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PAKISTAN: टमाटर फेंकते किसानों के वीडियो को मीडिया ने गलत शिया-सुन्नी एंगल दिया

न्यूज वेबसाइट्स और सोशल मीडिया पर दावा है कि Pakistan में ईरान से आए टमाटरों को 'Shia Tamatar' कहकर फेंका गया.

Siddharth Sarathe
वेबकूफ
Published:
<div class="paragraphs"><p>दावा है कि पाकिस्तानी सुन्नी मुस्लिम ईरान के टमाटर फेंक रहे हैं, क्योंकि वो शिया देश है</p></div>
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दावा है कि पाकिस्तानी सुन्नी मुस्लिम ईरान के टमाटर फेंक रहे हैं, क्योंकि वो शिया देश है

फोटो : Altered by Quint

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एक वायरल वीडियो में कुछ लोग ट्रक से टमाटर निकालकर फेंकते दिख रहे हैं. दावा किया जा रहा है कि पाकिस्तान (Pakistan) में ईरान से आए टमाटरों को सिर्फ इसलिए फेंका जा रहा है क्योंकि वो एक शिया देश से आए हैं.

सिर्फ सोशल मीडिया ही नहीं, कई मीडिया प्लेटफॉर्म्स ने भी वीडियो शेयर कर दावा किया कि ईरान से आई मदद को सिर्फ धार्मिक कट्टरता के चलते पाकिस्तान के सुन्नी मुस्लिम ठुकरा रहे हैं.

ये बात सच है कि पाकिस्तान के बलूचिस्तान में ईरान से आए टमाटरों को प्रदर्शनकारी किसानों ने सड़क पर फेंक दिया था.

लेकिन, इसकी वजह धार्मिक कट्टरता नहीं, किसानों का आरोप है कि उनकी फसलें तैयार हैं, इसके बावजूद पाकिस्तानी हुकूमत टमाटर ईरान से आयात कर रही है, जिससे किसानों का नुकसान होगा.

बलूचिस्तान के स्थानीय पत्रकार तनवीर लहरी ने क्विंट को बताया कि ये वीडियो 8 सितंबर का है, जब बलूचिस्तान में किसानों ने ये कहते हुए ईरान से आए टमाटर फेंके थे कि इससे उनकी फसल का नुकसान होगा. तनवीर ने बताया कि इस मामले में कोई सांप्रदायिक एंगल नहीं है.

इसके अलावा हमने कई पाकिस्तानी मीडिया रिपोर्ट्स भी देखीं, जिनमें इस वीडियो के विजुअल्स इस्तेमाल किए गए थे. इन रिपोर्ट्स में किसी शिया- सुन्नी विवाद का जिक्र नहीं है.

दावा

न्यूज वेबसाइट्स फर्स्ट पोस्ट, Oneindia News, जी न्यूज, जी हिंदुस्तान की रिपोर्ट में दावा किया गया कि पाकिस्तान सुन्नी बाहुल्य देश है और ईरान शिया, इसलिए पाकिस्तान में ईरान से आए टमाटर फेंके जा रहे हैं.

हालांकि किसी भी रिपोर्ट में इस दावे के पीछे कोई सोर्स नहीं बताया गया है. केवल सोशल मीडिया पर शेयर किए जा रहे वीडियो के आधार पर ही मामले को सांप्रदायिक बता दिया है.

जी न्यूज ने मामले को शिया - सुन्नी विवाद का बताया

सोर्स : स्क्रीनशॉट/वेबसाइट/ZeeNews

वीडियो को सोशल मीडिया पर भी इसी दावे के साथ शेयर किया जा रहा है. अर्काइव यहां और यहां देख सकते हैं.

पड़ताल में हमने क्या पाया ?

हमने वायरल वीडियो को की-फ्रेम में बांटकर गूगल पर रिवर्स सर्च किया, ये जानने के लिए कि इसके पहले वीडियो का इस्तेमाल कहां हुआ था और कहीं ये वीडियो पुराना तो नहीं ?

इस तलाश के दौरान हमें पाकिस्तान के वरिष्ठ पत्रकार और रेडियो पाकिस्तान के डायरेक्टर जनरल रह चुके मुर्तजा सोलंगी का ट्वीट मिला. मुर्तजा ने अपने ट्वीट में बताया कि किसान टमाटर के आयात का विरोध कर रहे हैं. किसानों की मांग है कि उनकी फसलें तैयार हैं इसलिए ईरान से पाकिस्तान आ रहे टमाटर- सब्जियों पर रोक लगनी चाहिए.

