बिहार विधानसभा चुनाव (Bihar Election 2020) के तारीखों का ऐलान हुए 4 दिन बीत चुका है लेकिन अबतक एनडीए और आरजेडी-कांग्रेस गठबंधन में सीट शेयरिंग की गुत्थी सुलझ नहीं सकी है. बीजेपी से लेकर जेडीयू गठबंधन में ‘ऑल इज वेल” का दावा भले ही कर रही हो लेकिन एनडीए में सीट बंटवारे को लेकर बीजेपी-जेडीयू और एलजेपी के बीच अब भी पेंच फंसा हुआ है.
हालांकि कई न्यूज चैनल और अखबार सीटों के बंटवारे पर अलग-अलग दावे कर रहे हैं. कहा जा रहा है कि फॉर्मूला तय हो गया है. क्विंट ने टिकट और सीट शेयरिंग को लेकर बीजेपी-जेडीयू और आरजेडी के बड़े नेताओं से बात की और सीट शेयरिंग में हो रही देरी को जानने की कोशिश की.
एनडीए में सीट को लेकर ‘उठापटक’
बता दें कि बिहार चुनाव का पहला फेज 28 अक्टूबर को होना है, ऐसे में चुनाव प्रचार के लिए अब एक महीने से भी कम वक्त बचा है. नाम न छापने की शर्त पर बिहार बीजेपी (BJP) के एक बड़े नता ने क्विंट को बताया कि मीडिया में बीजेपी की 100 सीटों पर चुनाव लड़ने की खबर चल रही है जो एकदम सही तो नहीं लेकिन सीटें उसके आसपास रहेंगी, ये तय बात है. अगर कोई खास बदलाव नहीं हुआ तो दो दिन में सीट और कैंडिडेट सबका ऐलान हो जाएगा.
वहीं जब क्विंट ने जेडीयू (JDU) के सीनियर लीडर से बात की तो उन्होंने साफ कहा कि मीडिया में चल रहीं खबरों का कोई आधार नहीं है. ये सारे पैंतरे है, ये खबरें बीजेपी के यहां से ही चलती हैं.
जब क्विंट ने पूछा कि कबतक सीटों का ऐलान होगा? उसपर उन्होंने कहा,
“ये तो दिक्कत एलजेपी की वजह से हो रही है, एलजेपी क्या चाहती है इसी पर बात अटकी हुई है. अगर गठबंधन से एलजेपी चली जाए तो बीजेपी और हमारे बीच कोई परेशानी ही नहीं है. जब तक एलजेपी का फैसला न हो जाए तबतक दिक्कत है.”
जेडीयू की डिमांड- ज्यादा सीटों पर हम लगेंगे चुनाव
जेडीयू कितने सीटों पर चुनाव लड़ना चाहती है इस सवाल पर उन्होंने कहा,
“देखिए हमारे पास 71 विधायक हैं और बीजेपी की 53, ऐसे में हमारी सीटें ज्यादा होनी चाहिए, ऐसा हम मानते हैं. अब अगर बीजेपी के पास 100 सीटें हैं तो वो एलजेपी को अपने कोटे से दे दे 42 सीट, हमें उससे क्या? बीजेपी भी एक सीमा तक ही झुक सकती है एलजेपी के सामने, उनकी तो लोकसभा में बहुमत है. एलजेपी के जाने और रहने से बीजेपी को क्या फर्क पड़ता है.”
बता दें कि बिहार में ये खबरें चल रही हैं कि 243 विधानसभा सीटों में से जेडीयू 104 सीटों पर चुनाव लड़ेगी, बीजेपी 100 सीटों पर चिराग पासवान की एलजेपी 30 सीटों पर अपने कैंडिडेट उतारेगी. इसके अलावा जो सीटें बचेंगी वो जीतन राम मांझी की HAM को दी जा सकती हैं.
चिराग पासवान और जेपी नड्डा की मुलाकात
इसी बीच सोमवार को चिराग पासवान और बीजेपी अध्यक्ष जेपी नड्डा की दिल्ली में मुलाकात हुई. एलजेपी के संसदीय समिति सदस्य और प्रवक्ता संजय सिंह ने बताया कि दोनों के बीच सीट शेयरिंग को लेकर लंबी बातचीत हुई.
“पार्टी अध्यक्ष चिराग पासवान ने जेपी नड्डा से मुलाकात में बिहार फर्स्ट, बिहारी फर्स्ट के तहत 143 सीटों पर चुनाव लड़ने की बात रखी. अब फैसला जो भी हो दो दिन में हमारी पार्टी सीटों का ऐलान करेगी.”
जब क्विंट ने 27 विधानसभा सीट, 2 विधान परिषद और एक राज्यसभा सीट के ऑफर पर सवाल पूछा तो संजय सिंह ने कहा कि इन खबरों का कोई आधार नहीं है.
आरजेडी-कांग्रेस में बात पक्की, बस कुछ सीटों पर बातचीत जारी
वहीं दूसरी ओर लालू यादव की पार्टी आरजेडी और कांग्रेस के बीच सीट शेयरिंग पर करीब-करीब सहमति बन गई है. आरजेडी के प्रवक्ता चितरंजन गगन ने क्विंट से कहा कि उनकी पार्टी 150 से ज्यादा सीटों पर चुनाव लड़गी ये तय है. कांग्रेस, लेफ्ट पार्टियां और मुकेश सहनी की पार्टी वीआईपी के साथ सीटों की बात फाइनल हो चुकी है. बस एक से दो दिन में ऐलान हो जाएगा.
वहीं आरजेडी के एक लीडर ने नाम न छापने की शर्त पर बताया कि अब सीट के नंबर को लेकर नहीं बल्कि किस सीट पर किसकी दावेदारी होगी इसे लेकर बातचीत जारी है. उसमें भी कुछ ही सीटें हैं जिसपर फैसले में वक्त लग रहा है.
2015 विधानसभा चुनाव, किसे कितनी सीट मिली थी?
बता दें कि 2015 के चुनाव में एलजेपी ने 42 सीटों पर चुनाव लड़ा था जिसमें उसे सिर्फ दो सीटों पर जीत हासिल हुई थी. वहीं बीजेपी 157 सीटों पर चुनाव लड़ने के बाद सिर्फ 53 सीट ही जीत पाई थी.
वहीं आरजेडी, जेडीयू 101-101 सीटों पर और कांग्रेस 41 सीटों पर चुनाव लड़ी थी. जिसमें से आरजेडी को 80, जेडीयू को 71 और कांग्रेस को 27 सीटों पर जीत हासिल हुई थी. लेकिन अब जेडीयू और बीजेपी एक साथ हैं.
बिहार में 3 फेज में चुनाव होने हैं, 28 अक्टूबर, 3 और 7 नवंबर. वहीं 10 नंवबर को नतीजे आएंगे.
(क्विंट हिन्दी, हर मुद्दे पर बनता आपकी आवाज, करता है सवाल. आज ही मेंबर बनें और हमारी पत्रकारिता को आकार देने में सक्रिय भूमिका निभाएं.)