Home Created by potrace 1.16, written by Peter Selinger 2001-2019News Created by potrace 1.16, written by Peter Selinger 2001-2019States Created by potrace 1.16, written by Peter Selinger 2001-2019MP चुनाव में BSP-SP दो कदम आगे, BJP और कांग्रेस हल्के में लेने की नहीं करेंगी भूल

MP चुनाव में BSP-SP दो कदम आगे, BJP और कांग्रेस हल्के में लेने की नहीं करेंगी भूल

MP Assembly Election: 2018 में बीजेपी को सत्ता से बाहर करने में BSP की भी भूमिका रही थी. BSP को 2018 के विधानसभा चुनाव में प्रदेश में 5% से अधिक वोट मिले थे.

प्रिया सिंह
राज्य
Published:
<div class="paragraphs"><p>MP Assembly Election: मध्यप्रदेश में किसकी बनेगी सरकार? BSP-SP का क्या है प्रभाव?</p></div>
i

MP Assembly Election: मध्यप्रदेश में किसकी बनेगी सरकार? BSP-SP का क्या है प्रभाव?

क्विंट हिंदी

advertisement

मध्य प्रदेश (Madhya Pradesh) में इस साल के अंत में विधानसभा चुनाव होने वाले हैं. बीजेपी और कांग्रेस आमने-सामने है. दोनों पार्टियों के बीच हमेशा सीधा मुकाबला होता रहा है. लेकिन इसबार विधानसभा चुनाव में दूसरी या कहें वोट के हिसाब छोटी पार्टियां भी अपनी ताकत दिखाने की तैयारी में जुटी हैं.

भले ही समाजवादी पार्टी कांग्रेस के साथ वाली INDIA गठबंधन का हिस्सा हो लेकिन वो भी मध्य प्रदेश में अलग से चुनावी मैदान में उतर रही है. वहीं बहुजन समाज पार्टी की बात करें तो वो भी पूरे दमखम के साथ चुनावी मैदान में उतर रही है. लेकिन यहां सवाल यह उठता है कि क्या एसपी-बीएसपी के 'दखलंदाजी' से बीजेपी और कांग्रेस के वोट पर कोई असर पड़ेगा? क्या ये दोनों पार्टियां कांग्रेस और बीजेपी का वोट काटने का काम करेंगी? आइए जानते हैं.

BSP ने किस सीट पर किसे दिया मौका?

मध्य प्रदेश में विधानसभा चुनाव के लिए उम्मीदवारों की घोषणा के मामले में BSP ने सबसे पहले बाजी मारी है. बीएसपी ने उत्तर प्रदेश से सटे 7 विधानसभा क्षेत्रों के लिए प्रत्याशियों के नामों का ऐलान किया है.

इसमें चंबल से एक, बुंदेलखंडे से दो और विंध्य क्षेत्र की चार सीटें शामिल हैं. उम्मीदवारों की लिस्ट में एक दलित वर्ग से, तीन ब्राह्मण, दो पटेल और एक ठाकुर वर्ग से हैं.

बीएसपी ने जिन सात जनप्रतिनिधियों को उम्मीदवार बनाया है, उसमें पहला नाम रीवा जिले की सिरमौर सीट से पुलिस विभाग से रिटायर डीएसपी विष्णुदेव पांडेय का है. दूसरा नाम रीवा जिले की सेमरिया विधानसभा सीट से पंकज सिंह पटेल का है. सतना जिले की रैगांव सीट से देवराज अहिरवार, खजुराहो की राजनगर विधानसभा सीट से रामराजा पाठक और निवाड़ी विधानसभा सीट से अवधेश प्रताप सिंह राठौर पर पार्टी ने विश्वास जताया है. वहीं मुरैना जिले की दिमनी सीट से बलवीर सिंह डंडौतिया और सतना जिले की रामपुर बघेलान सीट से रिटायर्ड तहसीलदार मणिराज सिंह पटेल प्रत्याशी बनाए गए हैं.

SP ने किस सीट पर किसे चुनावी मैदान में उतारा?

समाजवादी पार्टी ने अब तक उम्मीदवारों की दो सूची जारी की है. पहली सूची में चार और दूसरी लिस्ट में दो उम्मीदवारों का नाम है.

पहली लिस्ट में मध्यप्रदेश के निवाड़ी सीट से पूर्व विधायक मीरा दीपक यादव, राजनगर से बृजगोपाल पटेल, भांडेर से आरडी राहुल और मेहगांव से बृजकिशोर सिंह गुर्जर को मैदान में उतारा गया है. वहीं दूसरी सूची में, समाजवादी पार्टी के अध्यक्ष अखिलेश यादव ने विंध्य क्षेत्र के सिद्दी जिले में धौहनी से विश्वनाथ सिंह गौड़ मरकाम और चितरंगी से श्रवण कुमार सिंह गौड़ को मैदान में उतारा है. ये दोनों सीटें अनुसूचित जनजाति (एसटी) के लिए आरक्षित हैं और यूपी की सीमा के करीब हैं.

ADVERTISEMENT
ADVERTISEMENT

मध्यप्रदेश की राजनीति में दोनों पार्टियों का प्रभाव क्या है?

