कोरोना वायरस के खतरे के मद्देनजर लोग लंबे समय से घरों में कैद हैं. उन्हें दोस्तों, रिश्तेदारों से अलग-थलग अपने घरों तक सीमित रहना पड़ रहा है. ये तनाव और एंग्जायटी बढ़ा रहा है. तनाव बढ़ने से इम्यूनिटी पर भी असर पड़ता है. इसमें गिरावट होती है. इसलिए तनाव पर काबू जरूरी है.
न्यूट्रिशनिस्ट कविता देवगन कहती हैं कि मेडिकेशन से बेहतर है कि प्राकृतिक चीजों के जरिये हम अपने मानसिक स्वास्थ्य का ख्याल रखें. खाने में कुछ बदलाव लाएं जिससे हम अपने तनाव की स्थिति पर काबू पा सकें. उनके मुताबिक हमारे किचन में ही कई ऐसे मसाले मौजूद हैं जो तनाव और एंग्जायटी से हमें राहत पहुंचा सकते हैं. ये मसाले दिमाग की न्यूरोप्रोटेक्टिव प्रोटीन्स को बढ़ाते है. न्यूरोट्रांसमीटर्स को सेहतमंद रखते हैं.
तनाव, एंग्जायटी दूर करने वाले मूड बूस्टर मसाले
अश्वगंधा एक आयुर्वेदिक औषधि है लेकिन ये चाय या पाउडर के तौर पर अब काफी आसानी से बाजार में मिल जाता है.
क्या मूड बूस्टर के तौर पर इन मसालों/हर्ब का इस्तेमाल कभी भी किया जा सकता है?
ये सभी प्राकृतिक चीजें हैं. इनसे साइड इफेक्ट नहीं होता. इनका इस्तेमाल कभी भी किया जा सकता है. लेकिन, बेहतर ये होगा कि आप अपनी दिक्कतों के हिसाब से समय तय करें. उदाहरण के लिए हल्दी-दूध रात में लेना फायदेमंद होता है. सौंफ का पानी आप दिनभर पी सकते हैं. अश्वगंधा भी दिन में कभी भी ले सकते हैं.
लेकिन अगर आप ब्लड थीनर, नींद, तनाव, या अवसाद के लिए पहले से दवाओं का सेवन कर रहे हैं तो अपने डॉक्टर से जरूर सलाह लें.
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