मेंबर्स के लिए
lock close icon
Home Created by potrace 1.16, written by Peter Selinger 2001-2019News Created by potrace 1.16, written by Peter Selinger 2001-2019Politics Created by potrace 1.16, written by Peter Selinger 2001-2019उद्धव ठाकरे: कुर्सी से दूरी, घर छोड़ा, इमोशनल कार्ड चला, लेकिन फायदा क्या हुआ?

उद्धव ठाकरे: कुर्सी से दूरी, घर छोड़ा, इमोशनल कार्ड चला, लेकिन फायदा क्या हुआ?

क्या अब शिवसेना से उद्धव ठाकरे की विदाई होगी?

शादाब मोइज़ी
पॉलिटिक्स
Updated:
<div class="paragraphs"><p>महाराष्ट्र: सीएम हाउस ‘वर्षा’ से निकले उद्धव ठाकरे, मोतीश्री के लिए रवाना</p></div>
i

महाराष्ट्र: सीएम हाउस ‘वर्षा’ से निकले उद्धव ठाकरे, मोतीश्री के लिए रवाना

(फोटो- क्विंट)

advertisement

"शिवसेना हिंदुत्व से दूर नहीं हो सकती. मैं सदन के पटल पर हिंदुत्व के ऊपर बोलने वाला पहला मुख्यमंत्री हूं."

"कुल्हाड़ी भी लकड़ी की होती है, लेकिन उससे पेड़ काटा जाता है."

"जो नाराज विधायक हैं वो आएं, मैं कुर्सी छोड़ने के लिए तैयार हूं."

ये कुछ डायलॉग हैं जो मायानगरी मुंबई से निकली है. लेकिन ये डायलॉग्स किसी बॉलीवुड की फिल्म के नहीं बल्कि महाराष्ट्र के मौजूदा मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे (Uddhav Thackeray) के हैं. महाराष्ट्र में जारी सियासी संकट के बीच मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे ने बुधवार को कभी बाउंसर फेंके तो कभी यॉर्कर. लेकिन उनकी न मौसम साथ दे रहा न पिच. यहां तक कि अपने खिलाड़ी ही कप्तान से नाराज हुए बैठे हैं.

उद्धव के खिलाफ 'फील्डिंग सेट'

दरअसल, शिवसेना नेता और मंत्री एकनाथ शिंदे (Eknath Shinde) ने विधायकों की टीम के साथ उद्धव ठाकरे के खिलाफ बगावत का बिगुल फूंक दिया है. एक दो नहीं 30 से ज्यादा विधायकों को लेकर महाराष्ट्र से सूरत और अब असम के गुवाहाटी पहुंच गए. सरकार तो दूर अब शिवसेनाटूटने की कगार पर है.

इसी बीच उद्धव ठाकरे ने फेसबुक के जरिए भावुक अपील की, कुर्सी छोड़ने की बात कही फिर बोरिया बिस्तर यानी सीएमआवास से अपना सामान बांधा, गले में सर्वाइकल कॉलर लगाए सीएम आवास से बाहर आएं. पत्नी और बेटे अलग गाड़ी से निकले, समर्थकों का हुजूम, खानदानी घर मातोश्री पर फूल माले. लेकिन क्या ये सब काम आया? फिलहाल तो जवाब है, नहीं.

ADVERTISEMENT
ADVERTISEMENT

उद्धव ठाकरे ने फेसबुक अपील में कहा, "

मैं अपना त्याग पत्र दूंगा यदि वे मेरे सामने आते हैं और मांगते हैं. अगर कोई विधायक चाहता है कि मैं मुख्यमंत्री नहीं रहूं, तो मैं अपना सारा सामान वर्षा बंगले से मातोश्री ले जाने के लिए तैयार हूं.

उद्धव ठाकरे ने जब ये अपील की तो लगा कि शायद विधायकों की बगावत रुक जाएगी. या फिर बीच का कोई रास्ता निकलेगा. लेकिन ऐसा नहीं हुआ.

उद्धव ठाकरे के बयान के कुछ ही देर बाद एकनाथ शिंदे ने ट्विटकर फ्रंट फुट पर आकर बल्लेबाजी करते हुए साफ कह दिया कि शिवसेना को एनसीपी और कांग्रेस से गठबंधन तोड़ना होगा. शिंदे ने कहा,

  1. पिछले ढाई वर्षों में, एमवीए सरकार ने केवल घटक दलों को फायदा पहुंचाया, और शिवसैनिकों को भारी नुकसान हुआ.

  2. घटक दल मजबूत हो रहे हैं, शिवसेना का व्यवस्थित रूप से गबन किया जा रहा है.

  3. पार्टी और शिवसैनिकों के अस्तित्व के लिए अस्वाभाविक मोर्चे से बाहर निकलना जरूरी है.

  4. महाराष्ट्र के हित में अब निर्णय लेने की जरूरत है.

मतलब साफ था कि सीएम की कुर्सी से ज्यादा गठबंधन तोड़ने पर जोर है और बीजेपी के साथ दोबारा गठबंधन करने की चाहत. इसे ऐसे भी समझ सकते हैं कि एकनाथ शिंदे ने उद्धव के गठबंधन वाले फैसले को पूरी तरह से गलत बताया है.

वहीं उद्धव ठाकरे की अपील बेअसर होती दिख रही है. न्यूज एजेंसी एएनआई की माने को सीएम ठाकरे की अपील के बावजूद आज सुबह एकनाथ शिंदे गुट में शामिल होने के लिए तीन और विधायक गुवाहाटी पहुंच गए हैं. इससे पहले 22 जून को चार और विधायक गुवाहाटी के Radisson Blu होटल पहुंचे. जहां एकनाथ शिंदे बाकी विधायकों के साथ रुके हुए हैं.

यही नहीं शिंदे पहले ही दावा कर चुके हैं कि वो किसी पार्टी में शामिल नहीं होंगे और शिवसेना में ही रहेंगे. मतलब क्या अब शिवसेना से उद्धव ठाकरे की विदाई होगी?

(क्विंट हिन्दी, हर मुद्दे पर बनता आपकी आवाज, करता है सवाल. आज ही मेंबर बनें और हमारी पत्रकारिता को आकार देने में सक्रिय भूमिका निभाएं.)

अनलॉक करने के लिए मेंबर बनें
  • साइट पर सभी पेड कंटेंट का एक्सेस
  • क्विंट पर बिना ऐड के सबकुछ पढ़ें
  • स्पेशल प्रोजेक्ट का सबसे पहला प्रीव्यू
आगे बढ़ें

Published: 23 Jun 2022,11:18 AM IST

ADVERTISEMENT
SCROLL FOR NEXT