मध्यप्रदेश की राजनीति में एसपी-बीएसपी के प्रभाव की बात की जाए, तो ये दोनों राजनैतिक दल मध्यप्रदेश में बीजेपी और कांग्रेस का समीकरण कुछ हद तक बिगाड़ सकते हैं. ग्वालियर-चंबल, बुंदेलखंड और विंध्य क्षेत्र में दोनों पार्टियों की कुल मिलाकर अच्छी पैठ है. इन क्षेत्रों से कई बार एसपी-बीएसपी के उम्मीदवार चुनाव जीत चुके हैं.

इसका एक मुख्य कारण है इन क्षेत्रों का उत्तर प्रदेश की सीमा से सटा होना. उत्तर प्रदेश की प्रभावी पार्टियां होने की वजह से मध्यप्रदेश के इन इलाकों में BSP और समाजवादी पार्टी का भी अच्छा प्रभाव रहता है.

2018 में बीजेपी को सत्ता से बाहर करने में बीएसपी की बड़ी भूमिका रही थी. बीएसपी को 2018 के विधानसभा चुनाव में प्रदेश में 5 प्रतिशत से अधिक वोट मिले थे. वर्तमान में, बीएसपी ही प्रदेश में तीसरे नंबर की पार्टी है.

मौजूदा विधानसभा में बीएसपी के दो विधायक पथरिया से रामबाई और भिंड से संजीव सिंह हैं, जबकि जौरा, देवताल, ग्वालियर ग्रामीण, पौहारी, रामपुर बघेलान और सबलगढ़ में बीएसपी प्रत्याशी दूसरे नंबर पर थे. 36 सीटों पर बीएसपी तीसरे स्थान पर थी. इससे पहले राज्य में कभी BSP, गौंडवाना गणतंत्र पार्टी और समाजवादी पार्टी को बड़ी सफलता मिली थी, मगर वर्तमान में इन दलों के पास कोई बड़ा चेहरा नहीं है.

समाजवादी पार्टी का प्रभाव क्या है? 

वहीं समाजवादी पार्टी की भूमिका की बात करें, तो उत्तरप्रदेश से लगे बुंदेलखंड इलाके में इसका कुछ हद तक प्रभाव है. 2018 के विधानसभा चुनाव में SP मध्यप्रदेश में 1 सीट जीतने में सफल रही थी. पूरे प्रदेश में उसने 52 प्रत्याशी उतारे थे. उसे 1.3% वोट शेयर प्राप्त हुआ था.

इससे पहले, 2003 के विधानसभा चुनाव में एसपी का सबसे अच्छा प्रदर्शन रहा था. तब 161 सीटों पर एसपी ने चुनाव लड़ा था और उसके 7 प्रत्याशियों की जीत हुई थी. उस समय पार्टी को प्रदेश में 5% से अधिक वोट मिले थे.

2020 में सियासी उलटफेर के बाद बीजेपी की सरकार बनी

राज्य में विधानसभा की कुल 230 सीटें है, जिनमें से कांग्रेस का 96 पर कब्जा है, वहीं बीजेपी के पास 127 विधायक हैं, इसके अलावा बीएसपी के दो, एसपी के एक और चार निर्दलीय विधायक हैं. 2018 में कांग्रेस की सरकार बनी थी लेकिन 2020 में राज्य में सियासी उलटफेर के बाद बीजेपी की सरकार बनी.

2018 विधानसभा चुनाव का परिणाम

पार्टी मत

  • बीजेपी 41%

  • कांग्रेस 40.9%

  • निर्दलीय 5.8%

  • बीएसपी 5.0%

  • गोंगपा 1.8%

  • एसपी 1.3%

फिलहाल मीडिया रिपोर्ट की हिसाब से प्रदेश में बीजेपी में आंतरिक कलह का माहौल बना हुआ है. वहीं बीजेपी का मुख्यमंत्री का चेहरा कौन होगा, यह सवाल भी लगातार उठ रहे हैं. इसको लेकर केंद्रीय गृहमंत्री अमित शाह (Amit Shah) ने स्थिति स्पष्ट करते हुए कहा था कि शिवराज सिंह चौहान अभी मुख्यमंत्री हैं, लेकिन चुनाव के बाद कौन होगा, इस बारे में पार्टी को तय करना है.

वहीं जैसे-जैसे विधानसभा चुनाव नजदीक आ रहे हैं, वैसे ही दलबदल का सिलसिला बढ़ता जा रहा है. दीपक जोशी से शुरू हुआ दलबदल का दौर थमने का नाम नहीं ले रहा है. निवाड़ी विधानसभा से चर्चा में रही रोशनी यादव ने हाल ही में बीजेपी से इस्तीफा देकर कांग्रेस का दामन थाम लिया है. रोशनी के साथ ही सागर जिले के राहतगढ़ से नीरज शर्मा और शिवपुरी जिले से जितेंद्र जैन (गोटू) भी कांग्रेस की सदस्यता ग्रहण कर चुके हैं.

कुल मिलाकर कांग्रेस-बीजेपी का खेल एसपी-बीएसपी और दल बदलने वाले नेता खराब कर सकते हैं.

(क्विंट हिन्दी, हर मुद्दे पर बनता आपकी आवाज, करता है सवाल. आज ही मेंबर बनें और हमारी पत्रकारिता को आकार देने में सक्रिय भूमिका निभाएं.)

Published: undefined

ADVERTISEMENT
SCROLL FOR NEXT