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जिनपिंग के भारत आने से पहले कश्मीर पर बार-बार रंग बदल रहा चीन

चीन के राष्ट्रपति शी जिनपिंग ने कहा- कश्मीर पर नजर, पाकिस्तान के मूल हितों का करेंगे समर्थन 

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चीन के राष्ट्रपति शी जिनपिंग के साथ पीएम मोदी
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चीन के राष्ट्रपति शी जिनपिंग के साथ पीएम मोदी
(फाइल फोटोः Reuters)

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भारत यात्रा से पहले कश्मीर पर चीन के सुर बदलते दिख रहे हैं. चीन के राष्ट्रपति शी जिनपिंग ने भारत यात्रा से पहले बुधवार को कहा है कि उनकी कश्मीर के हालात पर नजर है और वे पाकिस्तान के मूल हितों से संबंधित मुद्दों पर उसका समर्थन करेंगे.

कश्मीर पर जिनपिंग का ताजा बयान चीन के विदेश मंत्रालय के हालिया बयान से बिल्कुल अलग है. चीन के विदेश मंत्रालय ने मंगलवार को कहा था कि कश्मीर पर भारत और पाकिस्तान को आपसी बातचीत से समाधान तलाशना चाहिए.

इससे पहले चीन ने कहा कि था कि कश्मीर समस्या का समाधान संयुक्त राष्ट्र के प्रस्तावों के तहत होना चाहिए.

बुधवार को कश्मीर पर चीन का बयान

चीन के राष्ट्रपति शी जिनपिंग ने बुधवार को कहा कि कश्मीर में स्थिति पर उनकी नजर है और वे पाकिस्तान के मूल हितों से संबंधित मुद्दों पर उसका समर्थन करेंगे. यह खबर चीन की न्यूज एजेंसी शिन्हुआ ने दी है.

रिपोर्ट में कहा गया कि शी जिनपिंग ने बुधवार को बीजिंग में पाकिस्तान के प्रधानमंत्री इमरान खान से मुलाकात की. इस मुलाकात के बाद शी जिनपिंग ने कश्मीर मुद्दे पर कहा कि दोनों पक्षों (भारत और पाकिस्तान) को शांतिपूर्ण ढंग से बातचीत के जरिए इस मुद्दे का समाधान करना चाहिए.

मंगलवार को कश्मीर पर चीन का बयान

चीन के विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता गेंग शुआंग से मंगलवार को पत्रकारों ने पूछा- पाकिस्तान के प्रधानमंत्री इमरान खान का चीन दौरा चीनी राष्ट्रपति शी जिनपिंग के भारत दौरे से ठीक पहले हुआ है. क्या इन दोनों का आपस में कोई संबंध है? पत्रकारों ने पूछा कि पाकिस्तानी मीडिया कह रहा है कि पाकिस्तानी प्रधानमंत्री चीन के राष्ट्रपति के साथ मुलाकात में कश्मीर का मुद्दा भी उठाएंगे?

इस पर गेंग शुआंग ने कहा-

कश्मीर पर चीन के रुख में कोई बदलाव नहीं आया है. हमारा रुख बिल्कुल साफ है. हमारा भारत और पाकिस्तान से कहना है कि वो कश्मीर के साथ बाकी अन्य विवादों को आपसी बातचीत से सुलझाएं. इससे दोनों देशों के बीच आपसी भरोसा बढ़ेगा और उनके रिश्ते सुधरेंगे. इससे भारत और पाकिस्तान दोनों की ही समस्याएं हल होंगी.
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कश्मीर पर अब तक क्या कह रहा था चीन?

जम्मू-कश्मीर से आर्टिकल 370 हटाने पर चीन ने कहा था कि भारत जम्मू-कश्मीर की यथास्थिति से कोई छेड़छाड़ न करे. इसके बाद जब पाकिस्तान इस मामले को संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद में ले गया, तो वहां भी पाकिस्तान को चीन का समर्थन मिला था.

बता दें, चीन अपने पड़ोसी मुल्क पाकिस्तान का पुराना सहयोगी है. उसने कश्मीर मुद्दे पर भी पाकिस्तान का समर्थन किया था. चीन के विदेश मंत्री वांग यी ने संयुक्त राष्ट्र महासभा में अपने संबोधन में कहा था, ‘‘भारत को ऐसा कोई एकतरफा काम नहीं करना चाहिए, जिससे यथास्थिति में परिवर्तन आता हो.’’

चीन के ताजा बयान पर भारत ने क्या कहा?

चीन के हालिया बयान पर प्रतिक्रिया देते हुए विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता रवीश कुमार ने कहा, ‘हमने चीन के राष्ट्रपति शी जिनपिंग और पाकिस्तान के प्रधानमंत्री इमरान खान की मुलाकात को लेकर आईं कई खबरें देखीं, जिनमें दोनों के बीच कश्मीर पर चर्चा का जिक्र है.’

भारत अपने रुख को पहले ही साफ कर चुका है. जम्मू-कश्मीर से आर्टिकल 370 के ज्यादातर प्रावधानों को खत्म करने और जम्मू-कश्मीर को हासिल विशेष राज्य के दर्जे को खत्म करना भारत का आंतरिक मामला है. चीन भी हमारे रुख से अच्छी तरह परिचित है. भारत के अंदरूनी मामलों पर किसी दूसरे देश को बयानबाजी करने की जरूरत नहीं है.’
रवीश कुमार, प्रवक्ता, विदेश मंत्रालय

दो दिन के दौरे पर भारत आ रहे हैं चीन के राष्ट्रपति जिनपिंग

चीन के राष्ट्रपति शी जिनपिंग 11 और 12 अक्टूबर को दो दिवसीय दौरे पर भारत आ रहे हैं. शी जिनपिंग के नई दिल्ली दौरे से पहले गेंग शुआंग ने भारत को चीन का महत्वपूर्ण पड़ोसी बताया. उन्होंने कहा, "भारत और चीन दोनों विकासशील देश हैं. दोनों ही उभरते हुए बड़े बाजार हैं. पिछले साल वुहान में भारत और चीन के बीच शुरू हुई वार्ता से रिश्तों ने अच्छी लय पकड़ी है. दोनों देश विभिन्न क्षेत्रों में आपसी सहयोग के साथ आगे बढ़ रहे हैं और मतभेदों को संवेदनशीलता के साथ संभाल रहे हैं."

गेंग शुआंग ने बताया की जिनपिंग की नई दिल्ली यात्रा के दौरान, "भारत और चीन दोनों पक्षों के सहयोग के लिए जरूरी समझौतों पर हस्ताक्षर करेंगे."

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