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भारतीय टीम (Team India) इंग्लैंड (England) के खिलाफ 5 मैचों की टेस्ट सीरीज 2-2 से बराबर कर पाई. हालांकि उसके बाद जीत का अच्छा मौका था लेकिन इंग्लिश बल्लेबाजों ने भारत की उम्मीदों पर पानी फेर दिया. इस सीरीज को पूरी होने में 11 महीने का वक्त लगा, क्योंकि 4 मैच होने के बाद कोरोना की वजह से पांचवा टेस्ट मैच पोस्टपोन कर दिया गया था. भारत के लिए ये हार सिर्फ इस सीरीज के लिए नुकसानदायक नहीं है बल्कि ICC WTC चैंपियनशिप के फाइनल की उम्मीदों के लिए भी धक्का है.
इस खबर में हम आपको समझाएंगे कि आईसीसी वर्ल्ड टेस्ट चैंपियनशिप में भारत कैसे पहुंच सकता है और साथ ही 10 महीने पहले हुए चार मैचों का रीकैप भी देंगे ताकि आप समझ सकें कि पहले ये सीरीज कैसे चली थी. तो चलिए पहले समझते हैं कि WTC Point Table पर टीम इंडिया की क्या स्थिति है.
इंग्लैंड के खिलाफ टेस्ट सीरीज 2-2 से बराबर करने के बाद भारतीय टीम प्वाइंट टेबल तीसरे नंबर पर है. भारत ने अब तक 12 टेस्ट मैच खेले हैं जिनमें से 6 में जीत हासिल हुई है और 4 मैच भारत ने हारे हैं जबकि 2 टेस्ट मैच ड्रॉ रहे हैं. भारत के अभी कुल अंक 75 हैं और जीत का प्रतिशत 53.47 है. इस टेबल पर पहले नंबर पर ऑस्ट्रेलिया है जिसके 9 मैचों में 6 जीत के साथ 84 प्वाइंट हैं और जीत का प्रतिशत 77.78 है. इसके अलावा दूसरे नंबर पर दक्षिण अफ्रीका है जिसने 7 मैचों में से 5 जीते हैं और उनके 60 अंक हैं लेकिन जीत प्रतिशत 71.43 होने के कारण वो दूसरे नंबर पर है.
टीम इंडिया को अब अगर आईसीसी वर्ल्ड चैंपियनशिप में पहुंचना है तो इस सीजन में अपने बचे सभी 6 टेस्ट मैच जीतने होंगे. हालांकि भारतीय टीम को उम्मीद इसलिए है क्योंकि उसे दो टेस्ट मैच बांग्लादेश के खिलाफ खेलने हैं और 4 टेस्ट मैच घर पर ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ होने हैं. ऐसे में भारतीय टीम उम्मीद कर सकती है कि वो अपने बचे सभी मैच जीत ले. हालांकि एक भी टेस्ट मैच ड्रॉ हुआ तो भारत का खेल बिगड़ सकता है और फिर उसे बाकी टीमों की हार-जीत पर निर्भर होना पड़ेगा.
टीम इंडिया को जीत के साथ-साथ इस बात का भी ध्यान रखना होगा कि उसके प्वाइंट ना कटें. दरअसल अब तक टीम इंडिया के पेनल्टी की वजह से 5 अंक कटे हैं. आपको बता दें कि टेस्ट मच जीतने पर टीम को 12 अंक मिलते हैं. ड्रॉ होने पर 6 अंक और टाई होने पर भी 6 अंक मिलते हैं.
विराट कोहली की खराब फॉर्म की वजह से टीम इंडिया को भी बड़ा नुकसान हुआ है और खुद विराट कोहली को बड़ा धक्का लगा है. विराट कोहली 2016 के बाद पहली बार टेस्ट बल्लेबाजों की रैंकिंग में टॉप-10 से बाहर हुए हैं. विराट कोहली लगातार रन बनाने में नाकाम साबित हो रहे हैं, जिसका नतीजा ये हुआ है कि वो अब टेस्ट बल्लेबाजों की रैंकिंग में 13वें पायदान पर पहुंच गए हैं. विराट कोहली करीब 2053 दिन यानी 6 साल बाद टॉप-10 बल्लेबाजों की सूची से बाहर हुए हैं. अब तक 75 इंटरनेशनल शतक बनाने वाले विराट कोहली 2019 के बाद एक भी शतक नहीं बना पाए हैं.
अपनी तेज गेंदबाजी और सटीक यॉर्कर के लिए पहचाने जाने वाले जसप्रीत बुमराह का इस सीरीज में कप्तान के तौर पर नया अवतार देखने को मिला. उन्होंने एक ओवर में सबसे ज्यादा रन बनाने टेस्ट में विश्व रिकॉर्ड बनाया. सीरीज में 21 विकेट लेकर मैन ऑफ द सीरी बने और कप्तानी भी ठीक-ठाक की.
