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कांवड़ यात्रा आज से,दिल्ली-UP उत्तराखंड में क्या तैयारियां,पाबंदियां और रूट

Kanwar Yatra को लेकर कई राज्यों में रूट डायवर्जन किए गए हैं.

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धर्म और अध्यात्म
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<div class="paragraphs"><p>कांवड़ यात्रा </p></div>
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कांवड़ यात्रा

(फोटो: ट्विटर)

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दो साल के बाद कांवड़ यात्रा (Kanwar Yatra) फिर शुरू हो रही है. 14 जुलाई से शुरू होने वाली और एक पखवाड़े तक चलने वाली कांवड़ यात्रा के लिए कई इंतजाम किए जा रहे हैं. 14 जुलाई 27 जुलाई तक आयोजित होने वाले कांवड़ मेले में इस बार 4 करोड़ से अधिक श्रद्धालुओं की आने की संभावना जताई गई है.

दिल्ली पुलिस की खास तैयारी

14 जुलाई से 26 जुलाई तक दिल्ली पुलिस ने सुरक्षा और यातायात को लेकर खास अरेंजमेंट किया है. कांवड़ियों के लिए कुछ खास रूट का इंतजाम किया गया है और 338 कैंप लगाए जा रहे हैं. दिल्ली पुलिस ने कांवड़ियों से तय रूट का इस्तेमाल करने की अपील की है.

इन रास्तों पर पड़ेगा असर

जीटी रोड (केशव चौक से यमुना ब्रिज, ISBT)

वजीराबाद रोड (भोपुरा बॉर्डर से सिंग्नेचर ब्रिज)

रोड नंबर- 66 (गोकुलपुरी T प्वाइंट से सीलमपुर टी प्वाइंट)

रोड नंबर 68

पुस्ता रोड

कांवड़ियों के लिए ये हैं एंट्री प्वाइंट

भोपुरा बॉर्डर, पीएस नंद नगरी

केशव चौक, जीटी रोड, पीएस वेलकम

एक्जिट प्वाइंट

वजीराबाद आयरन ब्रिज

सिगनेचर ब्रिज

ओल्ड ब्रिज

ISBT कश्मीरी गेट

उत्तराखंड में कैसी तैयारी?

उत्तराखंड राज्य में चारधाम यात्रा के बाद सबसे बड़ा आयोजन होने जा रहा है, जो राज्य सरकार की भी अग्नि परीक्षा होगी, क्योंकि कोविड महामारी के बाद शिव भक्तों का सैलाब उमड़ सकता है. सरकार की ओर से इस बार भी कांवड़ियों पर हेलीकॉप्टर से फूल बरसाने से लेकर अन्य व्यवस्थाएं चाक-चौबंद की जा रही है.

राज्य में बारिश की वजह से भले ही चारधाम यात्रा में आने वाले श्रद्धालुओं की संख्या में कमी आयी है, लेकिन अब सबसे बड़ी चुनौती सरकार और प्रशासन के सामने कांवड़ यात्रा की है.

सरकार के लिए भी चुनौती?

सबसे बड़ी पदयात्रा कांवड़ यात्रा सरकार के लिए भी बड़ी चुनौती है. मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने अपने तमाम अधिकारियों को निर्देश दिए हैं कांवड़ यात्रा की तैयारी में कोई गड़बड़ी ना हो. तमाम राज्यों की खुफिया एजेंसियों से तालमेल बिठाकर काम किया जा रहा है, ताकि किसी तरह की कोई भी गड़बड़ी न फैलायी जा सके. इसके साथ ही पुलिस भीड़ में असामाजिक तत्वों को भी खोजने का काम करेगी, जो यहां पर आकर भक्ति के नाम पर उत्पात मचाते हैं, ऐसे में पूरे क्षेत्रों 50 से अधिक ड्रोन कैमरे लगाए जाएंगे.

कांवड़ियों की ड्रेस में भी तैनात होंगे पुलिस वाले

सिविल पुलिस के जवान तो रहेंगे ही साथ ही कावड़ियों के भेष में महिला और पुरुष पुलिसकर्मी की तैनाती भी की जाएंगी. पुलिस प्रशासन का मानना है कि इस बार की भीड़ को सकुशल उनके शिवालयों और राज्यों तक भेजना पुलिस के लिए एक बड़ी चुनौती है.

