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चाइनीज वीडियो ऐप Tik Tok जहां एक ओर इंडिया में पॉपुलर होता जा रहा है, वहीं कई ऐसे भी युवा हैं जो इस पर पाबंदी चाहते हैं. न्यूज ऐप इनशॉर्ट्स के हालिया सर्वे के मुताबिक, 10 में से 8 युवा चाहते हैं कि Tik Tok को बैन कर दिया जाए. सर्वे में 18 से 35 साल के युवाओं से उनका नजरिया मांगा गया था.
Tik Tok तेजी से पॉपुलर होता वीडियो ऐप है, जिसके पूरी दुनिया में 1 अरब से ज्यादा यूजर्स हैं. इस ऐप के यूजर लिप-सिंक्ड वीडियो से लेकर म्यूजिक वीडियो तक अपलोड कर सकते हैं. इसके अलावा यूजर्स को इस ऐप पर वीडियो को बेहतर बनाने के लिए बहुत से फिल्टर और एडिटिंग फीचर भी मिलते हैं.
केवल इंडिया में ही Tik Tok के 5 करोड़ यूजर्स हैं. पिछले एक साल में देश में टिक टॉक यूजर्स में 33.5 फीसदी की बढ़त देखने को मिली.
हाल ही में Tik Tok पर पोर्नोग्राफी को बढ़ावा देने के कई आरोप लगे हैं. मद्रास हाई कोर्ट ने अपने अंतरिम आदेश में केंद्र सरकार से चाइनीज मोबाइल ऐप TikTok की डाउनलोडिंग पर रोक लगाने को कहा है.
वहीं दूसरी ओर, Tik Tok ने अपनी सफाई में कहा था कि वो स्थानीय कानूनों और नियमों का पालन करने के लिए प्रतिबद्ध है.
आईएएनएस से बातचीत में कंपनी ने कहा था, 'हम पूरी तरह से आईटी (इंटरमीडियरीज गाइडलाइंस) नियमों, 2011 का पालन करते हैं. हम अभी मद्रास हाईकोर्ट के आदेश का इंतजार कर रहे हैं और वो मिलने के बाद, हम इस मामले के बारे में समीक्षा करेंगे और उचित कार्रवाई करेंगे.'
Tik Tok का ये मामला अब सुप्रीम कोर्ट पहुंच गया है. मद्रास हाईकोर्ट के बैन लगाने के आदेश के खिलाफ उच्चतम न्यायालय में याचिका डाली गई है, जिसपर कोर्ट 15 अप्ैल को सुनवाई करेगा. चीफ जस्टीस रंजन गोगोई, जस्टिस दीपक गुप्ता और संजीव खन्ना की बेंच इस मामले पर अपना फैसला सुनाएगी.
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