मुंबई पुलिस ने बॉम्बे हाई कोर्ट को बताया है कि सुशांत सिंह राजपूत की बहनों के खिलाफ FIR दर्ज करना उनका 'कर्तव्य' था क्योंकि रिया चक्रवर्ती ने उनके खिलाफ जो शिकायत दर्ज कराई थी, उसमें 'अपराध उजागर' हुआ है.
मुंबई पुलिस ने 2 नवंबर को हाई कोर्ट में एक हलफनामा दायर कर सुशांत की बहनों प्रियंका और मीतू सिंह की उस याचिका को खारिज करने की मांग की, जिसमें उन्होंने अपने खिलाफ दर्ज FIR को रद्द करने की मांग उठाई थी. ये FIR सुशांत के मेडिकल प्रिस्क्रिप्शन की कथित जालसाजी के लिए दर्ज हुई थी.
बांद्रा पुलिस ने प्रियंका और मीतू पर सितंबर में केस दर्ज किया था.
हलफनामे में क्या कहा गया?
अपने हलफनामे में बांद्रा पुलिस के सीनियर इंस्पेक्टर निखिल कापसे ने उन आरोपों को खारिज किया, जिनमें कहा गया था कि पुलिस याचिकाकर्ताओं या मृत आदमी की प्रतिष्ठा को नुकसान पहुंचा रही है. हलफनामे में कहा गया कि पुलिस FIR दर्ज करके सीबीआई की जांच को 'प्रभावित या खराब' करने की कोशिश नहीं कर रही है.
हलफनामे में दावा किया गया कि रिया चक्रवर्ती ने अपनी शिकायत में कहा था कि प्रियंका और मीतू सिंह ने एक दिल्ली स्थित डॉक्टर की मदद से 'गैरकानूनी और बोगस' मेडिकल प्रिस्क्रिप्शन भेजा था, जिसमें सुशांत को एंग्जायटी की दवाइयां सुझाई गई थीं.
मुंबई में दर्ज हुई FIR सुशांत सिंह राजपूत की बहनें, डॉ तरुण कुमार और अन्य के खिलाफ साजिश, जालसाजी, धोखाधड़ी के कथित अपराध की जांच की मांग करती है. इन लोगों पर मेडिकल प्रिस्क्रिप्शन फेब्रिकेट कर बिना असल एग्जाम के सुशांत सिंह राजपूत को देने के लिए ड्रग्स और साइकोट्रॉपिक चीजें लेने का आरोप है.लाइव लॉ के मुताबिक हलफनामे में कहा गया
मुंबई पुलिस ने कहा कि सुप्रीम कोर्ट के आदेशानुसार उन्होंने FIR से संबंधित सभी कागजात सीबीआई को दे दिए हैं. पुलिस ने सीबीआई के उस रवैये का विरोध किया, जिसमें केंद्रीय एजेंसी ने कहा था कि जिस केस की जांच वो कर रहे हैं, उसी में दूसरी FIR दर्ज नहीं होनी चाहिए थी.
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