advertisement
देश में कोरोनावायरस के बढ़ते मामलों के बीच, सोशल मीडिया पर एक मैसेज वायरल हो रहा है. इस मैसेज के मुताबिक, प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी स्वच्छ भारत मिशन के तहत मुफ्त में मास्क बांट रहे हैं. इस मैसेज के साथ एक वेब पेज का लिंक भी शेयर किया जा रहा है, जिसमें यूजर को 15 मार्च तक फ्री मास्क पाने के लिए रजिस्ट्रेशन फॉर्म भरना पड़ता है.
कई चीजें हैं, जिससे साबित होता है कि ये वेबसाइट फेक है. पहला, इस वेबसाइट का यूआरएल 'pmmaskyojna.blogspot.com' है, जबकि भारत सरकार की आधिकारिक वेबसाइट नेशनल पोर्टल ऑफ इंडिया (india.gov.in) है.
दूसरा, इसमें प्रधानमंत्री के नाम की स्पेलिंग 'Narendr Nodi' लिखी है. पीएम का नाम 'Narendra Modi' है. इसके अलावा, इस लिंक पर क्लिक करने के बाद, एक पेज खुलता है जिसमें पर्सनल डिटेल मांगी जाती हैं.
वेबसाइट पर नीचे आने पर, पेज पर टर्म्स एंड प्राइवेसी लिखी हैं. इस पर क्लिक करने पर, एक नया पेज खुलता है जिसमें लिखा है कि इस तरह की कोई योजना नहीं है और ये पेज केवल मजाक के लिए बनाया गया था.
टर्म्स एंड प्राइवेसी के ठीक नीचे, एक सेक्शन है जिसमें मास्क लेने वालों के बढ़ते नंबरों को दिखाया गया है. इसमें लोगों को फ्री मास्क का ऑर्डर कर स्वच्छ भारत से जुड़ने के लिए कहा गया है.
इस एप्लीकेशन फॉर्म के आखिर में 'तुरंत ऑर्डर' करने को कहा गया है.
यूजर फॉर्म को भरे बिना भी इस पर क्लिक कर सकते हैं, इसके बाद एक WhatsApp इनवाइट पेज खुलता है, जिसमें लिखा है, 'स्वच्छ भारत से जुड़ने के लिए आपका धन्यवाद. फ्री मास्क ऑर्डर करने के लिए और पार्टी के प्रचार के लिए आपको नीचे हरे रंग के बटन दबाकर इस ऑफर को 5 दोस्तों या ग्रुप में भेजना होगा और उसके बाद नीचे (ऑर्डर नाउ) का बटन को दबाइए, आपका मास्क आपके दिए पते पर 2 दिन में पहुंच जाएगा.'
जब यूजर WhatsApp शेयर वाले बटन पर क्लिक करता है, इनवाइट प्रोसेस पूरा होने के बाद 'ऑर्डर नाउ' का ऑप्शन आता है.
जब यूजर 'ऑर्डर नाउ' को क्लिक करता है, तो एक पेज खुलता है, जिसमें लिखा होता है, 'नमस्कार! हमें आपका 25000 रु का आवेदन मिल चुका है लेकिन आपको अपना नंबर वेरिफाई कराना होगा. नीचे वेरिफआई करें के बटन को दबा कर अपना नंबर वेरिफाई करें उसके बाद ही आपके वेरिफाई नंबर द्वारा आफसे संपर्क करके आपको 25000 रुपये दिए जाएंगे.'
बिना कॉन्टैक्ट नंबर डाले भी वेरिफाई बटन पर क्लिक करवने पर, FreeKcash नाम की एक वेबसाइट खुलती है. इस पूरी प्रक्रिया का मकसद इस वेबसाइट के लिए ज्यादा ट्रैफिक लाना हो सकता है.
इससे साफ होता है कि एक फेक वेबसाइट का इस्तेमाल कर लोगों को फ्री मास्क के लिए बेवकूफ बनाया जा रहा था.
(SM HoaxSlayer के इनपुट्स के साथ)
(क्विंट हिन्दी, हर मुद्दे पर बनता आपकी आवाज, करता है सवाल. आज ही मेंबर बनें और हमारी पत्रकारिता को आकार देने में सक्रिय भूमिका निभाएं.)