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Paytm IPO: सिर्फ दो घंटे में करीब आधा बिक गया रिटेल हिस्सा

पेटीएम अपने इश्यू के जरिये 18,300 करोड़ रुपये जुटाने की तलाश में है.

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पेटीएम (Paytm) की पेरेंट कंपनी One97 कम्युनिकेशन का आईपीओ (IPO) 8 नवंबर को खुल गया है. IPO तीन दिन के लिए खुला रहेगा और 10 नवंबर तक पेटीएम के इश्यू के लिए सब्सक्राइब किया जा सकता है. पहले दो घंटे में रिटेल निवेशकों के लिए रखे गए हिस्से का करीब आधा- 46% सब्सक्राइब किया जा चुका है.

वहीं, नॉन-इंस्टीट्यूशनल निवेशकों ने उनके लिए आरक्षित 1.31 करोड़ शेयरों के मुकाबले लगभग 53,280 इक्विटी शेयरों को सब्सक्राइब किया है. योग्य संस्थागत खरीदारों ने उनके लिए निर्धारित 2.63 करोड़ शेयरों के मुकाबले 2,310 शेयरों के लिए बोली लगाई है.

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18,300 करोड़ रुपये जुटाने की तलाश में Paytm

पेटीएम अपने इश्यू के जरिये 18,300 करोड़ रुपये जुटाने की तलाश में है. अगर पेटीएम अपने IPO के जरिये 18,300 करोड़ रूपये जुटाने में सफल रहती है, तो ये भारत का अब तक का सबसे बड़ा IPO बन जाएगा. इससे पहले ये रिकॉर्ड कोल इंडिया के नाम था, जिसने अपने आईपीओ के जरिये 15,200 करोड़ रुपया जुटाया था.

पेटीएम IPO का प्राइस बैंड ₹2,080 रुपये- ₹2,150 रुपये प्रति इक्विटी शेयर है. लोग कम से कम से एक लॉट साइज के लिए आवेदन कर सकते हैं, जिसमें 6 इक्विटी शेयर होंगे. इसका मतलब है, अगर आप अपर प्राइस बैंड (2150 रुपये) से हिसाब करें तो आपको इश्यू लेने के लिए न्यूनतम ₹12,900 का खर्च करना पड़ेगा.

घाटे में चल रही Paytm?

कोविड महामारी का कंपनी पर खासा प्रभाव पड़ा है. 2021 में पेटीएम का कुल रेवेन्यू 2,802 करोड़ रुपये है. कुल संपत्ति 19.4 प्रतिशत गिरकर ₹6,534.8 करोड़ हो गई, जो 2019-20 में ₹8,105.2 करोड़ थी.

वित्तीय वर्ष 2020-21 में कंपनी को ₹1,701 करोड़ का घाटा हुआ, हालांकि ये 2019-20 में ₹2,942.4 करोड़ से कम था.

ऑनलाइन मोबाइल रिचार्ज से शुरू होने वाली पेटीएम अब ऑनलाइन पेमेंट, बैंकिंग, टिकट बुकिंग, मनी ट्रांसफर और ई-कॉमर्स में डील करती है. कंपनी के पास सालाना 12 करोड़ लेनदेन करने वाले यूजर्स हैं और 2 करोड़ से ज्यादा व्यापारी जुड़े हैं और कुल 30 करोड़ से भी ज्यादा यूजर्स हैं.

रिपोर्ट के मुताबिक, मोबाइल पेंमेंट लेनदेन में पेटीएम का मार्केट शेयर लगभग 40% है. इसके अलावा, वॉलेट पेमेंट लेनदेन में इसका मार्केट शेयर 65 से 70 प्रतिशत है. हर माह UPI लेनदेन में कंपनी का शेयर केवल 14 प्रतिशत है, हालांकि ये तीसरी सबसे बड़ी कंपनी बनी हुई है.

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