साल 2018 वेब सीरीज के नाम रहा. इस साल एक से बढ़कर एक वेब सीरीज आई, जिनमें एंटरटेनमेंट का हर तड़का मौजूद था. मजबूत स्टोरी, दमदार एक्शन और बोल्डनेस. इस साल जहां दर्शकों को वेब सीरीज में ये सब परोसा गया, वहीं टीवी ऑडियंस के सामने केवल नागिन और डायन का ही ऑप्शन था.
इस साल ऐसा लगा कि वेब सीरीज तो अपडेट होकर आज के दौर में पहुंच गई हैं, लेकिन टीवी सीरियल अभी भी वही 70-80 के दशक में अटका हुआ है. बरसों से दर्शकों को सास-बहू का ग्लिसरीन वाला रोना-धोना परोसता आ रहा छोटा पर्दा इस साल भी कुछ नया दमदार और बोल्ड लेकर नहीं आया.
इस साल जिन नए सीरियलों ने टीवी पर डेब्यू किया, उनमें सास-बहू वाला रोना-धोना तो था ही, लेकिन एक नया तड़का भी लगाया गया था. भूत और डायनों का तड़का. यानी सालों से सास-बहू की चिक-चिक से परेशान हो चुके बेचारे ऑडियंस पर एक और अत्याचार.
छोटा पर्दा आज भी नागिन, भूत, चुड़ैल और सास-बहू ड्रामे से बाहर नहीं निकल पाया है. ‘सेक्रेड गेम्स’, ‘घुल’ और ‘मिर्जापुर’ जैसी वेब सीरीज देने वाले इस साल में ‘नजर’, ‘डायन’, ‘कौन है’, ‘कयामत की रात’ जैसे हॉरर सीरियलों ने टीवी पर डेब्यू कर ऑडियंस को और सिरदर्द दिया.
नजर
इस सीरियल की कहानी हर टिपिकल हॉरर शो की तरह है. 200 साल की एक डायन खुद को जवां रखने के लिए सालों से लोगों से उनकी जिंदगी छीन रही है. एक लड़का उसकी खूबसूरती का दीवाना हो जाता है और दोनों शादी कर लेते हैं. दोनों के दो बच्चे भी होते हैं, लेकिन फिर डायन अपने पति की ही हत्या कर देती है. इसके बाद शुरू होती है डायन और उसके ससुरालवालों की दुश्मनी.
डायन
वैसे तो इसकी स्टोरी भी कुछ अलग नहीं है. क्या होता है जब प्यार में डूबे दो लोगों के बीच आ जाती है एक डायन? बस इतनी सी है इस सीरियल की कहानी
कयामत की रात
इस सीरियल की कहानी उस काली रात से शुरू होती है, जब पति-पत्नी के बीच एक तांत्रिक आ गया था. तांत्रिक उसकी पत्नी के साथ रोमांस करना चाहता था. पति और तांत्रिक में जबरदस्त लड़ाई होती है, तांत्रिक ने पति का भेस बना लेता है और कई एपिसोड तक ये सब चलता रहता है. फिर दुर्गा का रूप धारण कर पत्नी अपने पति के प्राणों की रक्षा करती है. कहानी चलती रहती है, लीप आता है, पत्नी गायब होती है और न जानें क्या-क्या. लेकिन सीरियल हॉरर और सास-बहू ड्रामे में ही अटका रहता है.
कौन है
हॉरर के अलग-अलग वर्जन वाले इस सीरियल के दो सीजन इस साल टीवी पर आए. इसके पहले सीजन में जहां अलग-अलग एपिसोड थे. वहीं दूसरे सीजन में स्टोरी तीन स्टार्स के इर्द-गिर्द घूमती थी. सालों से डायनों-भूतों का वही वर्जन देखते आ रही ऑडियंस को इस सीरियल ने भी कुछ नया नहीं परोसा.
‘नागिन’ के तीसरे सीजन ने भी इस साल दर्शकों को नागिन और नागमणि में ही अटकाए रखा. बाकी ‘ये रिश्ता क्या कहलाता है’, ‘ये हैं मोहब्बतें’, ‘शक्ति’ और ‘कुमकुम भाग्य’ जैसे सीरियल तो सालों से दर्शकों को सास-बहू के ड्रामे में उलझाने में लगे हैं.
अब अगले साल से ही उम्मीदें
तो इस साल इतने अत्याचार झेलने वाली टीवी ऑडियंस को अगले साल से बड़ी उम्मीदें हैं, क्योंकि इसके अलावा और किया भी क्या जा सकता है! उम्मीद है कि अगले साल छोटा पर्दा सास-बहू और भूत-नागिनों को नौकरी से छुट्टी देकर इस बेचारी ऑडियंस के लिए कुछ अच्छा और दमदार सीरियल लेकर आएगा.
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