फिल्म अभिनेत्री रश्मिका मंदाना (Rashmika Mandanna) ने सोशल मीडिया पर वायरल हुए अपने डीपफेक वीडियो (Deepfake Video) पर सोमवार, 6 नवंबर को इंस्टाग्राम (Instagram) पर प्रतिक्रिया दी. दरअसल ब्रिटिश-भारतीय इंफ्लूएंसर जारा पटेल ने अक्टूबर में एक वीडियो शेयर किया था जिसमें डीपफेक टेक्नोलॉजी का इस्तेमाल करके रश्मिका का चेहरा लगा दिया गया है.
रश्मिका मंदाना ने जाहिर की चिंता
रश्मिका ने लिखा, "मुझे इसे शेयर करते हुए बहुत दुख हो रहा है और मुझे ऑनलाइन फैल रहे मेरे डीपफेक वीडियो के बारे में बात करनी पड़ रही है."
"ईमानदारी से कहूं तो ऐसा कुछ बेहद डरावना है, न केवल मेरे लिए, बल्कि हममें से हर एक के लिए, जो आज टेक्नोलॉजी के दुरुपयोग के कारण बहुत अधिक नुकसान की चपेट में है. आज, एक महिला और एक अभिनेता के रूप में, मैं आभारी हूं मेरे परिवार, दोस्तों और शुभचिंतकों के लिए, जो मेरी सुरक्षा और सहायता के लिए हमेशा खड़े रहते हैं. लेकिन अगर मेरे साथ स्कूल या कॉलेज में ऐसा होता, तो मैं वास्तव में, मैं कल्पना नहीं कर सकती कि मैं इससे कैसे निपटी. हमें एक समुदाय के रूप में और तात्कालिकता के साथ इस पर ध्यान देने की जरूरत है, इससे पहले कि हममें से ज्यादातर लोग इस तरह की आइडेंटिटी थेफ्ट से प्रभावित हों."रश्मिका मंदाना
दिग्गज अभिनेता अमिताभ बच्चन से लेकर केंद्रीय मंत्री राजीव चंद्रशेखर तक कई लोगों ने डीपफेक वीडियो को लेकर अपनी चिंता व्यक्त की है.
क्या है डीपफेक?
आसान शब्दों में समझें तो डीप फेक का मतलब है कि आपकी कोई वीडियो है और उस वीडियो में केवल आपकी शक्ल की जगह आपके दोस्त की शक्ल लगा दी जाए तो वो डीपफेक कहलाएगा.
टेक्निकल भाषा में समझें तो डीपफेक - डीप लर्निंग और फेक, इन दोनों से मिलकर बनता है. डीप लर्निंग भी आर्टिफीशियल इंटेलिजेंस ही है. ऐसी तकनीक जो खुद से काम करती है. जैसे गूगल असिस्टेंट. डीपफेक, ह्यूमन इमेज सिंथेसिस नाम की तकनीक पर काम करता है. ये तकनीक किसी भी चलती-फिरती चीज की कॉपी कर सकती है. यानी स्क्रीन पर एक ऐसे इंसान को आप चलते-फिरते, बोलते देख सकते हैं, जो नकली या फेक हो.
(क्विंट हिन्दी, हर मुद्दे पर बनता आपकी आवाज, करता है सवाल. आज ही मेंबर बनें और हमारी पत्रकारिता को आकार देने में सक्रिय भूमिका निभाएं.)