यूपीएससी सिविल सर्विसेज एग्जाम का रिजल्ट शुक्रवार को जारी किया गया. इस परीक्षा में मध्य प्रदेश के प्रदीप सिंह ने 93वीं रैंक हासिल की है. 22 साल की कम उम्र में प्रदीप ने ये परीक्षा पहली बार में ही पास कर ली. अपनी इस सफलता का पूरा श्रेय प्रदीप अपने माता-पिता को देते हैं, जिन्होंने उन्हें यहां तक पहुंचाने में बहुत मुश्किलें झेली हैं.
बिहार से ताल्लुक रखने वाला प्रदीप का परिवार सालों से इंदौर में रहता है. उनके पिता वहां एक पेट्रोल पंप पर काम करते हैं.
प्रदीप के यूपीएससी पास करने पर उनके पिता ने कहा कि वो हमेशा से अपने बच्चों को पढ़ाना चाहते थे, ताकि वो अच्छी जिंदगी जी सकें.
प्रदीप ने मुझसे कहा कि वो यूपीएससी परीक्षा देना चाहता है. मेरे पास इसके लिए पैसे नहीं थे, तो मैंने अपना घर बेच दिया. ये काफी मुश्किल सफर रहा है.प्रदीप के पिता
इंदौर के डीएवीवी से पढ़ाई करने वाले प्रदीप ने 2017 में दिल्ली आकर कोचिंग ज्वॉइन की. संघर्षों से भरे इस सफर पर प्रदीप ने कहा, 'मुश्किलें काफी थीं, लेकिन उससे बड़ा मेरे माता-पिता का जज्बा था. उन्होंने मेरी पढ़ाई के लिए अपनी जिंदगी भर की जमा-पूंजी अपना घर बेच दिया.'
तब से लेकर अब तक उनका परिवार किराये के मकान में रह रहा है. यूपीएससी पास करने के बाद प्रदीप अब सिस्टम में बदलाव लाना चाहते हैं.
यूपीेएससी मेन्स का रिजल्ट 5 अप्रैल को जारी किया गया.
आईआईटी बॉम्बे से बीटेक करने वाले जयपुर के कनिष्क कटारिया ने यूपीएससी में टॉप किया है. भोपाल के राजीव गांधी प्रौद्योगी यूनिवर्सिटी से बीई करने वालीं सृष्टी जयंत देशमुख ने ऑल इंडिया में पांचवा रैंक हासिल किया है.
कुल चयनित 759 उम्मीदवारों में 577 पुरुष और 182 महिलाएं हैं. इन्हें इंडियन एडमिनिस्ट्रेटिवन, इंडियन फॉरेन सर्विस, इंडियन पुलिस सर्विस और सेंट्रल सर्विसेस जैसी सेवाओं में नियुक्त किया जाएगा.
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