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उत्तर प्रदेश में प्रशासन का बुलडोजर एक्शन जारी है. प्रयागराज में स्थानीय प्रशासन ने पैगंबर मुहम्मद पर टिप्पणी (Prophet Remarks Row) को लेकर हुए हिंसक विरोध प्रदर्शन के प्रमुख आरोपी जावेद मोहम्मद (Javed Mohammed) के घर पर रविवार, 12 जून को बुलडोजर चला दिया. इस कार्रवाई के कुछ ही घंटे बाद जहां एक तरफ यूपी पुलिस ने आरोपी के घर में "अवैध हथियार" मिलने का दावा किया वहीं दूसरी ओर जावेद मोहम्मद की 19 साल की बेटी सुमैया फातिमा ने आरोप लगाया कि उसके पिता को फंसाया जा रहा है. इसके अलावा अधिवक्ता मंच के वकीलों ने याचिका दायर कर आरोप लगाया है कि दरअसल जिस मकान को प्रशासन ने गिराया है वह जावेद मोहम्मद का है ही नहीं, बल्कि उनकी पत्नी का है.
वेलफेयर पार्टी ऑफ इंडिया से जुड़े जावेद मोहम्मद को शनिवार को प्रयागराज में गिरफ्तार किया गया था. पुलिस का आरोप है कि प्रयागराज में 10 जून को पैगंबर पर बीजेपी नेता के विवादस्पद बयान को लेकर हुए विरोध प्रदर्शन में जावेद मोहम्मद मुख्य साजिशकर्ता है.
घर पर बुलडोजर चलने के बाद मीडिया से बात करते हुए प्रयागराज के SSP अजय कुमार ने दावा किया कि आरोपी के घर से 12 बोर का अवैध तमंचा, 315 बोर का तमंचा और कई कारतूस बरामद हुए हैं. साथ ही ऐसे डॉक्यूमेंट बरामद किए जाने का दावा भी है, इसमें न्यायपालिका पर कथित तौर पर 'तल्ख टिप्पणी' की गयी है.
साथ ही प्रयागराज के जिलाधिकारी संजय खत्री ने बुलडोजर कार्रवाई पर कहा कि
उत्तर प्रदेश पुलिस द्वारा रिहा किए जाने के कुछ घंटे बाद जावेद मोहम्मद की बेटी सुमैया फातिमा (19) ने मीडिया से बात की. उसने कहा कि "मेरे पिता जी को फंसाया गया है. आजतक उनका नाम किसी मामले में नहीं आया. उन्होंने हमेशा प्रशासन के साथ सहयोग किया है... अक्सर पुलिस के अधिकारी हमारे घर आकर चाय पीते रहे हैं.
घंटों बाद, पुलिस उनके घर वापस आई और उसे और उसकी मां को पूछताछ के लिए ले गई. यह पूछे जाने पर कि उसके बाद क्या हुआ, सुमैया ने कहा कि उनसे उनके पिता के फेसबुक पोस्ट के बारे में सवाल पूछे गए. साथ ही वे घर पर क्या बातचीत करते हैं, किस विचारधारा में विश्वास रखते हैं- ऐसे सवाल पूछे गए.
सुमैया ने कहा कि उनसे पूछताछ कर रहे पुलिस अधिकारी ने उनकी बहन आफरीन फातिमा के बारे में भी सवाल किया, जो एक रिसर्चर और जेएनयू की पूर्व छात्रा हैं.
अधिवक्ता मंच से जुड़े हाईकोर्ट के वकीलों ने आरोपी 'जावेद मोहम्मद के घर' पर प्रशासन की कार्रवाई के खिलाफ इलाहबाद हाई कोर्ट में एक याचिका दायर की है. इलाहबाद हाई कोर्ट के चीफ जस्टिस को भेजे इस पत्र याचिका में आरोप लगाया गया है कि प्रशासन ने जावेद मोहम्मद के बहाने दूसरे के मकान पर बुलडोजर चलाया है.
वकीलों ने मांग की है कि कोर्ट प्रशासन को मकान के पुनर्निर्माण का आदेश दे और परिवार को करोड़ों का मुआवजा दिया जाए. साथ ही प्रयागराज विकास प्राधिकरण के अधिकारियों को दंडित और निलंबित करने की मांग की गयी है.
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