दूसरी ओर राज्य सरकार, उत्तर प्रदेश सरकार से प्रभावित होकर इस बार उत्तराखंड पर्यटन विभाग कांवड़ मेले के दौरान आने वाले शिव भक्तों पर फूल बरसाने की भी योजना बना रही है. उत्तर प्रदेश में योगी आदित्यनाथ सरकार सहारनपुर से लेकर मेरठ और आसपास के शहरों में हाईवे पर फूल बरसाएंगे, तो वहीं उत्तराखंड सरकार ने रुड़की सीमा से लेकर के पतंजलि योगपीठ और हरकी पौड़ी से लेकर के ऋषिकेश मार्ग पर दो हेलीकॉप्टरों को तैनात करने की भी योजना बनायी है, जिस दिन अधिक भीड़ और यात्रा की शुरूआत हो उस दिन शिव भक्तों पर फूल बरसाए जाएंगें.

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हरिद्वार में रूट डायवर्ट

हरिद्वार में पुलिस ने यातायात डायवर्जन प्लान भी जारी कर दिया है, जो 14 जुलाई से लागू होगा. कांवड़ यात्रा में भारी पुलिस बल भी तैनात रहेगा, साथ ही कांवड़ में आने वाले यात्रियों का सत्यापन भी किया जायेगा. कांवड़ यात्रा के दौरान पुलिसवाले हरिद्वार, ऋषिकेश, नीलकंठ, पौड़ी के कुछ क्षेत्रों में तैनात रहेंगे.

कांवड़ यात्रा शुरू होने से पहले पीएसी और आईआरबी की 20 कंपनियां, 3000 से ज्यादा पुलिसकर्मी, 600-700 सब इंस्पेक्टर और 100 इंस्पेक्टर समेत पुलिस की अलग-अलग इकाइयों को तैनात किया जा रहा है.

कांवड़ियों का  सत्यापन होगा जरूरी

कांवड़ यात्रा के दौरान किसी तरह का हुड़दंग, अराजकता, धार्मिक उन्माद और शांति भंग न हो, इसको लेकर पुलिस ने यात्रियों के सत्यापन को प्राथमिकता से करने की योजना बनायी है. इसके लिए उत्तराखंड पुलिस ने इंटर स्टेट बैठक कर उत्तर प्रदेश, हरियाणा, हिमाचल प्रदेश, पंजाब, दिल्ली समेत अन्य राज्यों की पुलिस से कांवड़ यात्रियों की सत्यापन को लेकर भी बात की है. किसी भी राज्य से कांवड़ मेले में आने वाले यात्रियों को स्थानीय थाने से नाम दर्ज या वेरिफिकेशन कराकर आना होगा.

ये है रूट प्लान

दिल्ली से देहरादून-ऋषिकेश जाने वाले सभी छोटे-बड़े वाहनों को प्राथमिक तौर पर रामपुर तिराहे से देवबंद से गागलहेडी होते हुए छुटमलपुर, बिहारीगढ़ से देहरादून और ऋषिकेश को डायवर्ट किया जायेगा. हरिद्वार सीमा में प्रवेश कर चुके दिल्ली से देहरादून/ऋषिकेश जाने वाले सभी छोटे-बड़े वाहनों को बिझौली से एनएच 344 से भगवानपुर से मंडावर, छुटमलपुर, बिहारीगढ़ से देहरादून और ऋषिकेश की तरफ डायवर्ट किया जायेगा.

यमुनानगर-सहारनपुर से हरिद्वार आने वाले वाहन एनएच 344 भगवानपुर, सालियर हाईवे, बिझौली से सर्विस लेन होते हुए एनएच 334 से नगला इमरती डायवर्ट कर लंढौरा से लक्सर होते हुए जगजीतपुर से एसएम तिराहा से डायवर्जन कर शनि चौक, मातृसदन, दक्षद्वीप पार्किंग से दाहिने होते हुए शमशान घाट पुल से बैरागी कैंप पार्किंग के लिए डायवर्ट किया जायेगा.

दिल्ली, मेरठ, हरियाणा, पंजाब की ओर से कोई वाहन नजीबाबाद, मुरादाबाद की ओर जाना चाहता है तो उन्हें लक्सर तिराहे से रायसी से बालावाली होते हुए बिजनौर मार्ग से भेजा जायेगा.

UP में कांवड़ियों के रास्ते पर मास विक्री नहीं 

मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने अधिकारियों को निर्देश दिए है कि वे कांवड़ यात्रियों द्वारा ली गई सड़कों को साफ करें और उनके साथ खुले में मांस की बिक्री पर रोक लगाने के अलावा लाइट की व्यवस्था, स्वच्छता और उनके के लिए मेडिकल सुविधा भी मुहैया कराने का इंतजाम करें.

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Published: 13 Jul 2022,01:37 PM IST

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