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एक फेसबुक पोस्ट वायरल हो गया है जिसमें दावा किया जा रहा है कि हायर एजुकेशन का बजट 2019 में घटा दिया गया. इस पोस्ट के मुताबिक, 2009 में उच्च शिक्षा का बजट 2,900 करोड़ रुपये था और 2019 में ये बजट घटकर 400 करोड़ रुपये रह गया.
इस आर्टिकल को लिखते समय इस पोस्ट पर 600 से ज्यादा लाइक्स थे और 360 से ज्यादा बार इसे शेयर किया गया था. कई लोगों ने फेसबुक पर बजट की यही रकम शेयर की.
ये जानने के लिए कि क्या वाकई बजट को कम किया गया है, द क्विंट ने मानव संसाधन विकास मंत्रालय के अंदर आने वाले हायर एजुकेशन बजट को चेक किया.
वायरल दावे में ये नहीं बताया गया था कि वहां किस वित्त वर्ष की बात हो रही है, इसलिए हमने 2008-2009, 2009-2010 और 2018-2019, 2019-2020 का डाटा चेक किया.
केंद्रीय बजट की वेबसाइट पर मौजूद डाटा के मुताबिक, सरकार ने 2008-09 में उच्च शिक्षा के लिए 10,852.87 करोड़ का बजट आवंटित किया था. वहीं 2009-10 के लिए ये बजट 15,429 करोड़ का था.
इसी तरह, 2018-19 वित्त वर्ष में उच्च शिक्षा के लिए सरकार ने 35,010.29 करोड़ का बजट दिया था, और साल 2019-20 के लिए बजट 38,317.01 करोड़ है.
साफ है कि वायरल पोस्ट में दोनों साल, 2009 और 2019 का बजट गलत दिखाया गया है.
जब हमने ये जानने की कोशिश की कि ये 400 करोड़ का आंकड़ा कहां से आया, तो हमने पाया कि वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने अपने बजट भाषण में वित्त वर्ष 2019-2020 के लिए 'वर्ल्ड क्लास इंस्टीट्यूशन' के लिए 400 करोड़ रुपये आवंटित किए थे.
उन्होंने अपने बयान में ये भी कहा था कि भारत उच्च शिक्षा के लिए पसंदीदा जगह बन गया है. उन्होंने 'स्टडी इन इंडिया' प्रोग्राम शुरू करने का प्रस्ताव दिया है जो विदेशी छात्रों को भारतीय शिक्षा संस्थानों में लाने पर केंद्रित करेगा.
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