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Q पटना: किसानों पर नीतीश की सख्ती, सुशील मोदी के निशाने पर विपक्ष

Q पटना में पढ़ें बिहार से जुड़ी बड़ी खबरें

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Q पटना में पढ़ें बिहार से जुड़ी बड़ी खबरें
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Q पटना में पढ़ें बिहार से जुड़ी बड़ी खबरें
(फोटो: Alterede By Quint Hindi)

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नीतीश ने कहा- पराली जलाई, तो नहीं मिलेंगी सुविधाएं

सीएम नीतीश कुमार ने फसल काटने के बाद पराली को खेतों में जलाने वाले किसानों को चेतावनी देते हुए कहा कि ऐसे किसान सरकार से मिलने वाली सुविधाओं से वंचित रह जाएंगे. नीतीश ने कहा कि पराली जलाने से उपज में कमी तो आती ही है साथ ही पर्यावरण संकट भी पैदा हो रहा है.

“किसानों को यह बात समझानी होगी कि पराली के जलाने से खेतों में उपज में कमी के साथ-साथ पर्यावरण पर भी फर्क पड़ रहा है. किसानों को यह समझाना होगा कि अगर पराली का दूसरे कार्यों में उपयोग किया जाए, जैसे पराली को इकट्ठा कर कई अन्य प्रकार की चीजों का निर्माण कराया जाए, तो अनाज के साथ-साथ इससे भी किसानों की आमदनी बढ़ेगी.”
नीतीश कुमार

कृषि विभाग और बिहार कृषि विश्वविद्यालय, सबौर की ओर से आयोजित इस सम्मेलन में मुख्यमंत्री ने कहा कि इसके खिलाफ पंजाब, हरियाणा में भी अभियान चलाया गया है, फिर भी यह रुक नहीं पा रहा है. इसके मूल कारणों को भी जानना-समझना होगा.

सुशील मोदी ने कहा- बिहार की जनता आरजेडी को नहीं चाहती

बिहार के उप मुख्यमंत्री के निशाने पर एक बार फिर से मुख्य विपक्षी पार्टी आरजेडी आ गई है. सुशील मोदी ने ट्वीट किया, ‘‘चार महीने पहले लोकसभा चुनाव में आरजेडी का सूपड़ा साफ कर बिहार की जनता ने साफ संदेश दिया था कि जो पार्टी न देशहित में धारा 370 हटाने का समर्थन करती हो, न सर्जिकल स्ट्राइक पर सेना के साथ खड़ी होती है और न ही समाज हित में सामान्य वर्ग के गरीबों को रिजर्वेशन देने का स्वागत करती एक भी उम्मीदवार जन प्रतिनिधि बनने लायक नहीं है.’’

यही नहीं एक और ट्वीट में मोदी ने कहा, ‘‘गरीबों को धोखा देकर और समाज को बांट कर वे जब भी सत्ता में आए, तब विकास को भूल कर केवल अपने परिवार की सात पीढ़ियों की गरीबी दूर करने में लग गए. दूसरों को पाखंडी बताने वालों ने मंचों से जेपी-लोहिया का नाम लिया, जबकि पर्दे के पीछे घोटालों का सीरियल बनाते रहे. जो खुद ही इमानदारी का सर्टीफिकेट अपने सीने पर टांकना चाहते हैं. वो 2 साल से बेनामी संपत्तियों का ब्यौरा क्यों नहीं दे रहे हैं?’’

अनंत सिंह की मुश्किलें बढ़ीं

मोकामा से निर्दलीय विधायक अनंत सिंह के घर से मिली एके-47 जांच मेें सही पाई गई है. पुलिस को सौंपी गई रिपोर्ट में कहा गया है कि इस राइफल का इस्तेमाल आम हथियारों की तरह किया जा सकता है.

मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक, पुलिस ने जो एके-47 बरामद की थी, उसे जांच के लिए राजधानी पटना के एफएसएल भेजा गया. वहां इसके कल-पुर्जों की जांच हुई और फायरिंग करके भी देखा गया. जांच के बाद एफएसएल के एक्सपर्ट ने इसके ठीक से काम करने की बात कही.

बता दें कि बाढ़ के नदवां स्थित पैतृक घर से एके-47 राइफल, हैंड ग्रेनेड जैसे कई बड़े हथियार बरामद किए थे, जिसके बाद अनंत सिंह फरार हो गए थे. बाद में दिल्ली के साकेत कोर्ट में सरेंडर किया था. फिलहाल अनंत सिंह बेउर जेल में बंद हैं.

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पटना में जल-जमाव के कारण अधिकारियों पर गिरी गाज

पटना में जल-जमाव पर हुई बैठक के बाद सरकार की तरफ से 15 अधिकारियों पर कार्रवाई की गई है. इनमें से 4 अधिकारी नगर निगम के हैं और 11 बिहार अर्बन इंफ्रास्ट्रक्चर डेवलपमेंट कॉरपोरेशन (बुडको) के हैं. नगर निगम के अधिकारियों के शो कॉज नोटिस थमाया गया है.

सीएम नीतीश कुमार की अध्यक्षता में उच्चस्तरीय बैठक हुई, जिसमें पटना में अत्यधिक बारिश होने के बाद जल-जमाव की स्थिति पर गहन विचार-विमर्श किया गया. इसके बाद यह निर्णय लिया गया. बैठक में भविष्य में ऐसी स्थिति उत्पन्न नहीं हो, इसे लेकर भी विचार किया गया.

चार घंटे से ज्यादा चली इस बैठक के बाद मुख्य सचिव दीपक कुमार ने बताया कि कई लोगों को निलंबित भी किया गया है, जबकि कई को कारण बताओ नोटिस जारी किया गया है. उन्होंने बताया कि बुडको के 11 अभियंताओं को भी कारण बताओ नोटिस जारी किया गया है.

2.27 लाख बाढ़ पीड़ित परिवारों को भेजे गए 6000 रुपये

बाढ़ और जल-जमाव से प्रभावित 2.27 लाख से ज्यादा परिवारों को प्रति परिवार 6-6 हजार रुपये का भुगतान किया गया. मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने सितंबर महीने के तीसरे हफ्ते में गंगा नदी के जलस्तर में बढ़ोतरी और चौथे हफ्ते में राज्य के 15 जिलों में बाढ़ से पीड़ित 2,27,650 परिवारों को प्रति परिवार 6000-6000 रुपये का भुगतान किया है. इस राशि का हस्तांतरण पीएफएमएस के जरिए सीधे लाभार्थियों के खाते में किया जा रहा है, जिसकी सूचना उन्हें एसएमएस के माध्यम से मिल जाएगी.

एक अधिकारी ने बताया कि प्रथम चरण में राज्य के 15 बाढ़ग्रस्त जिलों के कुल 2 लाख 27 हजार 649 सत्यापित परिवारों के बीच कुल 136 करोड़ 58 लाख 94 हजार रुपये सहायता राशि का हस्तांतरण किया जा रहा है. उन्होंने कहा कि यह राशि 48 घंटे के अंदर उन्हें प्राप्त हो जाएगी.

बता दें कि अबतक बाढ़ग्रस्त 15 जिलों के 95 प्रखंडों के अंतर्गत 616 पंचायतों में लगभग 7़22 लाख परिवार बाढ़ से प्रभावित हुए हैं.

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