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घोसी उपचुनाव: सुधाकर सिंह पर SP ने लगाया दांव, अब तक कैसा रहा राजनीतिक सफर?

घोसी सीट पर उपचुनाव के लिए 5 सितंबर को मतदान होगा और 8 सितंबर को वोटों की गिनती होगी.

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<div class="paragraphs"><p>घोसी उपचुनाव: सुधाकर सिंह पर SP ने लगाया दांव, अब तक कैसा रहा राजनीतिक सफर? </p></div>
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घोसी उपचुनाव: सुधाकर सिंह पर SP ने लगाया दांव, अब तक कैसा रहा राजनीतिक सफर?

(फोटो: क्विंट)

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उत्तर प्रदेश (Uttar Pradesh) की घोसी विधानसभा सीट पर होने वाले उपचुनाव (Ghosi By-Election) के लिए समाजवादी पार्टी (SP) ने अपने उम्मीदवार का ऐलान कर दिया है. एसपी सुप्रीमो अखिलेश यादव (Akhilesh Yadav) ने सुधाकर सिंह (Sudhakar Singh) पर भरोसा जताया है. समाजवादी पार्टी ने इसकी घोषणा करते हुए ट्वीट किया, "घोसी विधानसभा उपचुनाव में सुधाकर सिंह समाजवादी पार्टी के प्रत्याशी होंगे."

कौन हैं सुधाकर सिंह?

सुधाकर सिंह समाजवादी पार्टी के सीनियर नेताओं में से एक हैं. वो घोसी से पहले भी विधायक रह चुके हैं. सुधाकर सिंह के पास लॉ की डिग्री है. उन्होंने MA, LLB किया है.

सुधाकर सिंह के राजनीतक करियर की बात करें तो वो पहली बार 1996 में नत्थूपुर विधानसभा सीट से विधायक बने थे. 2012 में परिसीमन के बाद नत्थूपुर सीट घोसी के नाम से जानी जाने लगी. इस चुनाव में भी सुधाकर सिंह को जीत मिली और वो विधानसभा पहुंचे.

इसके बाद से सुधाकर सिंह को हार का सामना करना पड़ा है. 2017 के विधानसभा चुनाव में समाजवादी पार्टी ने फिर उन्हें घोसी से टिकट दिया था. लेकिन बीजेपी के फागू चौहान ने उन्हें हरा दिया.

2019 में फागू चौहान के बिहार के राज्यपाल मनोनित होने के बाद घोसी विधानसभा सीट खाली हो गई. उपचुनाव में एसपी ने फिर सुधाकर सिंह पर भरोसा जताया, लेकिन तकनीकी कारणों की वजह से सुधाकर सिंह को एसपी का सिंबल एलॉट नहीं हुआ, जिसके बाद उन्होंने समाजवादी पार्टी समर्थित निर्दलीय प्रत्याशी के रूप में चुनाव लड़ा. बीजेपी के विजय राजभर ने उन्हें हरा दिया.

2022 में समाजवादी पार्टी ने सुधाकर सिंह को घोसी की जगह मधुबन से प्रत्याशी बनाया, लेकिन बाद में उनका टिकट काटकर उमेश चंद पांडेय को दे दिया गया. इसके बाद सुधाकर सिंह के बगावत की खबरें भी सामने आईं, लेकिन उन्होंने पार्टी नहीं छोड़ी. एक बार फिर अखिलेश यादव ने सुधाकर सिंह पर भरोसा जताया है.

घोसी सीट पर क्यों हो रहा उपचुनाव?

घोसी से समाजवादी पार्टी के टिकट पर चुनाव जीतने वाले दारा सिंह चौहान के इस्तीफे के बाद उपचुनाव हो रहा है. दरअसल, चौहान ने पाला बदलकर बीजेपी का दामन थाम लिया है. बता दें कि, 2017 से 2022 के बीच दारा सिंह चौहान योगी कैबिनेट में मंत्री थे. लेकिन चुनाव से ठीक पहले वो बीजेपी छोड़कर समाजवादी पार्टी में शामिल हो गए थे.

समाजवादी पार्टी ने उन्हें घोसी सीट से 2022 विधानसभा चुनाव में उतारा. उन्होंने जीत हासिल की. लेकिन वो ज्यादा दिन तक एसपी में टिक नहीं पाए और फिर से बीजेपी में शामिल हो गए हैं.

मीडिया रिपोर्ट्स की मानें तो दारा सिंह चौहान घोसी उपचुनाव में बीजेपी उम्मीदवार हो सकते हैं.

घोसी सीट पर होने वाले उपचुनाव के लिए 17 अगस्त तक नामांकन होगा और नाम वापसी के लिए उम्मीदवारों को 21 अगस्त तक का समय दिया गया है. घोसी सीट के उपचुनाव के लिए 5 सितंबर को मतदान होगा और 8 सितंबर को वोटों की गिनती होगी.

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