मुंबई में स्वाइन फ्लू के मामलों में हालिया उछाल के बीच, बीएमसी ने उच्च जोखिम वाले समूहों को अलर्ट जारी किया है और H1N1 वायरस के लिए मुफ्त परीक्षण की पेशकश की है. न्यूज एजेंसी PTI के अनुसार, 1 जनवरी से 24 जुलाई, 2022 के बीच, ठाणे, पालघर और रायगढ़ के पड़ोसी जिलों सहित मुंबई सर्किल में H1N1 इन्फ्लूएंजा वायरस के 62 कन्फर्म्ड मामलों का पता चला है.

फ्लू के मामलों के साथ-साथ, स्वाइन फ्लू के मामले भी बढ़ रहे हैं, कैसे समझें कि ये COVID-19 से अलग है? ऐसे में क्या करें और क्या न करें? आइए जानें फिट हिंदी के इस लेख से.

क्या है स्वाइन फ्लू?

स्वाइन फ्लू या H1N1 फ्लू सांस से जुड़ी बीमारी है, जो बेहद संक्रामक है. ये वही बीमारी है, जिसे 2009 में WHO ने महामारी करार दिया था.

मेयो क्लिनिक के अनुसार, H1N1 फ्लू, जिसे आमतौर पर स्वाइन फ्लू के रूप में जाना जाता है, मुख्य रूप से फ्लू (इन्फ्लूएंजा) वायरस के H1N1 स्ट्रेन के कारण होता है.

स्वाइन फ्लू के लक्षण

स्वाइन फ्लू (Swine Flu) के लक्षण दूसरे फ्लू की तरह ही हैं. इसमें आपको बुखार होगा, ठंड लगेगी, नाक से पानी, बार-बार छींक, गले में खराश और शरीर में दर्द हो सकता है.

स्वाइन फ्लू के लक्षण दूसरे फ्लू की तरह ही हैं.(इलस्ट्रेशन: आर्णिका काला)

किन लोगों को है ज्यादा जोखिम?

नेशनल सेंटर फॉर डिजीज कंट्रोल के मुताबिक कुछ लोगों को स्वाइन फ्लू का ज्यादा जोखिम हो सकता है.

  • गर्भवती महिलाएं

  • छोटे बच्चे

  • बुजुर्ग लोग

  • जिनकी रोग प्रतिरोधक क्षमता कमजोर हो

  • जो लोग पहले से बीमार हैं

  • जो लंबे समय से कोई दवा ले रहे हैं या जिनका कोई इलाज चल रहा है

स्वाइन फ्लू से कैसे बचें?

  • मुंह को कपड़े या मास्क से ढकें

  • समय-समय पर ढंग से अपने हाथ धोएं

  • भीड़भाड़ में जाने से बचें

  • सफाई का खास ख्याल रखें

  • इससे बचने का मुख्य तरीका सर्दियों की शुरुआत से पहले इसकी वैक्सीन लगवाना है

  • बुखार, खांसी, बहती नाक और दूसरे फ्लू के लक्षण वाले लोगों के नजदीक जाने से बचें

  • आंख, नाक, मुंह को छूने से बचें

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स्वाइन फ्लू होने पर क्या करें

  • स्वाइन फ्लू के कोई भी लक्षण आने पर सबसे पहले खुद को अलग कर लें

  • लक्षण आने के 48 घंटे के अंदर अपनी जांच करा लें

  • मुंह ढककर रहें

  • छींकते और खांसते वक्त अपना मुंह जरूर ढकें

  • पर्याप्त मात्रा में तरल पदार्थ लें

  • खुद से कोई दवा न लें

COVID, स्वाइन फ्लू या सीजनल फ्लू? ये एक-दूसरे से कितने अलग हैं

COVID-19, स्वाइन फ्लू और सीजनल फ्लू तीनों बीमारियां अलग-अलग वायरस से होती हैं, जो एक जैसा व्यवहार करते हैं और खासतौर से सांस की प्रणाली (respiratory system) पर हमला करते हैं. सिर्फ लक्षण के आधार पर इन्हें पहचानना मुश्किल होता है, निश्चित टेस्ट ही बीमारी की पुष्टि कर सकते हैं. इनमें से किसी भी बीमारी से इन्फेक्टेड होने पर सबसे आम लक्षण हैं,

  • बुखार

  • शरीर दर्द

  • थकान

  • सिरदर्द

  • नाक बहना

  • खांसी

  • गले में खराश

  • ठंड लगना

लेकिन लक्षणों के दिखने के तरीके में कुछ बारीक फर्क होता है.

(फिट हिंदी)

COVID-19 के कुछ खास लक्षण जो फ्लू के मामलों में मुश्किल से होते हैं, उनमें शामिल हैं:

  • महक और स्वाद नहीं मिलना

  • सांस फूलना

  • शरीर पर चकत्ते

COVID में उल्टी, मिचली और दस्त भी बहुत आम है, हालांकि ये फ्लू के कुछ गंभीर मामलों में भी हो सकते हैं (खासकर वयस्क लोगों में).

लापरवाही न करें, डॉक्टर के पास जाएं

डॉक्टरों के मुताबिक, अगर इस बीमारी को शुरुआत में पकड़ लिया जाए, तो इलाज में जल्दी फायदा होता है. उनके मुताबिक स्वाइन फ्लू के मामलों में मरीज की मौत तभी होती है, जब वो इलाज के लिए डॉक्टर के पास देरी से पहुंचते हैं.

स्वाइन फ्लू के लक्षण दिखने पर डॉक्टर से संपर्क करें. स्वाइन फ्लू से घबराएं नहीं सावधान रहें और जरूरी उपाय करें.

(PTI के इन्पुट्स के साथ)

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Published: 03 Nov 2021,03:39 PM IST

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