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Qलखनऊ: अब ई-लर्निंग से पढ़ेंगे बच्चे, कोरोना के 102 नए मामले

Q लखनऊ में पढ़ें उत्तर प्रदेश की तमाम बड़ी खबरें

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Q लखनऊ में पढ़ें उत्तर प्रदेश की तमाम बड़ी खबरें
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Q लखनऊ में पढ़ें उत्तर प्रदेश की तमाम बड़ी खबरें
(फोटोः Altered By Quint)

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UP में सभी स्कूलों को ई-लर्निंग शुरू करने के आदेश

उत्तर प्रदेश सरकार ने कोरोना संक्रमण के मद्देनजर लागू लॉकडाउन के दौरान शिक्षण सत्र नियमित रखने के मकसद से सभी स्कूलों को कक्षा 9 से 12 तक के बच्चों के लिए 20 अप्रैल से ई-लर्निंग और व्हाट्सअप वर्चुअल क्लासेज शुरू करने के आदेश दिए हैं. प्रदेश के उपमुख्यमंत्री और शिक्षा मंत्री डॉक्टर दिनेश शर्मा ने मंगलवार को विभागीय समीक्षा बैठक के दौरान यह आदेश दिए.

दिनेश शर्मा ने कहा कि लॉकडाउन के दौरान यूपी बोर्ड के छात्रों को दीक्षा पोर्टल पर ई-सामग्री की मदद से पढ़ाया जा सकता है. उन्होंने कहा कि इसे शुरू करने के लिए जल्द से जल्द योजना बनाई जानी चाहिये ताकि कक्षा 6 से 8 तक के बच्चों को भी इसका फायदा मिल सके. इससे पहले, राज्य सरकार ने सोमवार को कक्षा 6, 7, 8, 9 और 11 के सभी बच्चों को अगली क्लास में प्रमोट करने के आदेश दिए थे.

निजी अस्पताल में मरीज के कोरोना पॉजीटिव निकलने के बाद अस्पताल बंद

इलाज कराने आये एक मरीज के बाद में कोरोना संक्रमित पाये जाने पर लखनऊ के एक प्राइवेट हॉस्पिटल और डायग्नोस्टिक सेंटर को बंद कर दिया गया है. साथ ही साथ उसके संपर्क में आये किंग जॉर्ज चिकित्सा विश्वविद्यालय (केजीएमयू) के 65 कर्मियों को आइसोलेटेड वार्ड में भेज दिया गया है.

मधुमेह का 65 वर्षीय एक मरीज करीब एक हफ्ते पहले लखनऊ के मेडवेल हॉस्पिटल में इलाज कराने आया था. उससे एक्स-रे कराने को कहा गया था, जिसके लिये वह चरक डायग्नोस्टिक सेंटर गया था.

इसी दौरान मरीज की हालत खराब हो गयी और उसे सांस लेने में तकलीफ की शिकायत हुई. उसे शनिवार को किंग जॉर्ज चिकित्सा विश्वविद्यालय लाया गया. रोगी की हालत गम्भीर होने की वजह से उसे इमर्जेंसी वार्ड में भर्ती कराया गया, जहां से फिर उसे न्यूरोलॉजी विभाग ले जाया गया. बाद में हुई जांच में वह मरीज कोरोना संक्रमित पाया गया. इस वक्त वह वेंटिलेटर पर है.

इस कोरोना संक्रमित मरीज के सम्पर्क में आने की वजह से ट्रॉमा सेंटर के 65 कर्मचारियों को आइसोलेटेड वार्ड में रखा गया है. इनमें से 52 नर्स, पैरामेडिकल स्टाफ और दूसरे कर्मी हैं.

कोरोना : 102 नये मामले आए सामने, कुल संख्या बढ़कर 660 हुई

उत्तर प्रदेश में कोरोना वायरस के मामलों में तेजी से इजाफा हो रहा हैं. मंगलवार को 102 नये मामले सामने आये जिसके साथ ही राज्य में कोविड-19 संक्रमितों की कुल संख्या बढ़कर 660 हो गयी है. मंगलवार को तीन और लोगों की मौत के साथ ही राज्य में मरने वालों की संख्या बढ़कर 8 हो गयी. स्वास्थ्य विभाग के एक बयान के मुताबिक कोविड-19 संक्रमण की चपेट में आये तीन और लोगों की मंगलवार को मौत हो गयी. इनमें आगरा के दो तथा मुरादाबाद का एक मरीज शामिल है. इससे पहले बस्ती, मेरठ, बुलंदशहर, वाराणसी और मुरादाबाद में कोरोना संक्रमित एक-एक व्यक्ति की मौत हो चुकी है.

प्रसाद ने बताया कि 660 में से 49 मरीज उपचार के बाद पूरी तरह स्वस्थ हो गए हैं और उन्हें घर भेज दिया गया है. संक्रमण के ये मामले उत्तर प्रदेश के 75 में से 44 जिलों के हैं.

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मुंबई में मजदूरों पर लाठीचार्ज से भड़के UP के मंत्री ब्रजेश पाठक

मुंबई के बांद्रा रेलवे स्टेशन पर प्रवासी मजदूरों पर हुए लाठीचार्ज पर उत्तर प्रदेश के कैबिनेट मंत्री ब्रजेश पाठक ने नाराजगी जताई है. उन्होंने महाराष्ट्र सरकार से कहा है कि UP सरकार पहले ही कह चुकी है कि वह अपने राज्य के मजदूरों का वहां रहने और खाने का खर्च उठाने में सक्षम है.

कानून मंत्री ब्रजेश पाठक ने कहा, मुंबई के स्टेशन पर उत्तर प्रदेश और दूसरे राज्यों के गरीब प्रवासी मजदूरों पर हुए लाठीचार्ज की कड़ी निंदा करता हूं. उत्तर प्रदेश सरकार पहले ही राज्य के प्रवासी मजदूरों के रहने और खाने का इंतजाम करने के लिय अनुरोध कर चुकी है. उसके बाद यह घटना सिद्ध करती है कि मुंबई में अधिकारियों ने संवेदनशीलता से काम नहीं लिया.

डाक्टरों और पैरामेडिकल स्टाफ के संक्रमित होने पर मुख्यमंत्री ने जताई चिंता

उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने स्वास्थ्य विभाग से पूरी सतर्कता बरतने के साथ ही डक्टरों और चिकित्सा से जुड़े स्टाफ को प्रशिक्षण दिलाने के निर्देश दिए हैं.

मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ मंगलवार को अपने सरकारी आवास पर वरिष्ठ अधिकारियों के साथ लॉकडाउन की समीक्षा कर रहे थे. गंभीर रोगों के इलाज के लिए भर्ती हुए कई मरीजों में बाद में कोरोना संक्रमण पाया गया, जिससे डक्टर और मेडिकल स्टाफ भी संक्रमित हो चुके हैं. ऐसी घटनाओं पर मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने चिंता जताई है. उन्होंने स्वास्थ्य विभाग से पूरी सतर्कता बरतने के साथ ही डक्टरों और चिकित्सा से जुड़े स्टाफ को प्रशिक्षण दिलाने को कहा है.

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