टॉप ऑर्डर में रोहित शर्मा की गैरमौजूदगी में अगर विराट कोहली भी फेल होते हैं तो कोई संभालने वाला इस सीरीज में नजर नहीं आया. पहले रोहित के साथ केएल राहुल ने अच्छी शुरुआत भारत को दिलाई थी. लेकिन शुभमन गिल और चेतेश्वर पुजारा की जोड़ी वो नहीं कर पाई. मिडिल ऑर्डर में हनुमा विहारी भी संघर्ष करते नजर आये जिससे एक बार फिर सवाल है कि क्या अजिंक्या रहाणे की वापसी होगी या फिर रणजी में शानदार प्रदर्शन करने वाले सरफराज खान को भारतीय टीम में शामिल किया जाएगा. हालांकि भारत के लिए अच्छी बात ये है कि नीचे आकर ऋषभ पंत और रविंद्र जडेजा ने अच्छा खेल दिखाया है.
इंग्लैंड के खिलाफ इस सीरीज का पहला टेस्ट नॉटिंघम में खेला गया. यह मैच ड्रॉ पर खत्म हुआ. मेजबान इंग्लैंड पहली पारी में महज 183 रनों पर सिमट गई थी. भारतीय टीम ने पहली पारी में 278 रन बनाए. वहीं, दूसरी पारी में इंग्लैंड ने 303 रन बनाए, इस तरह भारतीय टीम को मैच जीतने के लिए 209 रनों का लक्ष्य मिला. भारतीय टीम ने दूसरी पारी में 1 विकेट पर 52 रन बनाए. इस तरह ये मैच ड्रॉ पर समाप्त हुआ. दूसरी पारी में 109 रनों की शानदार पारी खेलने वाले जो रूट को मैन ऑफ द मैच चुना गया.
भारत-इंग्लैंड सीरीज का दूसरा टेस्ट लॉड्स में खेला गया. इस मैच में भारत ने पहले बल्लेबाजी करते हुए 364 रन बनाए. जवाब में इंग्लैंड ने 391 रन बना डाले. जिसके बाद भारत ने 8 विकेट पर 298 रन बनाकर दूसरी पारी घोषित कर दी. इस तरह इंग्लैंड को जीत के लिए 272 रनों का लक्ष्य मिला, लेकिन मेजबान टीम महज 120 रनों पर सिमट गई. भारतीय टीम ने 151 रनों से मैच अपने नाम कर लिया. इस मैच में शतकीय पारी खेलने वाले भारतीय ओपनर केएल राहुल को मैन ऑफ द मैच चुना गया.
इस सीरीज का तीसरा टेस्ट हेडिंग्ले, लीड्स में खेला गया. जिसमें भारतीय टीम ने टॉस जीतकर पहले बल्लेबाजी करने का फैसला किया, लेकिन पूरी टीम महज 78 रनों पर सिमट गई. जिसके जवाब में मेजबान टीम ने 432 रन बना डाले. भारतीय टीम दूसरी पारी में 278 रनों पर ऑलआउट हो गई. इस तरह मेजबान इंग्लैंड ने पारी और 76 रनों से मैच अपने नाम कर लिया. इंग्लैंड के ओली रॉबिंसन को प्लेयर ऑफ द मैच चुना गया.
लंदन के केनिंगटन ओवल में मेजबान इंग्लैंड ने टॉस जीतकर पहले गेंदबाजी का फैसला किया, जिसके बाद पूरी भारतीय टीम महज 191 रनों पर सिमट गई. मेजबान इंग्लैंड ने 191 रनों के जवाब में 290 रन बनाए. वहीं, भारतीय टीम ने दूसरी पारी में वापसी करते हुए 466 रन बनाए. और मेजबान टीम को जीत के लिए 268 रनों का लक्ष्य मिला, लेकिन पूरी टीम महज 210 रनों पर सिमट गई. इस तरह भारत ने 57 रनों से मैच अपने नाम कर लिया. इस मैच में रोहित शर्मा को प्लेयर ऑफ द मैच चुना गया.
एजबेस्टन में खेले गए सीरीज के इस आखिरी मैच में भारतीय टीम ने पहले बल्लेबाजी करते हुए 416 रन बनाए, जिसके जवाब में मेजबान टीम 284 रनों पर सिमट गई. भारत के लिए पहली पारी में ऋषभ पंत ने 146 और रवींद्र जडेजा ने 104 रन बनाए. वहीं, दूसरी पारी में भारतीय टीम 245 रनों पर सिमट गई. इस तरह इंग्लैंड को जीत के लिए 378 रनों का लक्ष्य मिला. मेजबान टीम ने जॉनी बेयरस्टो और जो रूट की शतकीय पारी की बदौलत आसानी से मैच अपने नाम कर लिया. दोनों पारियों में शतक लगाने वाले जॉनी बेयरस्टो को मैन ऑफ द मैच चुना गया.
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