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बागपत कस्टडी मौत मामला: जमीन पर गिरने से लगी चोट से संभवत हुई मौत- पुलिस

Baghpat SP अर्पित विजयवर्गीय ने कहा कि पोस्टमार्टम रिपोर्ट में गले में फ्रैक्चर के कारण मौत होना बताया जा रहा है.

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उत्तर प्रदेश (Uttar Pradesh) के बागपत जिले के रटौल गांव के रहने वाले 28 वर्षीय मोहम्मद साजिद अब्बासी कि कथित पुलिस कस्टडी में मौत में एक नया मोड़ आ गया है. जुलाई 2 को हुई इस घटना में मृतक साजिद के परिजनों ने आरोप लगाया था कि मोटरसाइकिल पर आए तीन पुलिस वालों ने उनके बेटे को पकड़ा और बेरहमी से पीटा. बाद में साजिद की मौत हो गई. बागपत के पुलिस अधीक्षक अर्पित विजयवर्गीय की मानें तो परिजनों ने इस मामले में लिखित तौर पर दिया है कि वह कोई कार्रवाई नहीं चाहते हैं.

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क्या थी पूरी घटना ?

रटौल गांव के रहने वाले साजिद पेशे से एक पेंटर थे. पुलिस के अनुसार, जुलाई 2 को सुबह 10- 11 बजे के बीच एक आम के बाग में कुछ लोग जुआ खेल रहे थे. सूचना मिलते ही मौके पर पुलिस पहुंची. साजिद के परिजनों का आरोप है कि 3 पुलिस वालों ने साजिद को बेरहमी से मारा. फिर उसे पास की रटौल चौकी लेकर गए, जहां पर दोबारा उसकी पिटाई हुई. चौकी पर परिजनों के पहुंचने के बाद अधमरे हालत में साजिद को उसके परिजनों को सौंप दिया गया. आनन-फानन में उसे पास के एक अस्पताल ले जाया गया, जहां उसे मृत घोषित कर दिया गया.

साजिद की मौत के बाद स्थानीय लोगों में गुस्सा फूट पड़ा और सैकड़ों की संख्या में लोग प्रदर्शन करना शुरू कर दिए. बागपत जिले के वरिष्ठ पुलिस अधिकारी मौके पर पहुंचे और उन्होंने पीड़ित परिवार के लोगों को समझाना शुरू किया. पुलिस अधिकारियों के कार्रवाई के आश्वासन के बाद मृतक साजिद का शव पोस्टमार्टम के लिए भेजा गया.

गले में फ्रैक्चर से हुई मौत: पुलिस

बागपत के SP अर्पित विजयवर्गीय ने क्विंट हिंदी से बात करते हुए कहा कि पोस्टमार्टम रिपोर्ट में गले में फ्रैक्चर के कारण मौत होना बताया जा रहा है.

कुछ लोग ताश या जुआ खेल रहे थे. सूचना पर मौके पर जब स्थानीय पुलिस पहुंची तो लोग वहां से भाग खड़े हुए. भागते समय साजिद जमीन पर गिर पड़ा. पोस्टमार्टम रिपोर्ट में कोई भी बाहरी चोट नहीं आई है और मौत का कारण गले में फ्रैक्चर (Neurogenic Shock) है. यह चोट संभवतः उसे भागते समय गिरने के दौरान लगी होगी."
अर्पित विजयवर्गीय, एसपी, बागपत

पुलिस कस्टडी में थर्ड डिग्री टॉर्चर देने के आरोपों से घिरी बागपत पुलिस ने घटना के बाद अपने बयान में कहा था साजिद को पुलिस सत्यापन के लिए पुलिस चौकी लेकर आई थी, लेकिन 5 से 7 मिनट बाद उसे छोड़ दिया गया था.

घटना के बाद जारी प्रेस नोट में बागपत पुलिस ने कहा, "इस संबंध में अब तक क्षेत्राधिकारी की जांच रिपोर्ट व सीसीटीवी फुटेज से मृतक साजिद को पुलिस द्वारा परेशान और प्रताड़ित करने की पुष्टि नहीं हुई है.

आरोपों की संवेदनशीलता के दृष्टिगत गहन जांच क्षेत्राधिकारी खेकड़ा द्वारा की जा रही है एवं जांच की निष्पक्षता व जांच को प्रभावित ना होने पाने के दृष्टिगत आरोपित पुलिसकर्मी को तत्काल प्रभाव से लाइन हाजिर कर दिया गया है."

(इनपुट-पारस जैन)

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