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बिहार के पूर्व मुख्यमंत्री और आरजेडी अध्यक्ष लालू प्रसाद यादव से जुड़े चारा घोटाले के चौथे मामले में फैसला आ गया है. लालू यादव को दोषी करार दिया गया है. वहीं सीबीआई की एक विशेष अदालत ने पूर्व मुख्यमंत्री जगन्नाथ मिश्रा को बरी कर दिया है. इस मामले में कुल 31 आरोपी हैं.
पहले इस मामले में फैसला गुरुवार को आने वाला था जिसे टाल कर शनिवार को किया गया था. लेकिन शनिवार को लालू की अचनाक तबीयत बिगड़ने के कारण फैसला सोमवार तक के लिए टाल दिया गया.
रांची में सीबीआई की विशेष अदालत ने लालू प्रसाद यादव समेत 19 आरोपियों को दोषी करार दिया. जबकि बिहार के पूर्व मुख्यमंत्री जगन्नाथ मिश्रा समेत 12 आरोपियों को बरी कर दिया गया.
लालू के दोषी करार दिए जाने के बाद आरजेडी ने पीएम मोदी पर निशाना साधा है. आरजेडी नेता रघुवंश प्रसाद सिंह ने कहा,
जगन्नाथ मिश्र के अलावा एमसी सुवर्णो, ध्रुव भगत और अधीप चंद को भी बरी कर दिया गया है. जबकि अजीत कुमार वर्मा, आनंद कुमार सिंह, नंद किशोर और महेंद्र सिंह वेदी को दोषी पाया गया है.
यह मामला दिसंबर 1995 से जनवरी 1996 के बीच दुमका कोषागार से 13.13 करोड़ रुपये फर्जी तरीके से निकालने का है. इस मामले में सीबीआई ने 48 लोगों के खिलाफ चार्जशीट दायर किया था. जिनमें से बाद में 14 आरोपियों की मौत हो गई. एक ने अपराध स्वीकार कर लिया और दो सरकारी गवाह बन गए.
इन नेताओं के हैं नाम
तीसरे मामले में उन्हें चाईबासा कोषागार से अवैध निकासी के लिए 24 जनवरी को दोषी ठहराया गया था और पांच साल की सजा दी गई.
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चारा घोटाला केस में झारखंड की बिरसा मुंडा जेल में सजा काट रहे आरजेडी चीफ लालू यादव को पिछले महीने झारखंड हाई कोर्ट ने जमानत देने से इनकार कर दिया. लालू की ओर से देवघर मामले में जमानत याचिका दाखिल की गई थी. लेकिन कोर्ट ने इस याचिका को खारिज कर दिया था.
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Published: 19 Mar 2018,09:56 AM IST