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सोमवार, 31 जनवरी को पश्चिम बंगाल (West Bengal) की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी (Mamata Banerjee) ने राज्यपाल जगदीप धनखड़ को अपने ट्विटर अकाउंट से ब्लॉक कर दिया. राज्यपाल धनखड़ ने एक दिन पहले कहा था कि राज्य ‘लोकतंत्र के लिए एक गैस चैंबर’ बन गया है. ममता बनर्जी ने प्रेस कॉन्फ्रेंस में कहा कि वो लगभग हर दिन कुछ न कुछ ट्वीट करते हुए मुझे या मेरे अधिकारियों के खिलाफ कमेंट करते हैं.
ममता बनर्जी ने आगे कहा कि वो असंवैधानिक और अनैतिकता से भरी बातें करते हैं. वो ऐसा बोलते हैं कि जैसे चुनी हुई सरकार बंधुआ मजदूर है. इसलिए मैंने अपने ट्विटर अकाउंट से उन्हें ब्लॉक कर दिया है, क्योंकि मैं हर दिन उनके ट्वीट्स से परेशान हो रही थी.
रिपोर्ट्स के मुताबिक माना जा रहा है कि सीएम ममता बनर्जी ने उन्हें ब्लॉक करने का ये फैसला महात्मा गांधी की पुण्यतिथि पर राज्यपाल धनखड़ के द्वारा किए गए ताजा हमले के बाद उठाया है. जिसमें धनखड़ ने कहा था कि मैं बंगाल की पवित्र भूमि को खून से लथपथ और मानवाधिकारों को कुचलने की जगह बनते हुए नहीं देख सकता हूं, कहा जा रहा है कि राज्य लोकतंत्र का गैस चैंबर बनता जा रहा है.
इससे पहले ममता बनर्जी से पुलिस को यह सुनिश्चित करने के लिए निर्देश दिया था कि बीएसएफ अंतरराष्ट्रीय बॉर्डर से 15 किलोमीटर के अधिकार क्षेत्र का उल्लंघन नहीं कर पाए. इस बात को लेकर भी राज्यपाल और ममता बनर्जी के बीच मतभेद सामने आए थे.
पश्चिम बंगाल के राज्यपाल जगदीप धनखड़ ने इस कथित निर्देश को राष्ट्रीय सुरक्षा के लिए खतरा बताया था. मुख्यमंत्री के नाम पत्र लिखते हुए उन्होंने अपील की थी कि वे कदम उठाएं और जनहित व राष्ट्रीय हित में इस मुद्दे का समाधान करें.
उन्होंने अपने पत्र में लिखा था कि बीएसएफ को लेकर दिए गए आपके निर्देश से काफी चिंतित हूं, जिसमें आपने बीएसएफ को 15 किलोमीटर के दायरे में दी गयी अनुमति को लेकर राज्य पुलिस को निर्देश दिए हैं.
ममता बनर्जी ने कहा कि मैंने कई बार प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को पत्र लिखकर जगदीप धनखड़ को हटाने की मांग की है. लेकिन अभी तक कोई कार्रवाई नहीं की गई है.
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