ADVERTISEMENTREMOVE AD

रिटेल के बाद अब थोक महंगाई भी बढ़ी, सब्जियों की महंगाई 25% बढ़ी

प्याज की थोक महंगाई 172 परसेंट से बढ़कर 455 परसेंट हो गई है.

Published
story-hero-img
i
छोटा
मध्यम
बड़ा

रिटेल मंहगाई के बाद अब दिसंबर के थोक महंगाई के आंकड़े भी जारी हो गए हैं. दिसंबर में थोक महंगाई बढ़कर 2.59 परसेंट हो गई हैं. इसके पहले नवंबर 2019 में थोक महंगाई 0.58 परसेंट थी. यह जानकारी 14 जनवरी को जारी आधिकारिक आंकड़ों में दी गई है. महंगाई की मार आम आदमी के इस्तेमाल की जाने वाली चीजों पर सबसे ज्यादा दिख रहा है. सब्जियों की थोक महंगाई 45 परसेंट से बढ़कर 70 परसेंट हो गई है. वहीं प्याज अभी भी आंसू निकाल रहा है. प्याज की थोक महंगाई 172 परसेंट से बढ़कर 455 परसेंट हो गई है.

ADVERTISEMENTREMOVE AD
थोक महंगाई का नया आंकड़ा 7 महीने में सबसे ज्यादा है. दिसंबर में थोक महंगाई बढ़कर 2.59 परसेंट हो गई हैं. वहीं ये नवंबर 2019 में थोक महंगाई 0.58 परसेंट थी. जबकि ये दिसंबर 2018 में 3.46 परसेंट थी.

मई 2019 से नवंबर 2019 तक थोक महंगाई में लगातार गिरावट देखी गई थी लेकिन पिछले 2 महीनों से लगातार थोक महंगाई बढ़ रही है.

  • सब्जियों की थोक महंगाई 45 परसेंट से बढ़कर 69 परसेंट हुई
  • प्याज की थोक महंगाई 172 परसेंट से बढ़कर 455 परसेंट हुई.
  • प्राइमरी गुड्स की महंगाई 7.68 परसेंट से बढ़कर 11.46 परसेंट हुई.
  • खाद्य महंगाई 9 से बढ़कर परसेंट से बढ़कर 11 परसेंट हुई
  • मैन्यूफैक्चिरंग प्रोडक्ट की थोक महंगाई 0.84 परसेंट से घटकर 0.25 परसेंट हुई

रिटेल महंगाई 5 साल के सबसे ऊंचे स्तर पर

खुदरा महंगाई की दर दिसंबर, 2019 में जोरदार तेजी के साथ 7.35 फीसदी के स्तर पर पहुंच गई है. यह भारतीय रिजर्व बैंक के संतोषजनक स्तर से कहीं ज्यादा है. खाद्य वस्तुओं की कीमतों में तेजी की वजह से खुदरा महंगाई में उछाल आया है. 13 जनवरी को जारी सरकारी आंकड़ों से यह जानकारी सामने आई है.

सरकारी आंकड़ों के मुताबिक, दिसंबर में खाद्य वस्तुओं की महंगाई बढ़कर 14.12 फीसदी पर पहुंच गई. दिसंबर, 2018 में यह जीरो से 2.65 फीसदी नीचे थी. नवंबर, 2019 में यह 10.01 फीसदी पर थी.

केंद्र सरकार ने रिजर्व बैंक को महंगाई को 4 फीसदी (दो फीसदी ऊपर या नीचे) के दायरे में रखने का लक्ष्य दिया है. अब यह केंद्रीय बैंक के लक्ष्य से कहीं ज्यादा हो गई है.

(क्विंट हिन्दी, हर मुद्दे पर बनता आपकी आवाज, करता है सवाल. आज ही मेंबर बनें और हमारी पत्रकारिता को आकार देने में सक्रिय भूमिका निभाएं.)

सत्ता से सच बोलने के लिए आप जैसे सहयोगियों की जरूरत होती है
मेंबर बनें
अधिक पढ़ें
×
×