ADVERTISEMENTREMOVE AD

अग्निपथ के विरोध के चलते 369 रेलगाड़ियों की रफ्तार थमी, दो ट्रेनें आंशिक रूप से रद्द

रेलवे के अनुसार अग्निपथ योजना के विरोध में हो रहे प्रदर्शन के चलते शनिवार को 369 ट्रेनें रद्द कर दी गईं

Published
story-hero-img
i
छोटा
मध्यम
बड़ा
ADVERTISEMENTREMOVE AD

अग्निपथ योजना को लेकर युवाओं के हिंसक विरोध के कारण देशभर में शनिवार को 369 ट्रेनें प्रभावित हुई हैं। साथ ही बिहार में रेलवे ने सुबह 4 बजे से रात 8 बजे तक कोई ट्रेन न चलाने का बड़ा ऐलान किया है।

रेलवे के अनुसार प्रदर्शन के कारण यात्री सुरक्षा के मद्देनजर दूसरे क्षेत्रीय रेलों से खुलकर पूर्व मध्य रेल क्षेत्राधिकार से गुजरने वाली ट्रेनों के परिचालन में अस्थाई बदलाव किया गया है। इसी को देखते हुए पूर्व मध्य रेलवे ने 60 से अधिक ट्रेनें रद्द करने का फैसला लिया है। वहीं केंद्रीय रेल मंत्री अश्विनि वैष्णव ने शनिवार को कहा, भारतीय रेल हम सभी देशवासियों की सेवा के लिए बनी राष्ट्रीय संपत्ति है। मेरी सभी से अपील है कि रेल संपत्ति को नुकसान ना पहुंचाएं।

रेलवे के अनुसार अग्निपथ योजना के विरोध में हो रहे प्रदर्शन के चलते शनिवार को 369 ट्रेनें रद्द कर दी गईं। इसमें 210 मेल और एक्सप्रेस ट्रेन और 159 लोकल पैसेंजर ट्रेन शामिल हैं। इसमें दो ट्रेनों को आशिंक रूप से रद्द किया गया है, जिसके बाद रद्द होने वाली कुल ट्रेनों की संख्या 371 हो गई है।

अग्निपथ योजना को लेकर युवाओं का प्रदर्शन हिंसक होने से पिछले 2 दिनों से बिहार से अन्य अन्य राज्यों में आने जाने वाली ट्रेनों का परिचालन सबसे ज्यादा ठप रहा है। अग्निपथ योजना के विरोध में गुस्साई भीड़ ने दर्जनों ट्रेनों में आग लगा दी और कई शहरों और कस्बों में सार्वजनिक संपत्तियों को नुकसान पहुंचाया। रेलवे अधिकारियों के अनुसार, रेलवे संपत्तियों की तोड़फोड़ से अकेले बिहार में 200 करोड़ रुपए से अधिक का नुकसान हुआ है।

इससे पहले रेलवे ने शुक्रवार जानकारी दी थी कि हिंसक प्रदर्शन के कारण 300 से ज्यादा ट्रेनें प्रभावित हुई हैं, जबकि 234 रद्द की जा चुकी हैं। वहीं, 7 ट्रेन आगजनी की चपेट में आई हैं।

गौरतलब है कि अग्निपथ योजना को लेकर युवाओं का प्रदर्शन हिंसक होने से पिछले 2 दिनों से बिहार से आने जाने वाली कई ट्रेनों का परिचालन ठप रहा और बहुत सी ट्रेनें लेट रहीं। जिसकी वजह से यात्रियों को खासी दिक्कतों का सामना करना पड़ा। खास तौर से मरीज और दूसरे जरूरी कामों के लिए जा रहे लोगों को बड़ी परेशानी उठानी पड़ी।

--आईएएनएस

(क्विंट हिन्दी, हर मुद्दे पर बनता आपकी आवाज, करता है सवाल. आज ही मेंबर बनें और हमारी पत्रकारिता को आकार देने में सक्रिय भूमिका निभाएं.)

सत्ता से सच बोलने के लिए आप जैसे सहयोगियों की जरूरत होती है
मेंबर बनें
×
×