उद्योग संगठन इंडिया सेल्युलर एंड इलेक्ट्रॉनिक्स एसोसिएशन (ICEI) ने एक फरवरी को पेश होने वाले केंद्रीय बजट से पहले मोबाइल उद्योग के लिए वस्तु एवं सेवा कर (GST) में कटौती करने की अपनी मांग को फिर से दोहराया है. संगठन ने मार्च 2020 में GST में 50 प्रतिशत की वृद्धि को उद्योग के लिए एक क्रूर झटका करार दिया है, ईसीईए ने इस फैसले को त्रुटिपूर्ण बताया है.
आईसीईए के अध्यक्ष पंकज मोहिंद्रू ने एक बयान में कहा,
“हर भारतीय के हाथ में स्मार्टफोन का लक्ष्य हासिल करने और 80 अरब डॉलर का घरेलू मोबाइल फोन बाजार सुनिश्चित करने के लिए मोबाइल फोन पर GST को 18 प्रतिशत से घटाकर 12 प्रतिशत करना अति आवश्यक है.”
आईसीईए ने इलेक्ट्रॉनिक्स विकास के प्रमुख क्षेत्रों के लिए विभिन्न उत्कृष्टता केंद्रों (सेंटर ऑफ एक्सिलेंस) की स्थापना के लिए 500 करोड़ रुपये के बजट और मोबाइल डिजाइन सेंटर के लिए 200 करोड़ रुपये के बजटीय आवंटन की भी सिफारिश की.
अन्य सिफारिशों के अलावा, उद्योग निकाय ने 1,000 करोड़ रुपये तक के ऋण के लिए 5 प्रतिशत का ब्याज और 100 करोड़ रुपये की क्रेडिट गारंटी की मांग भी की.
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