advertisement
भारतीय वायुसेना ने 3 मई को कोरोना योद्धाओं को सलाम करने के लिए एयरक्राफ्ट और हेलीकॉप्टर्स से उनपर फूल बरसाए. ये देशभर में कोरोना योद्धाओं के प्रति आभार व्यक्त करने के लिए तीनों सेनाओं के राष्ट्रव्यापी कैंपेन का हिस्सा था.
इस घटना के बाद, सोशल मीडिया पर एक फोटो वायरल हो गई, जिसमें दावा किया गया कि वायुसेना के एक हेलीकॉप्टर ने प्रवासी मजदूरों पर फूल बरसाए, जो लॉकडाउन के कारण देश के अलग-अलग हिस्सों में फंसे हुए हैं.
वायरल हो रही इस फोटो के साथ छेड़छाड़ की गई है. दो एकदम अलग तस्वीरों को जोड़कर ये फोटो बनाई गई है. जानिए इस तस्वीर की पूरी सच्चाई.
इस वायरल फोटो के साथ कैप्शन में लिखा है, "कहते हैं एक तस्वीर हजार शब्दों से ज्यादा बोलती है. मुझे नहीं मालूम कि ये फोटो किसने खींची है (किसी ने इसे फेसबुक पर पोस्ट किया था), लेकिन इस फोटो में 2020 के हर पहलू को एक फ्रेम में कैप्चर करने के लिए फोटोग्राफर अवॉर्ड मिलना चाहिए. इतिहास इस जैसी ही तस्वीरों से बनता है."
ट्विटर पर कई यूजर्स ने फोटो को इसी दावे के साथ शेयर किया.
हमने फोटो को दो हिस्सों में बांटा औ गूगल रिवर्स इमेज सर्च किया, जिससे हमें दो अलग-अलग आर्टिकल मिले. एक में हेलीकॉप्टर के फूल बरसाने की फोटो थी, तो दूसरी में प्रवासी मजदूरों की फोटो.
रविवार, 3 मई को पब्लिश हुए हिंदुस्तान टाइम्स के आर्टिकल में हेलीकॉप्टर के फूल बरसाने की फोटो का इस्तेमाल किया गया है. खबर की हेडलाइन है- “In pictures: IAF’s aerial salute to ‘COVID-19 warriors’ in Mumbai” यानी “तस्वीरों में: मुंबई में भारतीय वायुसेना का COVID-19 वॉरियर्स को एरियल सलाम”. DNA ने भी 3 मार्च को पब्लिश अपने आर्टिकल में इस फोटो का इस्तेमाल किया.
हमने पाया कि ये फोटो अभी की नहीं, बल्कि 2018 की है. इस फोटो को एसोसिएटेड प्रेस (AP) के लिए अनुपम नाथ ने क्लिक किया था. AP इमेजेस पर 26 जनवरी 2018 को अपलोड की गई इस फोटो में लिखा है कि ये गुवाहटी की है.
फोटो के साथ कैप्शन में लिखा है: “An Indian Air Force helicopter sprays flower petals during Republic Day parade in Gauhati, India, Friday, Jan. 26, 2018. India celebrated Friday's anniversary of its national constitution taking effect.” (26 जनवरी, 2018 को गणतंत्र दिवस के मौके पर भारत के गुवाहटी में भारतीय वायुसेना के हेलीकॉप्टर ने फूल बरसाए. भारत ने शुक्रवार को अपने राष्ट्रीय संविधान लागू होने की वर्षगांठ मनाई.)
जहां तक प्रवासी मजदूरों की फोटो की बात है, तो हमें एनडीटीवी का एक आर्टिकल मिला, जिसमें वही फोटो थी जो वायरल हो रही है, लेकिन इस फोटो में फूल की बारिश करता हुए हेलीकॉप्टर नहीं था.
वायरल फोटो को ध्यान से देखने पर हमने पाया की आसमान में इफेक्ट्स का इस्तेमाल किया गया है. ऐसा दो अलग-अलग फोटो को मिलाने के लिए किया गया.
इससे साफ होता है कि एक पुरानी तस्वीर का इस्तेमाल गलत दावे के साथ किया जा रहा है.
आप हमारी सभी फैक्ट-चेक स्टोरी को यहां पढ़ सकते हैं.
(क्विंट हिन्दी, हर मुद्दे पर बनता आपकी आवाज, करता है सवाल. आज ही मेंबर बनें और हमारी पत्रकारिता को आकार देने में सक्रिय भूमिका निभाएं.)