलिंग मशीन लगी हुई थी, उसमें गुरुवार को कुछ दरारें आ गईं थी. हालांकि, बाद से दरारों की मरम्मत के बाद फिर से ड्रिलिंग शुरू हुई थी.
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मजदूरों को तुरंत मेडिकल सुविधा प्रदान करने के लिए मौके पर कई एंबुलेंस तैनात की गई है.