देश की पॉपुलर फूड डिलीवरी कंपनी जोमैटो (Zomato) के IPO खुलने का सभी को बेसब्री से इंतजार था. जोमैटो के IPO खुलते ही इसे बाजार में जबरदस्त रिस्पॉन्स मिला. पहले ही दिन IPO पूरी तरह सब्सक्राइब हो गया और लगातार दूसरे दिन भी निवेशकों ने इसमें जमकर इन्वेस्ट किया.
जोमैटो के IPO पर और जानने के लिए क्विंट ने हेमांग जानी से खास बातचीत की. हेमांग, मोतीलाल ओसवाल फाइनेंशियल सर्विसेज के इक्विटी के रिसर्च हेड हैं. आइए विस्तार से जानते हैं कि हेमांग ने इनवेस्टर्स के लिए क्या जानकारी दी.
किन बातों का खयाल रखें रिटेल इन्वेस्टर?
IPO महंगा है या सस्ता है इसका खयाल अभी न करें. बुल मार्केट में महंगे IPO आते रहते हैं. बात महंगे या सस्ते की नहीं है बल्कि यह इस बात पर है कि आप अगर इस भाव में IPO लेते हैं तो लिस्टिंग के बाद उसमें पैसा बनने का पोटेंशियल कितना ज्यादा है? और इस IPO के मामले में हमे पोटेंशियल अच्छा दिखाई देता है.
जोमैटो का शेयर कितने साल में दे सकता है मुनाफा?
टेक्नोलॉजी कंपनी अपना प्लेटफार्म बनाने में काफी एफर्ट लगा देती हैं लेकिन एक बार प्लेटफार्म बनकर, ट्रांजेक्शन शुरू होने के बाद पैसा बनने का पोटेंशियल बढ़ जाता है, इसका आसानी से जवाब तो नहीं दिया जा सकता लेकिन जोमैटो के मामले में हमें पोटेंशियल काफी बड़ा लग रहा है.
मुनाफे की उम्मीद लेकिन आज के नंबर क्या कहते हैं?
आपको यह तय करना है कि पैसा निवेश के बाद उसमें मुनाफा हो इसमें आपका ध्यान ज्यादा है या आज कंपनी में फायदा और वैल्युशन ज्यादा है इसपर आपका ध्यान है. नंबर्स के हिसाब से बता पाना तो मुश्किल है खासतौर पर टेक्नोलॉजी कंपनी के मामले में यह और मुश्किल हो जाता है.
जोमैटो का ''महंगा'' शेयर लेना चाहिए?
वैल्यूशन कितना महंगा या सस्ता है इस पर न ध्यान देकर हमें उस IPO की आगे होने वाली ग्रोथ पर ज्यादा सोचना चाहिए. कंपनी आगे जाकर लॉन्ग टर्म में कितना फायदा पहुंचा सकती है इस पर ज्यादा फोकस होना चाहिए.
(क्विंट हिन्दी, हर मुद्दे पर बनता आपकी आवाज, करता है सवाल. आज ही मेंबर बनें और हमारी पत्रकारिता को आकार देने में सक्रिय भूमिका निभाएं.)