advertisement
Maharashtra महाराष्ट्र में प्रवर्तन निदेशालय (ED) की कार्रवाई का सत्र अब CM Uddhav Thackeray सीएम उद्धव ठाकरे के परिवार तक पहुँच गया है. बीते मंगलवार ED ने उद्धव के साले और रश्मि उद्धव ठाकरे के भाई श्रीधर माधव पाटनकर के 6.45 करोड़ के 11 फ्लैट्स सीज कर दिए. 2017 में दाखिल नोटबंदी के मनी लॉन्ड्रिंग Money Laundering मामले में ED ने छापेमारी की है. जिसके बाद महाराष्ट्र की सियासत गरमा गई है.
केंद्रीय एजेंसियों ने महाविकास अघाड़ी सरकार के कई बड़े नेताओं को निशाने पर लिया है. जिसमें एनसीपी के कोटे से पूर्व गृहमंत्री अनिल देशमूख और अल्पसंख्यक मंत्री नवाब मलिक सलाखों के पीछे हैं. लेकिन अब सीएम उद्धव के साले पर शिकंजा कसता नजर आ रहा है. जिसकी वजह से महाविकास अघाड़ी सरकार के भविष्य के बारे में कई अटकलें लगाई जा रही हैं. लेकिन क्या वाकई में इन कार्रवाई का सरकार की स्थिरता पर कोई असर होगा ये समझने के लिए पहले इस मामले को समझते हैं.
इन कार्रवाइयों पर सीएम उद्धव ठाकरे ने कहा कि, मैं इन हथकंडों से नहीं डरता. अगर आप मुझे सत्ता में आने के लिए जेल में डालना चाहते हैं, तो डाल दें. लेकिन सत्ता हथियाने के लिए इस तरह के दुराचारी व्यवहार में शामिल न हों. हमें या हमारे परिवार के सदस्यों को परेशान न करें. हमने कभी आपके परिवार के सदस्य को परेशान नहीं किया.
ED ने जारी किए प्रेस रिलीज में साफ किया है कि 6 मार्च 2017 में पुष्पक बुलियन्स प्राइवेट लिमिटेड के खिलाफ पीएमएलए कानून के तहत मामला दर्ज किया गया था. जिसमें श्रीधर पाटनकर से जुड़े पुष्पक ग्रुप्स के ठाणे में 11 फ्लैट्स पर जब्ती की कार्रवाई की गई है.
इस मामले में महेश पटेल और चंद्रकांत पटेल की 21 करोड़ की संपत्ति भी जब्त हो गई है. इसके मनी ट्रेल में आगे सामने आया कि महेश पटेल और कथित हवाला एंट्री ऑपरेटर नंदकिशोर चतुर्वेदी ने पुष्पक रिएलिटी के पैसे दूसरे शेल कंपनियों द्वारा डाइवर्ट किये थे. जिसमें श्री साई बाबा गृहनिर्माण प्राइवेट लिमिटेड कंपनी को 30 करोड़ का बिना गारंटी कर्जा दिया गया था. श्रीधर पाटनकर श्री साई बाबा गृहनिर्माण कंपनी के मालिक हैं. इसीलिए उससे जुड़े ठाणे के 11 फ्लैट्स सीज किए गए.
केंद्र की इस कार्रवाई को उद्धव के लिए आखरी इशारा माना जा रहा है. क्योंकि बीजेपी के पूर्व सांसद किरीट सोमैया का आरोप है कि हवाला एंट्री ऑपेरेटर नंदकिशोर चतुर्वेदी ने आदित्य ठाकरे से तीन कंपनियां खरीदी हैं. सोमैया ने एक प्रेस कॉन्फ्रेंस में बताया कि 2014 में आदित्य और रश्मि ठाकरे ने कोमो स्टॉक एंड प्रॉपर्टीज नामक कंपनी बनाई थी. इस कंपनी में रश्मि और आदित्य की 50-50 फीसदी हिस्सेदारी थी. लेकिन अब इसका मालिक हवाला किंग नंदकिशोर चतुर्वेदी है.
(क्विंट हिन्दी, हर मुद्दे पर बनता आपकी आवाज, करता है सवाल. आज ही मेंबर बनें और हमारी पत्रकारिता को आकार देने में सक्रिय भूमिका निभाएं.)
Published: undefined