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क्या जॉस बटलर को आउट करने की जल्दी में किंग्स इलेवन पंजाब के आर अश्विन ने देश के दिग्गज क्रिकेटरों की राय को दरकिनार कर दिया? ये सवाल इसलिए उठ रहा है कि क्योंकि इंडियन प्रीमियर लीग-12 के चौथे मैच में सोमवार को अश्विन ने राजस्थान रॉयल्स के जॉस बटलर को मैनकेड कर आउट कर दिया. अब आईपीएल चेयरमैन ने ट्वीट कर बताया है कि एक मीटिंग में तय हुआ था कि मैनकेडिंग नहीं होगी.
राजीव ने लिखा,
बता दें कि बटलर 43 गेंदों पर 69 रन बनाकर मजबूत स्थिति में क्रीज पर मौजूद थे. इस पारी में बटलर ने 10 चौके और 2 छक्के भी जड़े. जब अश्विन ने बटलर को मैनकेड किया तो दोनों के बीच तीखी बहस भी देखने को मिली. राजस्थान रॉयल्स के ब्रांड एंबेसडर शेन वॉर्न ने भी अश्विन की इस हरकत की निंदा की है.
मैनकेड करने का मतलब है जब कोई गेंदबाज गेंद फेंकने के दौरान एक्शन लेने से पहले ही नॉन स्ट्राइकर एंड पर खड़े बल्लेबाज को रन आउट कर देता है. ये सबसे पहले साल 1947 में देखा गया था जब भारत की टीम ऑस्ट्रेलिया दौरे पर थी. इस दौरे पर गेंदबाज वीनू मांकड़ ने ऑस्ट्रेलियाई बल्लेबाज बिल ब्राउन को ऐसे ही आउट किया था. मांकड़ ने आउट करने से पहले ब्राउन को कई बार चेतावनी भी दी थी. इस तरीके से आउट करने को तभी से MANKADE कहा जाने लगा.
जब बटलर को अश्विन ने आउट किया तो ये बात उठी कि उन्होंने बटलर को चेतावनी नहीं दी थी. बता दें कि इस नियम में कुछ बदलाव हुए हैं और अब बल्लेबाज को आउट करने से पहले चेतावनी देने की जरूरत नहीं है.
इंग्लैंड के जोस बटलर अपने करियर में दूसरी बार मैनकेड का शिकार हुए हैं. इससे पहले साल 2014 में जब श्रीलंका की टीम इंग्लैंड दौरे पर गई थी, उसमें श्रीलंकाई स्पिनर सचित्रा सेनानायके ने बटलर को मैनकेड कर आउट किया था. हालांकि सेनानायके ने बटलर को चेतावनी भी दी थी, उसके बाद उन्हें मैनकेड कर आउट कर दिया था।
साल 2012 में कॉमनवेल्थ बैंक सीरीज के दौरान भारत और श्रीलंका के बीच मैच हुआ था. ये एक ग्रुप मैच था जहां अश्विन ने श्रीलंका के बल्लेबाज लहिरु थिरिमन्ने को आउट किया था.
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