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ढाई साल बाद पत्रकार सिद्दिक कप्पन (Siddique Kappan) लखनऊ जेल से बेल पर रिहा हो गए हैं. केरल के मल्लपुरम जिले के रहने वाले 43 साल के कप्पन ने जेल से निकलने के बाद क्विंट हिंदी से बात करते हुए कहा, "जो सरकार के खिलाफ होगा, आतंकी होगा." उन्होंने कहा कि मथुरा जेल में बहुत उत्पीड़न किया गया, बोतल में पेशाब करना पड़ा.
कप्पन ने कहा, ''हमारा पक्ष रखने का मौका नहीं दिया गया. मेरा अकाउंट अब भी पब्लिक डोमेन में उपलब्ध है."
बता दें कि अक्टूबर 2020 में उत्तर प्रदेश के हाथरस में 19 साल की दलित लड़की के साथ रेप का मामला सामने आया था. इसी दौरान सिद्दिक कप्पन इस खबर को कवर करने हाथरस जा रहे थे, तभी उन्हें 3 लोगों के साथ 5 अक्टूबर 2020 को रास्ते से गिरफ्तार किया गया था. उनके ऊपर आरोप लगाया कि वे शांति भंग करने के इरादे से हाथरस आए थे.
कप्पन पिछले ढ़ाई सालों से जेल में थे और सुप्रीम कोर्ट ने UAPA केस में उन्हें सितंबर 2022 में बेल दिया था. इसके बाद दिसंबर 2022 में उन्हें इलाहाबाद हाईकोर्ट से ED केस में भी जमानत मिल चुकी थी.
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