चीफ ऑफ डिफेंस स्टाफ (CDS) जनरल बिपिन रावत (Bipin Rawat) के निधन की खबर से देशभर में शोक की लहर छा गई है. 8 दिसंबर को तमिलनाडु के कुन्नूर में हेलिकॉप्टर क्रैश में जनरल रावत, उनकी पत्नी और स्टाफ के लोगों समेत 13 लोगों की मौत हो गई. भारतीय सेना के सर्वोच्च पद पर रहने के बाद भी, CDS जनरल बिपिन रावत हमेशा अपनी जड़ों से जुड़े रहे. उनका ये जुड़ाव उनकी अपनी गांव की यात्राओं में साफ झलकता है.
रिटायर होकर गांव में बसना चाहते थे जनरल रावत
उत्तराखंड के पौड़ी जिले में स्थित सैंणा गांव में एक बेहद सामान्य परिवार में जन्में जनरल बिपिन रावत रिटायर हो कर अपने गांव में बसना चाहते थे. अपने गांव की आखिरी यात्रा के दौरान जनरल बिपिन रावत ने रिटायरमेंट के बाद अपनी पत्नी संग गांव में ही बसने की इच्छा जाहिर की थी. इस दौरान, उन्होंने अपने कुलदेवता के पवित्र स्थान पर पूजा भी की थी. अपने परिवार के साथ मिलकर वो अपने गांव में रिटायरमेंट के बाद रहने के लिए एक मकान बनाने की भी तैयारी कर रहे थे.
वो रिटायरमेंट के बाद अपने गांव लौटकर एक आदर्श स्थापित करने का सपना देखते थे, लेकिन नियति को ये मंजूर न हुआ.
पलायन की स्थिति को लेकर चिंतित थे
CDS जनरस बिपिन रावत ने गांव में मकान बनाने के संबंध में अपने चाचा भरत सिंह रावत से बातचीत भी की थी. वो उत्तराखंड के गांवों में पलायन की स्थिति को लेकर भी बेहद चिंतित रहते थे. 2018 में अपनी उत्तराखंड यात्रा के दौरान उन्होंने पलायन की समस्या के समाधान के लिए ठोस कदम उठाने की बात कही थी.
CDS जनरल बिपिन रावत के निधन की खबर से गांव में मायूसी छा गई है. गांव के लोग इस बात पर यकीन नहीं कर पा रहे हैं कि उनके गांव का होनहार अब उनके साथ नहीं है. गांव के लोग अपने बेटे और बहु के निधन की खबर से बेहद दुखी हैं.
हेलिकॉप्टर क्रैश में CDS, उनकी पत्नी और स्टाफ समेत 13 लोगों की मौत
तमिलनाडु के कुन्नूर में हेलिकॉप्टर क्रैश में चीफ ऑफ डिफेंस स्टाफ (CDS) जनरल बिपिन रावत की मौत हो गई है. भारतीय एयरफोर्स ने बताया है कि 8 दिसंबर को कुन्नूर में सेना के हेलिकॉप्टर क्रैश में बिपिन रावत की पत्नी मधुलिका रावत की भी मौत हो गई है. 9 दिसंबर को दिल्ली में उनका अंतिम संस्कार किया जाएगा.
(इनपुट- मधुसूदन जोशी)
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