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योगी आदित्यनाथ (Yogi Adityanath) ने शुक्रवार, 25 मार्च को दूसरी बार उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री के रूप में शपथ ली जहां प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी, केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह और कई राज्यों के मुख्यमंत्री मौजूद थे. लेकिन इन बड़े चेहरों के बीच एक ऐसे नेता भी राज्यमंत्री के रूप शपथ ले रहे थे जो पहले साइकिल और स्कूटर बनाने का काम करते थे. नाम तो वैसे राकेश राठौर है लेकिन सब उन्हें गुरु बुलाते हैं. आइये आपको सीतापुर से विधायक और योगी सरकार में मंत्री बने राकेश राठौर 'गुरु' (Rakesh Rathore Guru) की संघर्ष की कहानी सुनाते हैं.
राकेश राठौर गुरु सिर्फ आठवीं पास हैं और एक जमाने में मिस्त्री हुआ करते थे. आरएमपी रोड पर उनकी साइकिल और स्कूटर ठीक करने की दुकान थी. बाद में उन्होंने स्पेयर्स पार्ट्स बेचने का भी काम किया और आखिर में इन्वर्टर तक बेचा. जबसे उन्होंने स्कूटर मिस्त्री के रूप में काम करना शुरू किया तो सब उन्हें गुरु बोलने लगे. क्षेत्र में राकेश राठौर गुरु अपनी सादगी के लिए जाने जाते हैं.
हालांकि समाजवादी पार्टी ने यहां से चार बार विधायक रहे राधेश्याम जायसवाल को अपना उम्मीदवार बनाया था लेकिन गुरु ने उन्हें 1253 वोटों से मात दी.
मूल रूप से राकेश राठौर गुरु का परिवार मिश्रिख का है और वो सीतापुर में दुर्गापुरवा मुहल्ले में रहते हैं.
सीएम योगी की दूसरी पारी में कई ऐसे बड़े चेहरे हैं जिनको जगह नहीं मिली है. पिछली सरकार में उप-मुख्यमंत्री रहे दिनेश शर्मा का पत्ता कट गया है जबकि पिछली योगी सरकार में एक मात्र मुस्लिम मंत्री- अल्पसंख्यक मंत्री रहे मोहसिन रजा को इस बार मंत्रीमंडल में जगह नहीं मिली है.
इसके अलावा पिछली सरकार में बिजली मंत्री रहे श्रीकांत शर्मा के हाथ भी निराशा लगी है. मथुरा से विधायक श्रीकांत शर्मा को इस बार योगी मंत्रीमंडल में जगह नहीं मिली है. पूर्व प्रधानमंत्री लालबहादुर शास्त्री के नाती और पिछली योगी सरकार में MSME, टेक्सटाइल, कड़ी-ग्रामोद्योग मंत्री रही सिद्धार्थ नाथ सिंह का पत्ता भी कट गया है.
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Published: 25 Mar 2022,08:09 PM IST