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'आप स्कूल में औसत दर्जे के हो सकते हैं लेकिन यह जीवन में आने वाली चीजों का कोई पैमाना नहीं है.' जिंदगी का ये फलसफा बताने वाले कैप्टन वरुण सिंह (Group Captain Varun Singh) अस्पताल में जिंदगी के लिए जंग लड़ रहे हैं. 8 दिसंबर को कुन्नूर में एक हेलिकॉप्टर क्रैश हुआ जिसमें देश के अपने पहले चीफ ऑफ डिफेंस जनरल बिपिन रावत (CDS Bipin Rawat), उनकी पत्नी और 11 अधिकारियों की मौत हो गई थी. हेलिकॉप्टर में कुल 14 लोग सवार थे, जिसमें से सिर्फ ग्रुप कैप्टन वरुण सिंह ही जिंदा बच पाए हैं. इस बीच सोशल मीडिया पर उनकी लिखी एक चिट्ठी सामने आई है.
कैप्टन वरुण सिंह ने आर्मी पब्लिक स्कूल चंडी मंदिर से पढ़ाई की है. उन्होंने स्कूल की प्रिंसिपल को लिखे चिट्ठी में स्कूल के छात्रों के लिए भी जीवन का संदेश दिया है. कैप्टन वरुण सिंह ने 18 सितंबर 2021 हरियाणा में अपने स्कूल के प्रिंसिपल को अपने "शिक्षकों, प्रशिक्षकों और साथियों" को धन्यवाद देने के लिए एक पत्र लिखा, जिन्होंने उन्हें उनके जीवन को आकार देने में मदद की.
कैप्टन लिखते हैं,
ग्रुप कैप्टन ने अपने लेटर में कहा कि वह अपने विचारों को साझा करना चाहते हैं "मेरे जीवन के बारे में जो मुझे लगता है कि मदद कर सकता है और उन बच्चों को प्रेरित कर सकता है जो महसूस कर सकते हैं कि वे इस कॉम्पिटेटिव दुनिया में केवल औसत दर्जे के हैं."
उन्होंने कहा,
"इस साल, मुझे वीरता के एक कार्य के लिए भारत के राष्ट्रपति द्वारा शौर्य चक्र से सम्मानित किया गया है."
उन्होंने लिखा,
उन्होंने आगे लिखा है, "... मैंने हमेशा सोचा था कि मुझे औसत होना चाहिए और उत्कृष्टता प्राप्त करने की कोशिश करने का कोई मतलब नहीं है. (लेकिन) एक लड़ाकू स्क्वाड्रन में एक युवा फ्लाइट लेफ्टिनेंट के रूप में कमीशन करने के बाद, मुझे एहसास हुआ कि अगर मैं इसके लिए अपना दिमाग और दिल लगाता तो मैं अच्छा कर सकता था."
ग्रुप कैप्टन वरुण सिंह लिखते हैं,
ग्रुप कैप्टन ने लिखा, "इस प्वाइंट पर मेरे पेशेवर और व्यक्तिगत जीवन में चीजें बदलनी शुरू हो गईं. मैंने हर काम को अपनी सर्वश्रेष्ठ क्षमताओं के साथ करने का संकल्प लिया."
ग्रुप कैप्टन वरुण सिंह ने कहा कि वह अपनी पीठ थपथपाने की इच्छा के साथ अपनी खुद की तारीफ की कोशिश नहीं कर रहे हैं, वह बच्चों को अपने जीवन के कुछ ऐसे अनुभव बताना चाहते थे जो भविष्य में उनकी मदद कर सकें.
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