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आरोग्य सेतु: प्राइवेसी को लेकर हैकर के आरोप का सरकार ने दिया जवाब 

लॉन्च होने के बाद से ही प्राइवेसी एक्सपर्ट इस ऐप पर सवाल उठा रहे हैं

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लॉन्च होने के बाद से ही प्राइवेसी एक्सपर्ट इस ऐप पर सवाल उठा रहे हैं
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लॉन्च होने के बाद से ही प्राइवेसी एक्सपर्ट इस ऐप पर सवाल उठा रहे हैं
(फोटो: क्विंट)

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केंद्र सरकार ने अप्रैल की शुरुआत में कोरोना वायरस महामारी पर काबू पाने के मकसद से 'आरोग्य सेतु' ऐप लॉन्च किया था. सरकार ने कहा था कि इस कॉन्टैक्ट ट्रेसिंग ऐप से लोगों को संक्रमण से बचने में मदद मिलेगी. इसके लॉन्च होने के बाद से ही प्राइवेसी एक्सपर्ट इस ऐप पर सवाल उठा रहे हैं. अब एक फ्रेंच साइबर सिक्योरिटी एक्सपर्ट और एथिकल हैकर ने दावा किया है कि आरोग्य सेतु में सुरक्षा की एक बड़ी दिक्कत है. इसके बाद केंद्रीय मंत्री से लेकर ऐप की टीम इस दावे को खारिज करने में जुट गए हैं.

ये एथिकल हैकर वही शख्स है, जिसने आधार ऐप में दिक्कतों का खुलासा किया था. हैकर ने बताया था कि आधार डेटा थर्ड पार्टी वेबसाइट एक्सेस कर सकती हैं.

क्या है पूरा मामला?

फ्रांस के सिक्योरिटी एक्सपर्ट और एथिकल हैकर इलियट एंडरसन (छद्म नाम) ने 5 अप्रैल को ट्वीट किया कि आरोग्य सेतु ऐप में एक सुरक्षा की दिक्कत है. हैकर ने आरोग्य सेतु के ट्विटर हैंडल को टैग करते हुए लिखा कि इससे 9 करोड़ लोगों का डेटा खतरे में है.

एंडरसन ने इस ट्वीट में कहा कि राहुल गांधी इस ऐप के बारे में सही थे.

कांग्रेस नेता राहुल गांधी ने कुछ दिन पहले इस ऐप से संबंधित डेटा सिक्योरिटी को लेकर चिंता जताई थी. गांधी ने ऐप को एक सर्विलांस सिस्टम बताया था.

इलियट एंडरसन के इस ट्वीट के बाद आरोग्य सेतु के डेवलपर्स ने आरोपों का जवाब देते हुए 6 मार्च को एक ट्वीट किया. ऐप की टीम ने दावा किया कि 'किसी भी यूजर की निजी जानकारी को खतरा नहीं है.'

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टीम ने माना कि कुछ दिक्कतें हैं लेकिन ये मानने से इंकार किया कि उनकी वजह से सुरक्षा को कोई खतरा है.

वहीं, इलेक्ट्रॉनिक्स और आईटी मंत्री रविशंकर प्रसाद ने भी आरोग्य सेतु ऐप को सुरक्षित बताया है. प्रसाद ने कहा, "ये भारत का टेक्नोलॉजिकल अविष्कार है. इस प्लेटफॉर्म की जिम्मेदारी तय है."

हैकर ने और क्या दावे किए?

इलियट एंडरसन ने दावा किया है कि ऐप की इस दिक्कत की वजह से उन्हें पता है कि प्रधानमंत्री कार्यालय और संसद में कितने लोग बीमार हैं.

एंडरसन ने एक और ट्वीट में दावा किया कि आरोग्य सेतु ऐप में सुरक्षा की दिक्कत बताने के 49 मिनट बाद उन्हें कंप्यूटर इमरजेंसी रिस्पॉन्स टीम (CERT) और नेशनल इंफॉर्मेटिक्स सेंटर (NIC) ने संपर्क किया.

हैकर ने ये भी कहा कि अगर एक 'डेडलाइन' के अंदर दिक्कत का हल नहीं किया गया, तो वो ऐप की कमी सबके सामने ले आएंगे.

एंडरसन ने ट्विटर पर लिखा कि आरोग्य सेतु ऐप का सोर्स कोड, ओपन सोर्स होना चाहिए. एंडरसन ने लिखा, "अगर आप लोगों को ऐप इंस्टॉल करने के लिए मजबूर कर रहे हैं, तो उन्हें ये जानने का हक है कि ऐप असल में करता क्या है.

ओपन सोर्स सॉफ्टवेयर वो होते हैं, जिसके सोर्स कोड को कोई भी इंस्पेक्ट या स्टडी कर सकता है.

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