क़िस्से कहानियां | 'लाल रंग के जूते': जब जूतों की एक जोड़ी ही इकलौती ख्वाहिश हो
क्विंट हिंदी की पॉडकास्ट सीरीज 'क़िस्से कहानियां' का पांचवां एपिसोड सुनिए.
अतहर राथर
किस्से कहानियां
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'लाल रंग के जूते: जब जूतों की एक जोड़ी ही इकलौती ख्वाहिश हो
(फोटो: क्विंट हिंदी)
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जिंदगी में ख्वाहिशों का कोई अंत नहीं है. लेकिन एक ऐसे बच्चे की ख्वाहिश बहुत ही मामूली होती है, जिसकी जिंदगी में तकलीफें ही हों. उस बच्चे के लिए एक जोड़ी नये जूते ही सबकुछ हैं. ये जूते ही उसके लिए हर खुशी हैं.
क्विंट हिंदी की पॉडकास्ट सीरीज 'क़िस्से कहानियां' के नए एपिसोड में, सुनिए कहानी एक ऐसे बच्चे की, जो वक्त से पहले बड़ा हो गया. क्या उसे वो खुशी मिल पाएगी, जिसकी वो तलाश में है?
सुनिए 'क़िस्से कहानियां' का नया एपिसोड 'लाल रंग के जूते'.