मुर्तजा ने आगे बताया है कि किसानों का आरोप है कि फसल तैयार है और दूसरी तरफ सरकार ईरान से टमाटर ला रही है, इससे किसानों का नुकसान होगा.

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हमें पाकिस्तानी अखबार The Dawn की वेबसाइट पर 10 सितंबर 2022 की रिपोर्ट में यही वीडियो मिला.

इसमें बताया गया है कि ईरान से आए टमाटरों का विरोध कर रहे किसानों ने बलूचिस्तान के कलात में प्रदर्शन किया. इस दौरान किसानों और जमीनदारों ने क्वेटा-कराची हाईवे भी ब्लॉक कर दिया था. रिपोर्ट में आगे ये भी बताया गया है कि किसान विरोध इसलिए कर रहे हैं क्योंकि ईरान से टमाटर आयात करने पर स्थानीय फसल को नुकसान हो सकता है, जो अभी अभी तैयार ही हुई है.

The Dawn के मुताबिक, प्रदर्शन के दौरान कुछ लोगों ने ईरान से आए ट्रक से टमाटर निकालकर फेंकना और लूटपाट करना शुरू कर दिया.

हमें पाकिस्तानी चैनल GEO TV का एक बुलेटिन भी मिला. इस बुलेटिन में वीडियो के साथ यही जानकारी दी गई है कि किसानों ने ईरान से आ रहे टमाटर का विरोध किया, क्योंकि उन्हें डर है कि ऐसा होने पर फसल को नुकसान होगा.

पाकिस्तान की मीडिया रिपोर्ट्स से ये स्पष्ट हुआ कि ये मामला विशुद्ध रूप से किसानों के नुकसान से जुड़ा था. हमने बलूचिस्तान के स्थानीय पत्रकार तनवीर लहरी से भी संपर्क किया.

तनवीर लहरी ने क्विंट को बताया कि ये घटना 8 सितंबर की है, जब बलूचिस्तान के मंगोचर में विरोध प्रदर्शन के दौरान ईरान से आने वाले ट्रक से टमाटर फेंके गए थे.

ये प्रदर्शन किसानों के नुकसान से जुड़ा है, इसमें कोई सांप्रदायिक एंगल नहीं है जैसा कि दावा किया जा रहा है. किसानों का कहना है कि विदेश से टमाटर आने पर कीमतें गिरेंगी और ऐसा होता है तो उनकी फसल जो अभी तैयार हुई है उसे भारी नुकसान होगा. टमाटर फेंकने वाले एक शख्स पर पुलिस ने केस भी दर्ज किया है जिसका नाम हफीज उर रहमान लंगो है.
तनवीर लहरी, स्थानीय पत्रकार बलूचिस्तान

IANS की 10 सितंबर 2022 की रिपोर्ट में प्रदर्शन आयोजित करने वाले बलूचिस्तान जमींदार एसोसिएशन के प्रवक्ता हाजी अब्दुल अजीज का भी बयान है. उन्होंने टमाटर फेंके जाने की घटना की निंदा की है और साथ ही कहा है कि इसमें उनके संगठन का कोई हाथ नहीं था.

रिपोर्ट के मुताबिक, अधिकारियों का कहना है कि प्रदर्शनकारियों ने ईरान से आ रही टमाटर की गाड़ी को रोक लूटपाट की.

साफ है कि पाकिस्तान में ईरानी टमाटरों का विरोध किसान इसलिए कर रहे हैं, क्योंकि उन्हें लगता है कि ऐसा होने से उनकी फसल को नुकसान होगा. सोशल मीडिया और न्यूज वेबसाइट्स पर वीडियो को लेकर किया गया ये दावा गलत है कि सुन्नी मुस्लिम इसलिए टमाटर फेंक रहे हैं क्योंकि वो शिया देश से आए हैं.

(अगर आपके पास भी ऐसी कोई जानकारी आती है, जिसके सच होने पर आपको शक है, तो पड़ताल के लिए हमारे वॉट्सऐप नंबर 9643651818 या फिर मेल आइडी webqoof@thequint.com पर भेजें. सच हम आपको बताएंगे. हमारी बाकी फैक्ट चेक स्टोरीज आप यहां पढ़ सकते हैं)

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