हुसैन ने साथ ही कहा कि पंत ने द ओवल में खेले जा रहे चौथे टेस्ट मैच के चौथे दिन जिम्मेदारी से बल्लेबाजी की।
पंत ने दूसरी पारी में 106 गेंदों पर अर्धशतक बनाया और शार्दुल ठाकुर के साथ शतकीय साझेदारी की।
हुसैन ने डेली मेल के लिए लिखे कॉलम में कहा, यह देखा जा सकता है कि किस तरह पंत ने जिम्मेदारी से बल्लेबाजी की और इससे दूसरे छोर पर खड़े खिलाड़ी को मदद मिली।
उन्होंने कहा, पंत ने दिखाया कि वह एक से ज्यादा शैली में बल्लेबाजी करने में सक्षम हैं। उन्होंने ऐसा पहले भी किया है। इस साल चेन्नई में उन्होंने नई गेंद से जेम्स एंडरसन और बेन स्टोक्स के सामने परेशानी झेलने के बाद इंग्लैंड के गेंदबाजों को परेशान किया था।
हुसैन का मानना है कि इंग्लैंड के कप्तान जोए रूट की अप्रभावी फील्डिंग सेटिंग्स ने पंत को स्ट्राइक रोटेट करने और अपना रास्ता बनाने में मदद की।
हुसैन ने कहा, मुझे लगता है कि रूट ने पंत के लिए गलत फील्डिंग सेट की क्योंकि इस सीरीज में पहली बार वह जिम्मेदारी से बल्लेबाजी कर रहे थे।
53 वर्षीय पूर्व खिलाड़ी ने भारत के निचले क्रम की सराहना की जिन्होंने इंग्लैंड को 368 रनों का लक्ष्य देने में योगदान दिया।
हुसैन ने कहा, जब भी भारतीय एकादश इस टेस्ट सीरीज में उतरा, पहला ख्याल था कि उनकी मजबूती कितनी बड़ी है। उनके निचले क्रम ने बल्लेबाजी पर काम किया और सीरीज में तीसरी बार अपना अहम योगदान दिया।
उन्होंने कहा, पहली बार लॉर्ड्स में मोहम्मद शमी और जसप्रीत बुमराह ने 89 रन जोड़े और इंग्लैंड को पछाड़ा। फिर इस टेस्ट मैच के पहले दिन शार्दुल ने टीम को लड़ने लायक स्थिति तक पहुंचाया।
चौथे टेस्ट के चौथे दिन भारत के आखिरी के चार बल्लेबाजों ने 150 रन जोड़े जिसमें से शार्दुल ने अर्धशतक बनाया जबकि बुमराह और उमेश यादव ने भी कुछ योगदान दिया।
--आईएएनएस
एसकेबी
(क्विंट हिन्दी, हर मुद्दे पर बनता आपकी आवाज, करता है सवाल. आज ही मेंबर बनें और हमारी पत्रकारिता को आकार देने में सक्रिय भूमिका निभाएं.)