बाढ़ से हुए नुकसान के आकलन में जुटी केंद्रीय टीम
केंद्रीय गृह विभाग के संयुक्त सचिव रमेश कुमार के नेतृत्व में सात सदस्यीय टीम बिहार में हाल ही में आई बाढ़ से हुए नुकसान का आकलन करने के लिए तीन दिवसीय दौरे पर है. टीम ने बिहार के मुख्य सचिव सहित अलग-अलग विभागों के अधिकारियों के साथ विचार-विमर्श कर विभिन्न इलाकों का दौरा शुरू कर दिया है. टीम तीन दिनों तक बिहार के बाढ़ प्रभावित जिलों का दौरा कर नुकसान का पता लगाएगी.
आपदा प्रबंधन विभाग के प्रधान सचिव प्रत्यय अमृत ने बताया कि टीम की रिपोर्ट के आधार पर ही बिहार को बाढ़ से हुए नुकसान की भरपाई के लिए केंद्र सरकार से मदद मिलेगी.
बिहार के उत्तरी हिस्से में इस साल कोसी, बागमती, कमला बलान, गंडक और बूढ़ी गंडक नदियों में आई बाढ़ के कारण 13 जिले प्रभावित हुए थे. बाढ़ से घर, स्कूल, सरकारी भवन और प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्रों को नुकसान पहुंचा है.
राज्य सरकार का दावा है कि बाढ़ प्रभावित इलाकों के लोगों के बैंक खाते में 6 हजार रुपये भेजे जा रहे हैं. इस साल आई बाढ़ से 88 लाख से जयादा लोग प्रभावित हुए हैं.
तेजस्वी के पास अनुभव की कमी, नेतृत्व के लिए तैयार हूं : मांझी
‘हम’ के राष्ट्रीय अध्यक्ष जीतन राम मांझी ने कहा है कि नेता प्रतिपक्ष तेजस्वी यादव में अभी अनुभव की कमी है, जबकि उनका मुख्यमंत्रित्व कार्यकाल बेहतर रहा है. चुनाव के बाद यदि महाठबंधन को बहुमत मिलता है और अगर उन्हें नेता चुनाव जाता है तो वे तैयार हैं. सभी दलों की बैठक में यह तय होगा कि अगला मुख्यमंत्री कौन होगा.
मांझी ने ये भी कहा कि वे 9 महीने तक मुख्यमंत्री रह चुके हैं. वे एक बेहतर मुख्यमंत्री साबित हुए हैं. उनके कार्यकाल और लिए फैसलों को जनता याद करती है. कई फैसलों को सरकार अब भी लागू कर रही है. मांझी ने कहा कि यदि दोबारा मौका मिलता है, तो वे योग्य सीएम साबित होंगे.
'हिंदुस्तान' की रिपोर्ट के मुताबिक, मांझी ने कहा कि कहा कि उनके पास राजनीति का लंबा अनुभव है और छवि भी साफ सुथरी है, वहीं तेजस्वी को राजनीति में अभी परिपक्व होना बाकी है.
अनंत सिंह दो दिनों की रिमांड पर
मोकामा से विधायक अनंत सिंह को पुलिस ने दो दिनों की रिमांड पर लिया है. बताया गया है कि जरूरत पड़ने पर ये रिमांड बढ़ भी सकती है. हालांकि पुलिस ने कोर्ट से रिमांड के लिए 3 दिन मांगे थे, लेकिन ऐसा हो नहीं पाया. वहीं अनंत सिंह के वकील ने ये दलील दी कि अनंत सिंह से जो भी बयान दर्ज कराया जाए वो वकील के सामने हो.
बता दें कि 16 अगस्त को अनंत सिंह के पैतृक घर से पुलिस ने छापेमारी में एक एके-47 राइफल, एक मैग्जीन और दो ग्रेनेड बरामद किए थे. इसके बाद अनंत सिंह फरार हो गए. पुलिस ने अनंत सिंह के खिलाफ लुक आउट नोटिस जारी किया और कई जगह छापे भी मारे.
अनंत सिंह ने 23 अगस्त को दिल्ली के साकेत कोर्ट में सरेंडर कर दिया. इस बीच उन्होंने 2 वीडियो भी जारी किए. सरेंडर करने के बाद इसके बाद बिहार पुलिस की एक टीम दिल्ली पहुंची और अनंत सिंह को लेकर 25 अगस्त को पटना पहुंची. 25 अगस्त को बाढ़ सब-डिवीजन कोर्ट ने उन्हें 14 दिनों की न्यायिक हिरासत में भेज दिया था.
बिहार के युवकों को कश्मीरी लड़कियों के साथ आना पड़ा महंगा, हुए गिरफ्तार
सुपौल जिले के राघोपुर थाना क्षेत्र से जम्मू-कश्मीर से कथित तौर पर भगाकर लाई गईं दो सगी बहनों को कश्मीर पुलिस ने सुपौल पुलिस की मदद से बरामद किया है. इस सिलसिले में दो युवकों को गिरफ्तार भी किया गया है. गिरफ्तार युवकों का कहना है कि उन्होंने इन लड़कियों से शादी की है.
पुलिस के एक अधिकारी ने बताया कि सुपौल जिले के परवेज आलम और तबरेज आलम को कश्मीर से लड़की भगाने के आरोप में गिरफ्तार किया था. पुलिस के मुताबिक:
‘‘परवेज और तबरेज दोनों सगे भाई कश्मीर के रामबन में राजमिस्त्री का काम करते थे. वहीं उन्हें सगी बहनों को प्यार हो गया. ये दोनों भाई उन दोनों बहनों को लेकर राघोपुर थाना क्षेत्र के रामविशनपुर स्थित अपने घर ले आए. इस बीच, कश्मीर में लड़की के पिता ने पुलिस थाने में बेटियों को भगा ले जाने की प्राथमिकी दर्ज कराई.’’
सुपौल के पुलिस डिप्टी एसपी विद्यासागर ने बताया कि मामले की जांच के दौरान कश्मीर पुलिस यहां आई और दोनों लड़कियों को बरामद कर तबरेज और परवेज को गिरफ्तार कर लिया. कश्मीर पुलिस कानूनी कागजी कार्रवाई करने के बाद दोनों गिरफ्तार युवकों को अपने साथ कश्मीर ले गई.
सरकारी कर्मचारियों के जींस-टीशर्ट पहनने पर रोक
बिहार सरकार की ओर से सरकारी कर्मचारियों के लिए अजीबोगरीब फरमान जारी किया गया है. सरकार ने अफसरों से लेकर सभी कर्मियों तो आदेश जारी किया है कि कोई भी कैजुअल ड्रेस में न आए, बल्कि फॉर्मल में ही आएं.
“देखा जा रहा है कि विभाग में कार्यरत पदाधिकारी और कर्मचारी ऑफिस संस्कृति के खिलाफ कैजुअल ड्रेस पहनकर ऑफिस आ जाते हैं. ऐसा पहनावा कार्यालय की गरिमा के खिलाफ है. पदाधिकारी और कर्मचारी सौम्य रंग के शालीन, गरिमायुक्त, आरामदायक, सामान्य रूप से समाज में पहनने योग्य कपड़े पहनकर ही कार्यालय आएं. मौसम, कार्य की प्रकृति और अवसर का ध्यान रखते हुए ड्रेस का चयन करें.”बिहार सरकार कि ओर से जारी आदेश का अंश
आदेश में सरकारी कर्मचारियों से कहा गया है कि अपेक्षा की जाती है कि जींस, टीशर्ट पहनकर कार्यालय नहीं आएंगे.
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